चिटहेरा भूमि घोटाला : पहली चार्जशीट दाखिल लेकिन कई अनसुलझे सवाल, एसआईटी की चींटी चाल

Tricity Today | चिटहेरा भूमि घोटाला



Greater Noida : दादरी तहसील के चिटहेरा गांव में हुए अरबों रुपये के सरकारी जमीन घोटाले पुलिस ने पहली चार्जशीट जिला न्यायालय में दाखिल कर दी है। यह चार्जशीट घोटाले के मुख्य अभियुक्त भूमाफिया यशपाल तोमर और दादरी तहसील में कार्यरत लेखपाल शीतला प्रसाद के खिलाफ दाखिल की गई है। इस आरोप पत्र में 66 गवाहों के बयान दर्ज किए गए हैं और करीब साढ़े छह हजार दस्तावेज हैं। इसके बावजूद पुलिस कुछ जरूरी सवालों के जवाब तलाश नहीं कर पाई है।

चिटहेरा गांव में वर्ष 2017 से लेकर 2020 तक सैकड़ों करोड़ रुपए की जमीन भूमाफिया यशपाल तोमर और उसके गैंग ने हड़प ली। उसके साथ उत्तराखंड में तैनात कई आईपीएस, आईएएस अफसरों और नेताओं के रिश्तेदार भी शामिल हैं। इस मामले में गौतमबुद्ध नगर जिला प्रशासन ने दादरी कोतवाली में एफआईआर दर्ज करवाई थी। जिसमें भूमाफिया यशपाल तोमर और इन सारे लोगों को नामजद किया गया है। यशपाल तोमर को उत्तराखंड एसटीएफ ने गिरफ्तार किया था। गौतमबुद्ध नगर पुलिस ने अदालत से रिमांड लेकर उससे पूछताछ की। जिसके बाद चिटहेरा गांव के लेखपाल शीतला प्रसाद और तत्कालीन नायब तहसीलदार को गिरफ्तार किया गया। अब इस मामले में पुलिस ने पहली चार्जशीट यशपाल तोमर और शीतला प्रसाद के खिलाफ गौतमबुद्ध नगर जिला न्यायालय में दाखिल की है।

यशपाल को गैंग का मुखिया करार दिया
पुलिस ने अपनी चार्जशीट में यशपाल तोमर को इस गैंग का सरगना करार दिया है। उस पर सरकारी जमीन को हड़पने का आरोप है। राजस्व रिकॉर्ड में फर्जीवाड़ा और जालसाजी करने का आरोप है। चिटहेरा गांव के किसानों को आतंकित करके उनके पट्टों की जमीन हड़पने और फर्जी मुकदमों में जेल भिजवाने का आरोप है। यशपाल तोमर के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 467, 468, 471, 384 और अनुसूचित जाति जनजाति अधिनियम के तहत आरोप पत्र दाखिल किया गया है।

शीतला प्रसाद पर भूमाफिया का साथ देने का आरोप
चार्जशीट के मुताबिक दादरी तहसील में कार्यरत लेखपाल शीतला प्रसाद पर भूमाफिया यशपाल तोमर और उसके गैंग का साथ देने का आरोप है। लेखपाल पर आरोप है कि उसने सरकारी जमीन भूमाफिया के इशारे पर निजी नामों पर दर्ज की है। शीतला प्रसाद के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 467, 468, 471 के अलावा आपराधिक षड्यंत्र रचने के आरोप में 120-बी के तहत आरोप पत्र दाखिल किया गया है। लेखपाल पर अनुसूचित जाति जनजाति के लोगों का शोषण और उत्पीड़न करने के आरोप भी हैं।

पुलिस की चार्जशीट में नहीं इन सवालों के जवाब
  1. यशपाल तोमर के मुखौटा उसके साले अरुण, ममेरे भाई गजेंद्र सिंह और नौकर मालू की गिरफ्तारी क्यों नहीं हो रही है?
  2. गांव की सरकारी जमीन हड़पने वाले आईएएस, आईपीएस, सांसद के रिश्तेदारों और कंपनी निदेशकों के खिलाफ अब तक क्या कार्रवाई हुई है?
  3. इस मामले में उत्तराखंड पुलिस और प्रशासन ने गैंगस्टर एक्ट में कार्रवाई की है। यशपाल और उसके गुर्गों की 100 करोड़ रुपये से ज्यादा कीमत की संपत्ति सीज की हैं। आयकर विभाग ने चिटहेरा में करीब 100 करोड़ रुपये की प्रॉपर्टी बेनामी घोषित कर दी है, लेकिन गौतमबुद्ध नगर पुलिस ने अब तक ऐसा कोई एक्शन क्यों नहीं लिया है?

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