बुलंदशहर को मिलेगी नई पहचान : योगी सरकार करेगी 800 करोड़ खर्च, जानिए क्या होगा खास 

Tricity Today | Yogi Adityanath



Lucknow/Bulandshahr : योगी सरकार प्रदेश के विभिन्न जिलों में व्यावसायिक गतिविधियों को बढ़ाने के साथ बेहतर कनेक्टिविटी और नगरीय सुविधाओं को बढ़ाने की दिशा में लगातार काम कर रही है। इसी के तहत योगी सरकार धातु ढलाई के मशहूर बुलंदशहर का महायोजना के तहत विस्तार करने की योजना बना रही है। इससे बुलंदशहर में औद्योगिक-व्यावसायिक और आवासीय गतिविधियों के विकास को सुनियोजित ढंग से अमलीजामा पहनाया जाएगा।

554 करोड़ का नया इवेस्टमेंट
सीएम के निर्देश पर बुलंदशहर के विस्तार का खाका तैयार कर लिया गया है। इसे वर्ष 2031 की अनुमानित जनसंख्या 4 लाख के अनुसार डेवलप किया जाएगा, जबकि वर्तमान जनसंख्या 2,22,519 बताई जा रही है। इसके लिए योगी सरकार 800 करोड़ रुपये खर्च करेगी। इससे यहां 554 करोड़ का नया इवेस्टमेंट आएगा। इसमें अब तक बुलंदशहर को 154 करोड़ के इंवेस्टमेंट के प्रस्ताव मिल चुके हैं। वहीं इससे 1500 लोगों को रोजगार मिलेगा।

बुलंदशहर की पहचान
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में एक बैठक में कहा कि बुलंदशहर का इतिहास 120 ईसा पूर्व का है। यहां का पौराणिक इतिहास भी है। वहीं पिछले 6-7 वर्षों में व्यावसायिक गतिविधियों में तेजी के साथ बेहतर कनेक्टिविटी और नगरीय सुविधाओं के कारण लोग यहां स्थायी निवास भी बना रहे हैं। इसको ध्यान में रखते हुए बुलदंशहर का विस्तार अति आवश्यक है। ऐसे में उन्होंने महायोजना-2031 के तहत इसके विस्तार की बात कही। 

 ट्रांसपोर्ट और मोबिलिटी पर जोर 

योगी ने कहा कि बुलंदशहर चीनी मिल, डेयर उद्याेग, धातु ढलाई, हैंडपंप और इलेक्ट्रानिक पार्टस के लिये जाना जाता है। ऐसे में इन उद्योगों को और विकसित करने के लिए इनका विस्तार किया जाएगा। इसके लिए एक औद्योगिक क्षेत्र डेवलप किया जाए। इस दौरान ट्रांसपोर्ट और मोबिलिटी का विशेष ध्यान रखा जाएग। इसके अलावा सीएम योगी ने लॉजिस्टिक और वेयरहाउसिंग हब के लिए भी स्थान चिह्नित करने के आदेश दिये हैं। इतना ही नहीं, आमजन के लिए प्राधिकरण द्वारा नई आवासीय परियोजना की कार्ययोजना तैयार करने को कहा गया, जिस पर अमल भी शुरू हो गया है।  

प्राधिकरण बनाएगा अत्याधुनिक आवासीय टाउनशिप

महायोजना के तहत सिकंदराबाद-मेरठ रोड बाईपास के दोनों ओर 500 मीटर तक भू उपयोग किया जाएगा। बुलंदशहर को आठ जोन में बांटकर विकसित किया जाएगा। इसमें जोन एक के तहत पुराने शहर का नये सिरे से कायाकल्य किया जाएगा। शहर के बीचोबीच से काली नदी गुजरती है, ऐसे में जोन 2 और जोन 5 में गुजरने वाली नदी के 200 मीटर के दायरे में कोई निर्माण नहीं किया जाएगा ताकि नदी का अस्तित्व बरकरार रहे। इसके अलावा जोन 3 को सेंट्रल प्लानिंग के तहत विकसित किया जाएगा। इसमें पब्लिक एक्टिविटी के लिए गार्डेन और पार्क आदि विकसित किये जाएंगे। जोन-4 शहर का पुराना इंडस्ट्रियल एरिया है, जो वर्तमान की आवश्यकता के अनुसार डेवलप किया जाएगा। जोन-6, जोन-7 और जोन-8 को नये सिरे से डेवलप किया जाएगा। यहां बाईपास, आवासीय योजना, हाईवे फैसेलिटी जोन, नया इंडस्ट्रियल एरिया आदि विकसित किया जाएगा। 

इन 6 पैरामीटर पर होगा बुलंदशहर का विस्तार
1. बाह्य क्षेत्र का विकास
2. मुख्य व्यावसायिक केंद्रों की स्थापना
3. औद्योगिक क्षेत्रों की स्थापना
4. शहर के काष्ठ उद्योग को बढ़ावा देना
5. संतुलित विकास 
6. शहर में निवेश

व्यावसायिक और औद्योगिक पहचान

बुलंदशहर में निर्मित हैंडपंप और मेटल पाइप का उत्पादन होता है। यहां से झारखंड, बिहार, बंगाल, गुजरात, तमिलनाडु और मध्य प्रदेश समेत अन्य राज्यों को हैंडपंप बेचे जाते हैं। यह बड़े उद्योग चीनी मिल, डेयरी उद्योग और पशु आहार उद्योग आदि से जुड़े है। यह शहर इलेक्ट्रानिक्स पार्टस उच्च वोल्टेज स्विच, फ्यूज सेट, विद्युत ट्रांसफार्मर, स्विच गियर, आइसोलेटर वितरण बॉक्स, पोल बॉक्स, मीटर बॉक्स, पीटीएफई इंसुलेशन तार रक्षा और एयरोस्पेस के लिए जाना जाता है। यहां से पूरे देश को बिजली बोर्डों, एयरोस्पेस प्रयोजनों, यूपी बिजली बोर्ड आदि माल की आपूर्ति की जाती है।

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