ग्रेटर नोएडा वेस्ट में गौरव चंदेल हत्याकांड के दुर्दांत अपराधी आशु जाट को हुई सजा

BIG BREAKING : ग्रेटर नोएडा वेस्ट में गौरव चंदेल हत्याकांड के दुर्दांत अपराधी आशु जाट को हुई सजा

ग्रेटर नोएडा वेस्ट में गौरव चंदेल हत्याकांड के दुर्दांत अपराधी आशु जाट को हुई सजा

Tricity Today | आशु जाट और गौरव चंदेल

Greater Noida West/Hapur : लूट, हत्या और डकैती का पर्याय माने जाने वाले मिर्ची गैंग के सरगना  कुख्यात बदमाश आशु जाट को पहली बार सजा हुई है। गौतमबुद्ध नगर में ग्रेटर नोएडा वेस्ट के निवासी गौरव चंदेल को आशु जाट और उसकी बीवी ने लूट करने के लिए मौत के घाट उतार दिया था। हापुड़ जिला न्यायालय ने वर्ष 2020 में हुए दर्ज एक मामले में उसे 3 वर्ष का कठोर कारावास और 12 हजार रुपए के अर्थदंड की सजा सुनाई है।

राजीव बालियान ने मुंबई से किया था गिरफ्तार
नोएडा में सेक्टर-121 के गौरव चंदेल की हत्या के लिए आशु जाट की गिरफ्तारी पर उस समय उत्तर प्रदेश सरकार ने ढाई लाख रुपए का इनाम घोषित था। इस दुर्दांत अपराधी को थाना सेक्टर-39 के प्रभारी रहे और वर्तमान समय में 'एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग सेल' के प्रभारी राजीव बालियान ने अपनी टीम के साथ अदम्य साहस का परिचय देते हुए मुंबई से गिरफ्तार किया था। इसकी गिरफ्तारी के लिए यूपी एसटीएफ, नोएडा पुलिस, गाजियाबाद पुलिस, दिल्ली पुलिस, हरियाणा पुलिस और हापुड़ जिला पुलिस प्रयासरत थी। उस समय जनपद हापुड़ में तैनात रहे राजीव बालियान ने सटीक मुखबिरी के जरिए इसे मुंबई से गिरफ्तार किया था। इस अपराधी ने नोएडा में गौरव चंदेल हत्याकांड को अंजाम देकर उत्तर प्रदेश सरकार को हिला दिया था। 

गौरव चंदेल हत्याकांड के बाद लागू हुआ कमिश्नरेट सिस्टम
आपको बता दें कि आशु जाट पर यूपी, दिल्ली, हरियाणा और सहित कई राज्यों में हत्या, लूट और डकैती के करीब 75 मुकदमे दर्ज हैं। गौरव चंदेल हत्याकांड और आशु जाट की वजह से ही गौतमबुद्ध नगर में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पुलिस कमिश्नर सिस्टम लागू किया था। गौतमबुद्ध नगर के पहले पुलिस कमिश्नर रहे आलोक सिंह उस वक्त मेरठ के पुलिस महानिरीक्षक थे। बतौर आईजी वह गौरव चंदेल के घर गए थे और उसकी विधवा पत्नी को इंसाफ दिलाने का आश्वासन दिया था। पुलिस आयुक्त व्यवस्था लागू होने के बाद आलोक सिंह गौतमबुद्ध नगर को पहला पुलिस कमिश्नर बनाकर भेजा गया।

अब आशु जाट को इस मामले में हुई सजा
मिर्ची गैंग के सरगना और कुख्यात अपराधी आशु जाट को शनिवार को सजा सुनाई गई है। यह सजा पुलिस हिरासत से भागने के मामले में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की कोर्ट ने सुनाई है। जिसमें दोषी पर तीन वर्ष का कारावास और 12 हजार रुपये का अर्थदंड लगाया है। करीब ढाई साल पहले मुंबई से हापुड़ लाते समय उसने पुलिस अभिरक्षा से भागने का प्रयास किया था। संयुक्त निदेशक (अभियोजन) मुकेश गोयल और अभियोजन अधिकारी चंद्र प्रकाश गौतम ने बताया कि पुलिस ने नगर कोतवाली में कुख्यात अपराधी आशु जाट के खिलाफ एक रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जिसमें कहा गया था कि पुलिस आशु जाट को गिरफ्तार करने के लिए मुंबई गई थी। महाराष्ट्र पुलिस के सहयोग से ढाई लाख रुपये के ईनामी अपराधी आशु जाट को पांच सितंबर 2020 को मुंबई से गिरफ्तार किया। आशु जाट को मुंबई के एक न्यायालय में पेश किया गया। वहां से उसका ट्रांजिट रिमांड हासिल किया। यूपी पुलिस कार से हापुड़ के लिए रवाना हुई। हापुड़ पहुंचने पर निजामपुर कट के पास आशु जाट ने लघुशंका करने की बात कही।

सिपाही से पिस्टल लेकर भागा था आशु जाट
पुलिस ने अदालत को बताया कि अंधेरे का फायदा उठाकर आशु ने एक सिपाही की पिस्टल छीन की और भाग निकला। उसने अपने हाथ में बंधी लोहे की हथकड़ी से पुलिस कर्मियों पर वार किए, लेकिन पुलिस ने उसे घेराबंदी करके दोबारा दबोच लिया। इस मामले की सुनवाई मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की कोर्ट में चल रही थी। सरकारी पक्ष की तरफ से पैरवी की गई। चश्मदीद गवाहों की मजबूत गवाही न्यायालय में कराई गई। दोनों पक्षों को सुनने के बाद मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट इंद्रजीत सिंह ने शनिवार को निर्णय सुनाया। न्यायाधीश ने कहा कि अभियोजन के साक्षियों के साक्ष्य में किसी प्रकार का विरोधाभास नहीं है। अभियोजन की तरफ से परीक्षित अभिलेखीय साक्ष्य भी घटना को साबित करते हैं। इसलिए आरोपी आशु जाट को दोषी करार दिया जाता है। न्यायाधीश ने अपने आदेश में कहा कि यदि दोषी अर्थदंड का भुगतान नहीं करता है तो उसे नौ माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना पड़ेगा। आशु जाट, उसकी पत्नी और एक अन्य साथी के खिलाफ गौतमबुद्ध नगर जिला न्यायालय में गौरव चंदेल हत्याकांड का ट्रायल चल रहा है।

मुंबई में फल बेचता पकड़ा गया था मोस्ट वांटेड आशु
आशु जाट उर्फ प्रवीण कुमार उर्फ राजेंद्र मूल रूप से मेरठ जिले के गांव लौटी का निवासी है। वह धौलाना में दो भाजपा नेताओं चंद्रपाल, राकेश शर्मा और नोएडा के गौरव चंदेल की हत्या के मामले में फरार चल रहा था। उसके खिलाफ संगीन धाराओं में 75 मुकदमे दर्ज हैं। वह हत्या के बाद करीब डेढ़ साल तक फरार रहा। मुंबई भाग गया। वहां रहकर फल बेच रहा था। आशु वेष बदलने में माहिर है। जिस समय उसे गिरफ्तार किया गया, उसने लंबी दाढ़ी बढ़ा रखी थी। पुलिस को उसे पहचानने में काफी दिक्कत हुई थी। उस समय आशु जाट उत्तर प्रदेश पुलिस के लिए मोस्ट वांटेड था।

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