Delhi News : भारतीय संस्कृति में 'अतिथि देवो भव:' यानि अतिथि देवता के समान होता है। भारत में होने जा रहे G-20 शिखर सम्मेलन में लगभग 40 देशों के राष्ट्राध्यक्ष शामिल होने जा रहे हैं। इस वक्त भारत इसकी अध्यक्षता कर रहा है। आखिर, इस समय भारत अपनी संस्कृति से पीछे कैसे हट सकता है। मेहमानों के रहने और खाने पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। मेहमानों के लिए आलीशान होटलों में रहने के इंतजाम किए गए हैं। उनके लिए भारतीय व्यंजनों को पेश किया जाएगा। मेहमानों को रात का खाना चांदी के बर्तनों में परोसा जाएगा। बैठक में शामिल होने वाले 550 गणमान्य व्यक्तियों के लिए कुल 15 हजार चांदी के बर्तनों का सेट तैयार किया गया है, इसमें 160 किलो चांदी के अलावा ब्रास स्टील का प्रयोग किया गया है।
अशोक चक्र बने बर्तन साल्ट ट्रे
जयपुर में आईआरआईएस मेटल वेयर कंपनी में 200 खास कारीगरों ने इस आयोजन के लिए डिनर सेट तैयार किया है। खास बात है कि डिनर के दौरान साल्ट ट्रे (नमक वाले बर्तन) पर अशोक चक्र का चित्र अंकित है।
थालियों पर भारतीय संस्कृति की झलक
जी-20 समिट में शामिल होने वाले मेहमानों के डिनर के लिए तैयार चांदी के बर्तन के अलावा गोल्ड प्लेटेड कटोरी और चम्मच का भी इस्तेमाल किया गया है। प्लेट, नमक स्टैंड, कटोरी और गिलास को रॉयल लुक दिया गया है। थालियों और ट्रे पर भारतीय संस्कृति की झलक दिखेगी। खाने की प्लेट पर हस्तशिल्प कला की झलक मिलेगी।
देशभर के कारीगरों की मेहनत
डिनर सेट को तैयार करने के लिए कंपनी ने कर्नाटक, बंगाल, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और जयपुर के खास तौर से 200 कारीगरों की मेहनत भी शामिल है। सेट को फ्यूजन एलिगेंस नाम दिया है। एक-एक बर्तन को तैयार करने में खास ध्यान रखा गया है। हर डिजाइन के पीछे अपनी एक सोच है, जिसमें भारतीयता की झलक मिलती है। इसमें भारत की विविधता आप को नजर आएगी।
चांदी के बर्तन में खाने के विशेष फायदे
चांदी के बर्तन में खाने से कई फायदे होते हैं। ये दिमाग शांत रखने, रोगों से लड़ने की क्षमता में इजाफा करने, बॉडी को शीतल बनाए रखने में मददगार होते हैं। चांदी के बर्तन संक्रमण और बैक्टीरिया फ्री रहते हैं। इस बर्तन में बैक्टीरिया को खत्म करने के विशेष गुण होते हैं। इसीलिए चांदी के बर्तन में लंबे समय तक खाना फ्रेश रहता है। चांदी के बर्तन में एंटीबैक्टीरियल गुण मौजूद होते हैं, जो शरीर की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में मदद करते हैं।