Ghaziabad News : उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से पति की मृत्यु होने के बाद निराश्रित महिला योजना के तहत जिला प्रोबेशन विभाग की ओर से एक हजार रुपये प्रति माह विधवा पेंशन मुहैया कराई जाती है। वित्ती वर्ष 2023 के सत्यापन में ऐसी महिलाओं के नाम सामने आए हैं, जो पिछले काफी समय से अपने दिए गए पते पर ही नहीं है। इसके बावजूद उनके खाते में विधवा पेंशन पहुंच रही है। जिले में 30589 महिलाओं को विधवा पेंशन योजना का लाभ दिया जा रहा है।
क्या है पूरा मामला
पेंशन धारक महिलाओं का जिला प्रोविजन विभाग की टीम ने घर-घर जाकर सत्यापन शुरू किया तब इस दौरान 49 महिलाएं अपने दिए गए पत्ते से गायब मिली। उनके बारे में स्थानीय स्तर पर शुरुआत में कोई जानकारी नहीं मिल सकी। जबकि उनके खाते में पेंशन लगातार गई और इसका उनमें से ज्यादातर ने निकालकर उपयोग भी किया। सत्यापन में गायब मिली इन सभी महिलाओं की पेंशन को तत्काल प्रभाव से रोक दिया गया है। इसके साथ ही विभाग की ओर से जांच कर इन महिलाओं का पता लगाया जा रहा है। इनमें से अपात्र मिलने वाली महिलाओं से पेंशन राशि की वसूली करने की तैयारी है।
पेंशन बंद कर वसूली की तैयारी
बता दें कि इससे पूर्व आधार लिंक करने के दौरान किए गए सत्यापन में भी गत वर्ष करीब पांच हजार महिलाओं का सुराग नहीं लगा था। उनकी पेंशन को अब बंद कराया गया है। वित्त वर्ष 2023 के सत्यापन के दौरान कानपुर में शादीशुदा होने के बावजूद करीब दो दर्जन महिलाएं विधवा पेंशन का लाभ लेते हुए मिली थी। इनके माथे पर सिंदूर था लेकिन खाते में प्रत्येक तिमाही तीन हजार रुपये पहुंच रहे थे। उन्होंने पहले पति की मौत के बाद दूसरी शादी तो कर ली लेकिन विधवा पेंशन बंद करने के लिए आवेदन नहीं किया था। सत्यापन में पोल खुलने के बाद पेंशन बंद कर वसूली की तैयारी की जा रही है। इसी तरह यहां भी मामला ऐसा ही हो सकता है। पते से गायब 49 महिलाओं की तलाश कराई जा रही है। ज्ञात हो कि जिले में शादी के नाम पर मजदूर की बेटी की शादी के लिए मिलने वाले 82 हजार का अनुदान में भी बड़ी घपला सामने आया था।