पांच बड़े मुद्दे उठाए, बोले- बहरा हुआ प्राधिकरण

ग्रेटर नोएडा वेस्ट में फ्लैट खरीदारों का प्रदर्शन : पांच बड़े मुद्दे उठाए, बोले- बहरा हुआ प्राधिकरण

 पांच बड़े मुद्दे उठाए, बोले- बहरा हुआ प्राधिकरण

Tricity Today | घर खरीदारों का कहना है कि उनकी मांगे नहीं मानी जा रही हैं

  • पूरे ग्रेटर नोएडा वेस्ट में नहीं मिलता पीने योग्य पानी
  • जो लोग फ्लैट्स में आए, उनकी नहीं हो रही रजिस्ट्री
  • महज दस वर्षों में बिल्डिंग की हालत जर्जर हो गई
  • बुजुर्ग और बच्चे कुत्तों के आतंक से बुरी तरह त्रस्त
  • लिफ्ट में बार-बार फंसने की घटनाएं बढ़ रही हैं
Greater  Noida West : ग्रेटर नोएडा वेस्ट में संडे का मतलब प्रोटेस्ट का दिन होता है। आज फिर घर खरीदार सड़कों पर अपना सुख चैन छोड़कर ठंड में कांपते हुए अपने अधिकारों के लिए सड़कों पर उतरे हैं। इन लोगों ने पांच बड़े मुद्दे उठाए हैं। जिनमें रजिस्ट्री जैसे मूलभूत अधिकार और रोजमर्रा के जीवन से जुड़ी सुविधाएं शामिल हैं। घर खरीदार एक मूर्ति सर्किल पर इकट्ठा हुए। जिन्हें घर नहीं मिला है, उन्हें घर दिलवाने की मांग की। घर खरीदारों का प्रदर्शन लगातार नवें हफ्ते भी जारी रहा। इस आंदोलन में लगातार घर खरीदारों की संख्या बढ़ रही है और लगभग हर सोसाइटी से लोग अपनी समस्या लेकर रहे हैं।


आंदोलन लगातार नवें हफ्ते जारी
घर खरीदारों का कहना है कि उनकी मांगे नहीं मानी जा रही हैं और ही कोई एक्शन लिया जा रहा है। ये लगातार नवां हफ्ता है और प्रदर्शन का कोई असर होता नहीं दिख रहा है। लिहाजा, अब इसे बड़ा रूप देंगे। फरवरी में कार और बाइक रैली निकालेंगे।

13 साल बाद भी हैं घर से वंचित
कई ऐसे घर खरीदार विरोध प्रदर्शन में रहे हैं, जिन्हें 13 साल बाद भी घर नहीं मिला है। इनका कहना है कि मिलता है तो सिर्फ और सिर्फ नेताओ का आश्वासन।  कितनी ही सरकार आईं और गईं, लेकिन हालत नहीं बदले। इसी गुस्से को लेकर आज जमकर नारेबाजी हुई। इस जंग में वो लोग भी शामिल हुए, जिन्होंने किसी प्रकार घर तो ले लिया है, लेकिन रजिस्ट्री नहीं हो रही है।



क्या कहते हैं नेफोवा के अध्यक्ष
नेफोवा के अध्यक्ष अभिषेक कुमार कहते हैं, "हमने अपनी संपत्ति पाने के लिए 100% भुगतान किया है, लेकिन अभी तक कोई रजिस्ट्री नहीं की गई है। अधिकारियों को इस पर गौर करना चाहिए और इस मुद्दे को हल करना होगा। अभी तक हमारा विरोध मौन और शांतिपूर्ण रहा है। हम रजिस्ट्री चाहते हैं और अपना  घर चाहते हैं। हम अपने अधिकारों के लिए लड़ रहे हैं।" वो आगे कहते हैं, "हम सरकार से अनुरोध करते हैं कि वह हमारी आवाज सुने। सरकार घर खरीदारों की इस तरह की समस्या को नजरअंदाज नहीं कर सकती है। उन्हे तुरंत रजिस्ट्री शुरू करनी चाहिए। जिन्हें 13 साल से घर नहीं मिला है, उन्हे घर दिया जाना चाहिए। उन लोगों के साथ अन्याय हो रहा है, जो ईमानदार हैं और उनकी कोई सुनने को तैयार नही है। हमारा प्रदर्शन उग्र होता जाएगा, अगर हमारी बात नहीं सुनी जाएगी।  फरवरी में हम कार बाइक रैली निकलेंगे।"


अजनारा होम्स में बुनियादी सुविधाएं नही
अजनारा होम्स के निवासियों का आरोप है कि वे बैंकों को ब्याज दे रहे हैं और अभी तक उनके हाथ में रजिस्ट्री नहीं है। विरोध के दौरान निवासियो ने अपनी सोसाइटी में नागरिक सुविधाओं से संबंधित चिंताओं को भी उठाया। अजनारा होम्स के निवासी सुबोध कुमार सिंह कहते हैं, "जब से हम यहां शिफ्ट हुए हैं, तब से बुनियादी जरूरतों के लिए रो रहे हैं। अभी भी सैकड़ों फ्लैट ऐसे हैं, जिनकी रजिस्ट्रियां लंबित हैं। हम अपने भविष्य को लेकर डरे हुए हैं।

कासा ग्रीन्स में भी रजिस्ट्री लंबित
 निवासी महेश यादव कहते हैं, "कासा ग्रीन्स में 9 टावर और 800 फ्लैट हैं। फ्लैट खरीदते समय बिल्डर ने हमें एक महीने के भीतर रजिस्ट्री देने का वादा किया था। रजिस्ट्रियां लंबित हैं, हमने स्थिति जानने के लिए आरटीआई दायर की, लेकिन अभी तक कोई जवाब नहीं आया है। हम शांतिपूर्ण सेवानिवृत्त जीवन बिताने का सपना देख कर आये थे, लेकिन हम तो मुद्दों में ही उलझ कर रह गए हैं। शांति तो मिली नहीं, इतनी परेशानियां मिल गई हैं। अभी भी 550 निवासी रजिस्ट्री का इंतजार कर रहे हैं।"


धरने में 20 से अधिक सोसाइटी के घर खरीदार पहुंचे
20 से अधिक सोसायटी के निवासियों ने एक साथ इकट्ठा होकर बिल्डरों के खिलाफ आवाज उठाई। जिनमे ला रेसिडेंशिया, विक्ट्री वन सेंट्रल, अपकंट्री, इकोविलेज-1, इकोविलेज-2, इको विलेज-3, एपेक्स गोल्फ एवेन्यू, अमात्रा होम्स, कासा ग्रीन्स-1, अजनारा होम्स, जेएम फ्लोरेंस और अर्थकॉन, गौरसिटी-1 आदि के निवासियों ने भाग लिया। रविवार को आंदोलन में 100 से ज्यादा घर खरीदार शामिल हुए। आंदोलन में शामिल अनुपमा, अमित दयाल,स्निग्ध सिंह, अमित वर्मा, नीरज श्रीवास्तव, अनुराग खरे, महेश यादव, चंदन सिन्हा, महेश विष्ट और आशीष शामिल हुए। इनका कहना है कि हमारा आंदोलन तब तक जारी रहेगा, जब तक सरकार रजिस्ट्री शुरु नहीं कर देती है। जिन्हें आज तक घर नहीं मिला उन्हें घर नहीं दे देती है।

घर खरीदार योगेश, संतोष, निधि सक्सेना, अशोक श्रीवास्तव, हिमांशु सक्सेना, अभिषेक जैन, एसपी गुप्ता, वीके बत्रा, करुणाकर बिस्वाल का कहना है उनकी मांगों को जिस तरह नज़रअंदाज़ किया जा रहा है उसे देखकर वो हैरान हैं। बड़ी संख्या में खरीदारों ने मीटिंग की और सबने इस पर सहमति जताई कि आंदोलन को लगातार ज़मीन पर और सोशल मीडिया पर जारी रखना है। इस आंदोलन में अहम भूमिका निभा रहे मिहिर गौतम ने सभी घर खरीदारों  से अपील की है कि ज्यादा से ज़्यादा लोगों को शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन से जोड़ें और इसे लगातार जारी रखें।
 

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