Tricity Today | ग्रेटर नोएडा वेस्ट में अवैध होर्डिंग
ग्रेटर नोएडा वेस्ट अवैध और जानलेवा यूनीपोल का गढ़ बन गया है। पूरे शहर में बड़े-बड़े अवैध होर्डिंग और यूनीपोल लगे हुए हैं। जिन पर तमाम नेशनल और मल्टीनेशनल कंपनियों के एडवर्टाइजमेंट देखे जा सकते हैं। मिली जानकारी के मुताबिक हर महीने एक यूनीपोल पर इन विज्ञापन की एवज में 50 हजार रुपये से ज्यादा धनराशि वसूल की जा रही है। बड़ी बात यह है कि ऐसे अवैध यूनीपोल की संख्या 100 से भी ज्यादा है। सवाल उठता है कि हर महीने करीब 50 लाख रुपए किसकी जेब में जा रहे हैं। शहर के सामाजिक संगठन भी इस पर सवाल उठा रहे हैं, लेकिन विकास प्राधिकरण पूरी तरह चुप्पी साध कर बैठा हुआ है।
ग्रेटर नोएडा शहर की प्रमुख सामाजिक संस्था एक्टिव सिटीजन टीम के वरिष्ठ सदस्य हरेंद्र भाटी ने यह मुद्दा उठाया है। उनका कहना है, "इन अवैध और जानलेवा यूनीपोल होर्डिंग्स को हटाने की कार्रवाई आख़िरी कब होगी? ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के अधिकारियों को कई बार अवगत करा चुके हैं। दिखावे के लिए कार्यवाही की जाती है।" उन्होंने कहा, "ग्रेटर नोएडा वेस्ट में भारी संख्या में अवैध यूनीपोल लगे हुए हैं। ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की तरफ़ से केवल 50 यूनीपोलो की परमिशन दी गई हैं। 100 से ज्यादा यूनीपोल अवैध लगे हुए हैं। गौड़ चौक के आसपास बहुत ज़्यादा अवैध यूनीपोल लगे हुए हैं। आम्रपाली लेजरवेली के सामने कुछ यूनीपोल की ऊंचाई कम होने से दुर्घटनाओं को दावत दे रहे हैं। इन्हें गलत तरीके से सड़कों के किनारे लगाया गया है। कोहरे और रात के वक्त कभी इनसे हादसा हो सकता है। अब से पहले भी अवैध यूनीपोल की वजह से एक महिला की मौत हो चुकी है।"
हरेंद्र भाटी ने कहा, "हर महीने इन अवैध यूनीपोल से बहुत मोटी रकम कुछ लोगों की जेबों में जा रही है। इस कोहरे के मौसम में क्या यह सभी यूनीपोल प्राधिकरण द्वारा स्वीकृत हैं? कृपया अथॉरिटी इसका संज्ञान ले। जिन लोगों ने अवैध यूनीपोल लगा रखे हैं, प्राधिकरण को उनके ख़िलाफ़ कार्यवाही करनी चाहिये। अगर अब प्राधिकरण इस दिशा में कोई प्रभावी कदम नहीं उठाता है तो मजबूर होकर शहर के सामाजिक संगठनों को आंदोलन करना पड़ेगा। इससे न केवल माफिया टाइप के लोगों को शहर में बढ़ावा मिल रहा है, बल्कि पूरे शहर की खूबसूरती पर भी बट्टा लगाया जा रहा है।"
अवैध होर्डिंग से हुए हादसे में महिला मर चुकी है
आपको बता दें कि ग्रेटर नोएडा वेस्ट और ग्रेटर नोएडा शहर के अलावा दादरी से लेकर दनकौर तक तमाम मुख्य मार्गों पर अवैध यूनीपोल का कब्जा है। मानकों के मुताबिक यूनीपोल नहीं लगाए गए हैं। कहीं भी गड्ढा खोदकर भारी-भरकम यूनीपोल खड़े कर दिए गए हैं। हर साल तेज हवा, तूफान और बारिश के मौसम में यूनीपोल उखड़कर सड़कों पर गिर जाते हैं। जिसकी वजह से तमाम हादसे हो चुके हैं। पिछले साल ग्रेटर नोएडा वेस्ट में ऐसा ही एक अवैध यूनीपोल महिला के ऊपर गिर पड़ा था। जिसमें उसकी मौत हो गई थी। दो अन्य लोग घायल भी हुए थे। इस मामले में भी विकास प्राधिकरण ने लीपापोती कर दी थी।
बड़े नेता का प्रश्रय होने के कारण प्राधिकरण मौन है
इस मामले पर आधिकारिक बयान लेने के लिए विकास प्राधिकरण के जिम्मेदार अधिकारियों और विभाग से संपर्क करने का प्रयास किया गया, लेकिन कोई भी अधिकारी बात करने के लिए तैयार नहीं है। जानकारी मिली है कि जिले में एक बड़ा नेता और उसके करीबी लोग यह धंधा चला रहे हैं। नेता के दबाव में ही विकास प्राधिकरण कार्यवाही से हाथ खींच लेता है।