पंचायत चुनाव में आम आदमी पार्टी ने दी दस्तक, दो वार्डों से उतारे प्रत्याशी

गौतमबुद्ध नगर पंचायत चुनाव में आम आदमी पार्टी ने दी दस्तक, दो वार्डों से उतारे प्रत्याशी

पंचायत चुनाव में आम आदमी पार्टी ने दी दस्तक, दो वार्डों से उतारे प्रत्याशी

Tricity Today | गौतमबुद्ध नगर पंचायत चुनाव

  • - आम आदमी पार्टी ने दो वार्डों से उतारे उम्मीदवार
  • - भाजपा छोड़कर आए नेता को बनाया वार्ड नंबर 3 से उम्मीदवार
  • - किसान नेता को को वार्ड नंबर 5 से उम्मीदवार घोषित किया

 

पंचायत चुनाव को लेकर तैयारी जोर शोर में है। शुक्रवार को आम आदमी पार्टी ने गौतमबुद्ध नगर के वार्ड नंबर 3 और वार्ड नंबर 5 से अपने उम्मीदवार की घोषणा कर दी है। आम आदमी पार्टी विपक्षी पार्टियों को टक्कर देने की कोशिश कर रही है। आप ने भाजपा ने आए और किसान नेता को मैदान में उतारा है।

भाजपा छोड़कर आए हरेंद्र सिंह सिसोदिया को वार्ड नंबर 3 से खड़ा किया
गौतमबुद्ध नगर से आम आदमी पार्टी के जिला अध्यक्ष भूपेंद्र जादौन ने बताया कि शुक्रवार की देर शाम को आम आदमी पार्टी ने गौतम बुद्ध नगर से पंचायत चुनाव को लेकर वार्ड नंबर 3 और वार्ड नंबर 5 से उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है। उन्होंने बताया कि वार्ड नंबर 3 से हरेंद्र सिंह सिसोदिया को प्रत्याशी घोषित किया है। हरेंद्र सिंह सिसोदिया मूल रूप से दादरी में स्थित सलारपुर के रहने वाले हैं। उनका पारिवारिक इतिहास राजनीतिक में गुजरा है। उनके पिता इस समय ब्लाक प्रमुख और उनकी माताजी जिला पंचायत सदस्य हैं। उन्होंने बताया कि हरेंद्र सिंह सिसोदिया कुछ समय पहले ही भाजपा छोड़कर आम आदमी पार्टी में आए हैं। 

धीरज चौधरी को वार्ड नंबर 5 से उम्मीदवार बनाया
वहीं, वार्ड नंबर 5 से भारतीय किसान यूनियन के प्रदेश प्रवक्ता और किसान आंदोलन में राकेश टिकैत का पूरा समर्थन देने वाले धीरज चैधरी को आम आदमी पार्टी ने उम्मीदवार घोषित किया है। धीरज चौधरी जेवर में स्थित गोविंदगढ़ के रहने वाले हैं। उन्होेंने बताया कि जल्द की आप बाकी वार्डाें पर भी अपने उम्मीदवारों की घोषणा करेगी। यूपी में होने वाले पंचायत चुनाव को लेकर आम आदमी पार्टी ने शुक्रवार को 400 उम्मीदवारों की सूची जारी कर दी है। आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके इसकी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश का पंचायत चुनाव हिंदुस्तान में सबसे बड़ा पंचायत चुनाव है। जब हम ग्राम-स्वराज की बात करते हैं, तो सबसे पहले उसमें पंचायत की इकाई आती है। इसमें ग्राम पंचायत, जिला पंचायत और क्षेत्र पंचायतें शामिल हैं। पंचायतों में विकास कार्यों के लिए जो योजनाएं आती हैं, उसको अगर सही रूप से जमीन पर उतारा जाए तो उत्तर प्रदेश का कायाकल्प सही मायने में हो सकता है।

आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश में पंचायत चुनाव को लेकर राज्य सरकार की तैयारियों पर फिलहाल इलाहाबाद हाईकोर्ट ने रोक लगा दी है। हाईकोर्ट ने आरक्षण प्रक्रिया पर भी रोक लगाई है। अभी यूपी में पंचायत चुनाव पर ब्रेक लग गया है। शुक्रवार को प्रयागराज हाईकोर्ट ने यह आदेश अजय कुमार बनाम राज्य सरकार की जनहित याचिका दिया है। हाईकोर्ट ने आरक्षण और आवंटन कार्रवाई रोक दी है। हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से जवाब मांगा है। जिस पर सोमवार को सरकार जवाब दाखिल करेगी।

उत्तर प्रदेश सरकार के अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने राज्य के सभी जिलाधिकारियों को एक पत्र भेजा है। जिसमें कहा गया है कि त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में जिला पंचायत, क्षेत्र पंचायत और ग्राम पंचायत के स्थानों और पदों का आरक्षण व आवंटन हाईकोर्ट के आदेश पर रोका जा रहा है। लिहाजा, न्यायालय के आदेश का पालन करते हुए अंतिम रूप से आरक्षण और आवंटन की कार्यवाही को स्थगित कर दिया जाए। आपको बता दें कि अब 15 मार्च को इलाहाबाद हाईकोर्ट इस मामले पर सुनवाई करेगा। उस दिन राज्य सरकार और पिटीशनर अपना-अपना पक्ष अदालत के सामने रखेंगे। अदालत ने आदेश दिया है कि जब तक सुनवाई पूरी नहीं हो जाती, तब तक चुनाव से संबंधित सारी प्रक्रियाएं स्थगित रहेंगी।

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