प्राधिकरण और आम आदमी के साथ धोखाधड़ी की गई, सख्त कार्रवाई होगी

M3M बिल्डर पर यमुना अथॉरिटी के सीईओ का बयान : प्राधिकरण और आम आदमी के साथ धोखाधड़ी की गई, सख्त कार्रवाई होगी

प्राधिकरण और आम आदमी के साथ धोखाधड़ी की गई, सख्त कार्रवाई होगी

Tricity Today | डॉ.अरुणवीर सिंह

Greater Noida News : नोएडा के सेक्टर-128 में 73 एकड़ जमीन के अनाधिकृत ट्रांसफर को लेकर यमुना एक्सप्रेसवे इंडस्ट्रियलDr.Arunvir Singh IAS) डेवलपमेंट अथॉरिटी (Yamuna Authority) के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ.अरुणवीर सिंह ( ने गुरुवार को कड़ा रुख अख्तियार किया है। डॉ.अरुणवीर सिंह ने इन तीनों कंपनियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाने का आदेश दिया है। जिला प्रशासन, स्टांप डिपार्टमेंट और नोएडा अथॉरिटी को पत्र लिखकर कार्रवाई करने की मांग की है। अरुणवीर सिंह ने कहा, "इन तीनों कंपनियों ने मिलकर अनाधिकृत रूप से 73 एकड़ जमीन का ट्रांसफर किया है। जिसमें स्टांप ड्यूटी की चोरी की गई है। यमुना प्राधिकरण के हितों को धोखाधड़ी करके नुकसान पहुंचाया गया है। यमुना प्राधिकरण से नहीं ली गई अनुमति
डॉक्टर अरुणवीर सिंह ने कहा, "जेपी समूह ने सेक्टर-128 में 73 एकड़ जमीन कदम डेवलपर्स को दी थी। अब जानकारी मिली है कि कदम डेवलपर्स ने जमीन अनाधिकृत रूप से इंडिया बुल्स हाउसिंग फाइनेंस कंपनी को ट्रांसफर कर दी। फिर इंडिया बुल्स हाउसिंग फाइनेंस ने M3M बिल्डर को ट्रांसफर कर दी है। इसके लिए यमुना प्राधिकरण से ट्रांसफर मेमोरेंडम नहीं लिया गया है। अथॉरिटी से अनुमति भी नहीं ली गई है। यह पूरी तरह जमीन की अनाधिकृत खरीद-फरोख्त है। M3M बिल्डर के पास जमीन नहीं है। साथ ही उसके पास जमीन का टाइटल नहीं है। इसके बावजूद हाउसिंग प्रोजेक्ट लांच कर दिया गया।" उन्होंने आगे कहा, "हमने नोएडा प्राधिकरण को पत्र लिखा है। अगर बिल्डर ने नक्शा पास करवाने के लिए आवेदन किया है तो उसका नक्शा पास नहीं किया जाए। अगर नक्शा पास कर दिया गया है तो उसे रद्द करने की मांग की है। स्टांप एंड रजिस्ट्रेशन डिपार्टमेंट को जांच करने के लिए पत्र लिखा गया है। इन कंपनियों से स्टांप ड्यूटी की वसूली की जाएगी।

गाजियाबाद में एफआईआर, धोखाधड़ी से बचें आम आदमी
सीईओ ने बताया कि यमुना प्राधिकरण को करीब 200 करोड़ रुपए ट्रांसफर मेमोरेंडम की एवज में मिलने चाहिए थे। यह पैसा भी कंपनियों से वसूल किया जाएगा। हाउसिंग प्रोजेक्ट लांच करने पर अरुणवीर सिंह ने कहा, "खरीदारों को इस तरह के प्रोजेक्ट से बचना चाहिए। अगर  बुकिंग कर रहे हैं तो ऐसी किसी परियोजना में फ्लैट या कोई दूसरी प्रॉपर्टी नहीं खरीदें।" आपको बता दें कि इंडिया बुल और M3M के खिलाफ शिप्रा समूह ने गाजियाबाद के इंदिरापुरम थाने में एफआईआर दर्ज करवाई है। इन कंपनियों के बीच सेक्टर-128 की 73 एकड़ जमीन को लेकर विवाद बढ़ गया है।

Copyright © 2023 - 2024 Tricity. All Rights Reserved.