गैंग के खिलाफ होगा मनी लांड्रिंग का मुकदमा दर्ज, अब ईडी संभालेगी कमान

ग्रेटर नोएडा में 300 करोड़ रुपए की ड्रग्स फैक्ट्री : गैंग के खिलाफ होगा मनी लांड्रिंग का मुकदमा दर्ज, अब ईडी संभालेगी कमान

गैंग के खिलाफ होगा मनी लांड्रिंग का मुकदमा दर्ज, अब ईडी संभालेगी कमान

Tricity Today | Symbolic

Greater Noida News : ग्रेटर नोएडा में बीते 17 मई 2023 को 300 करोड़ रुपए की ड्रग्स फैक्ट्री का पर्दाफाश हुआ था। इस मामले में अब प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) बड़ा एक्शन लेने वाली है। ड्रग्स फैक्ट्री में पकड़े गए गैंग के खिलाफ मनी लांड्रिंग का मुकदमा दर्ज किया जाएगा। उसके बाद इस बात का पता चल सकेगा कि इस गैंग के पास कहां से पैसा आता था? अभी तक कितने लोगों ने इनको पैसे ट्रांसफर किया और कहां-कहां से किए गए? इसके अलावा गैंग को फंडिंग कैसे की जाती थी? इस मामले की पूरी प्रमुखता के साथ जांच की जाएगी। हो सकता है कि जांच में कुछ बड़े लोगों के नाम शामिल हो।

गैंग के तार ड्रग्स कार्टेल और टेरर फंडिंग से जुड़े!
बताया जा रहा है कि इस गैंग के तार ड्रग्स कार्टेल, क्रिप्टोकरंसी और टेरर फंडिंग से जुड़े हुए हैं। यह काफी गंभीर मुद्दा है और उच्च स्तरीय जांच होना काफी आवश्यक है। इसी वजह से यह फैसला लिया गया है। यह भी बताया जा रहा है कि काफी समय से ग्रेटर नोएडा में चल रही ड्रग्स फैक्ट्री से छात्रों को नशे के व्यापार में धकेला गया। फिलहाल पूरा अभी मुद्दा जांच का विषय है। जांच के बाद सब कुछ स्पष्ट हो जाएगा। इस ड्रग्स फैक्ट्री में कुछ पुलिस कर्मियों के नाम भी शामिल बताए गए थे, लेकिन उन पर क्या एक्शन हुआ। इसको लेकर कोई आधिकारिक बयान सामने नहीं आया था।

हाउस नंबर 279 में होता था काला धंधा
आपको बता दें कि इस ड्रग्स फैक्ट्री में सभी 9 आरोपी अफ्रीकी मूल के निवासी थे और दिल्ली-एनसीआर रीजन में ड्रग्स सप्लाई सिंडीकेट चलाते थे। यहीं इनका बेस था। ग्रेटर नोएडा के सेक्टर थीटा-2 स्थित मकान नंबर 279 में इन्होंने एक फैक्ट्री सैट-अप बनाया था। ड्रग्स मैन्यूफैक्चरिंग के बाद ये उसकी सप्लाई दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में करते थे।

इसका भी पता लगाया जाएगा : लक्ष्मी सिंह
इस गैंग का खुलासा करते हुए पुलिस कमिश्नर लक्ष्मी सिंह ने कहा था, "इन्हें भारी मात्रा में यह सारे रसायन कहां से मिल रहे हैं, यह पता लगाया जाएगा। इनके नेटवर्क मेंबर इस ड्रग को कन्ज्यूमर्स तक पहुंचाते थे। उनका पता लगाया जा रहा है। इनके समस्त फाइनेंशियल ट्रान्जैक्शन, विदेश में जुड़े सप्लाई के तार, नार्को-टेरर लिंक और बैकवॉर्ड-फॉरवर्ड लिंक्स पर गहनता से विवेचना की जाएगी।"

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