14 गांवों की किस्मत खुली, मॉडल विलेज के रूप में विकसित होंगे, गांव वालों को ये सुविधाएं मिलेंगी

GREATER NOIDA : 14 गांवों की किस्मत खुली, मॉडल विलेज के रूप में विकसित होंगे, गांव वालों को ये सुविधाएं मिलेंगी

14 गांवों की किस्मत खुली, मॉडल विलेज के रूप में विकसित होंगे, गांव वालों को ये सुविधाएं मिलेंगी

Google Image | प्रतीकात्मक फोटो

Model Villages in Greater Noida : ग्रेटर नोएडा के चार गांवों की किस्मत खुल गई है। इन गावों को विकास प्राधिकरण (Greater Noida Authority) मॉडल विलेज के रूप में विकसित करेगा। प्राधिकरण ने अपने अधीन गांवों को मॉडल स्मार्ट विलेज बनाने की दिशा में कदम बढ़ा दिए हैं। प्रथम चरण में बनने वाले 14 स्मार्ट विलेज में से 4 की डीपीआर (डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट) बन गई है। सलाहकार एजेंसी ने इन डीपीआर पर अफसरों के सामने प्रजेटेंशन दिया। अधिकारी आगामी दो माह में इनको अंतिम रूप दे देंगे। इसके बाद इनकी टेंडर प्रक्रिया शुरू होगी।

प्राधिकरण ने शहर की तर्ज पर गांवों में भी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए प्रयास शुरू कर दिए हैं। प्राधिकरण ने पहले चरण में 14 गांवों मॉडल स्मार्ट विलेज के रूप में विकसित करने का फैसला लिया है। इन गांवों में  मायचा, छपरौला, सादुल्लापुर, तिलपता-करनवास, घरबरा, चीरसी, लडपुरा, अमीनाबाद उर्फ नियाना, सिरसा, घंघोला, अस्तौली, जलपुरा, चिपियाना खुर्द, तिगरी और युसुफपुर चकशाहबेरी गांव शामिल हैं। इन गांवों की डीपीआर बनवाने के लिए प्राधिकरण ने भारत सरकार की संस्था वैपकॉस लिमिटेड का चयन किया था। कंपनी ने चार गांवों की डीपीआर प्राधिकरण को सौंप दी है। 

इन चार गांवों का विकास पहले होगा
जिन गांवों की डीपीआर सौंपी है, उसमें मायचा, जलपुरा, घरबरा और अमीनाबाद नियाना शामिल हैं। सलाहकार एजेंसी ने चार गांवों की डीपीआर का अफसरों के सामने प्रजेंटेशन दिया। अब प्राधिकरण डीपीआर का मूल्यांकन करके 2 महीने में अंतिम रूप दे देगा। अन्य गांवों की डीपीआर अगले 3-4 माह में बन जाएगी। गुरुवार को प्रस्तुतीकरण में प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी नरेंद्र भूषण, अपर मुख्य कार्यपालक अधिकारी दीप चन्द्र, महाप्रबधक (परियोजना) एके अरोड़ा, महाप्रबधक (नियोजन) मीना भार्गव, केआर वर्मा, खजान सिंह, कपिलदेव, वीपी सिंह, सुभाष चन्द्रा, रमेश चन्द्र, संदीप भरता आदि मौजूद रहे।

इन गांवों में यह सुविधाएं मिलेंगी

सड़क
  1. ड्रेनेज
  2. सीवरेज
  3. जलापूर्ति
  4. विद्युतीकरण का विकास
  5. सामुदायिक केन्द्र
  6. पंचायत घर
  7. प्राथमिक विद्यालय का विकास
  8. उद्यानीकरण
  9. वाई-फाई सुविधा का विकास
  10. क्रीड़ास्थल
  11. तालाबों का संरक्षण
  12. सौर उर्जा उत्पादन
  13. ठोस अपशिष्ट प्रबन्ध
  14. स्ट्रीट फर्नीचर
  15. कौशल विकास केंद्र 
गांवों में रोजगार के साधन विकसित होंगे
इन गांवों में लोगों की दैनिक आवश्यकताओं को पूरा करने के लिये बाजार, कियोस्क और दुकानों की व्यवस्था भी की जायेगी। जिससे स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। अधिकारियों ने बताया कि इन गांवों में सड़क, बिजली, स्ट्रीट लाइट, सीवर, जलापूर्ति, खडंजा, नाली, सामुदायिक केन्द्र, सार्वजनिक शौचालय, सॉलिड वेस्ट मैनेजमेन्ट, स्वास्थ्य केन्द्र, पार्क, तालाब का विकास और सौन्दर्यीकरण आदि सुविधाएं दी जाएंगी। जहां पर ये सुविधाएं होंगी, उन्हें और दुरुस्त किया जाएगा।  इनमें प्राथमिक स्कूल, क्रीड़ास्थल तथा पुस्तकालय की व्यवस्था की जाएगी।

कौशल विकास के लिए बनेगी कार्ययोजना
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण कौशल विकास के लिए 3 माह में विस्तृत कार्य योजना के साथ उसको पायलट प्रोजेक्ट के रूप में शुरू करेगा। ताकि ग्रामीण और शहरी क्षेत्र के युवाओं को विभिन्न श्रेणियों में प्रशिक्षित करके उनको रोजगार मिलने में सहायता दी जा सके। साथ ही विभिन्न इकाइयों से समन्वय स्थापित करके उनको रोजगार दिलाने का प्रयास किया जाएगा।

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