Lucknow : यूपी की राजधानी लखनऊ में मड़ियांव थाना क्षेत्र के आईआईएम रोड स्थित ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती भाषा विश्वविद्यालय परिसर में छात्रों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया। सोमवार सुबह सैकड़ों की संख्या में पहुंचे छात्रों ने प्रशासनिक भवन के सामने डेरा डाल दिया। इसके साथ ही विश्वविद्यालय प्रशासन के तानाशाही रवैए के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। आरोप है कि विश्वविद्यालय प्रशासन उनकी आवाज को दबाने के लिए वहां मौजूद सुरक्षा गार्डों से पिटाई करवाता है। बता दें कि बीते दिनों तीन छात्रों को अनुशासन हीनता के चलते छात्रावास से निष्कासित कर दिया गया था।
छात्रों ने प्रॉक्टर पर लगाएं गंभीर आरोप
छात्रों ने भाषा विश्वविद्यालय के प्रो प्रॉक्टर प्रवीण कुमार राय पर आरोप लगाते हुए कहा कि उनके द्वारा गार्डों से गंदी गंदी गालियां दिलवाई जाती हैं वही शिकायत करने पर हॉस्टल से निष्कासित करने और भविष्य बर्बाद करने की भी धमकी दी जाती है। छात्रों ने हॉस्टल में साफ सफाई और खाने की गुणवत्ता पर भी सवाल उठाए हैं। उनका कहना है कि कई बार शिकायतों के बाद भी इस पर उचित कार्यवाही नहीं होती है प्रशासन की तरफ से यह कह दिया जाता है कि विश्वविद्यालय गरीब है। छात्रों ने प्रॉक्टोरियल बोर्ड को हटाकर नए सिरे से इसका गठन करने की मांग की है।
जातिसूचक शब्दों से किया जाता है अपमानित
छात्रों के मुताबिक, हॉस्टल में लगातार तानाशाही रवैया बढ़ता जा रहा है प्रॉक्टोरियल बोर्ड बिना किसी निष्पक्ष जांच के बच्चों को निष्कासित कर दें रहा है। इसके खिलाफ आवाज उठाने पर सभी छात्रों को डराया धमकाया जाता है साथ ही जातिसूचक शब्दों का उपयोग करके अपमानित भी किया जाता है। प्रदर्शन कर रहे छात्रों ने कहा कि हॉस्टल में नियुक्त गार्ड्स को पर्सनल नौकर एवं गुंडों की तरह उपयोग किया जा रहा है। जो लाठियां मारते हैं और डंडों के बल पर जोर आजमाइश करते हैं।