ग्रेटर नोएडा में 195 औद्योगिक इकाइयां और बिल्डरों के 51 प्रोजेक्ट शुरू होंगे

ग्रेटर नोएडा में 195 औद्योगिक इकाइयां और बिल्डरों के 51 प्रोजेक्ट शुरू होंगे

ग्रेटर नोएडा में 195 औद्योगिक इकाइयां और बिल्डरों के 51 प्रोजेक्ट शुरू होंगे

Tricity Today | प्रतीकात्मक फोटो

ग्रेटर नोएडा विकास प्राधिकरण ने 195 औद्योगिक इकाइयों को लॉकडाउन के दौरान खोलने की अनुमति दे दी है। इसके अलावा 51 रीयल एस्टेट प्रोजेक्ट पर काम शुरू करने की अनुमति दी है। विकास प्राधिकरण के इंडस्ट्री और बिल्डर्स डिपार्टमेंट ने गुरुवार को यह मंजूरियां दी हैं।

ग्रेटर नोएडा क्षेत्र में स्थित औद्योगिक इकाइयों को खोलने के लिए शासन की गाइडलाइन के तहत अनुमति दी जा रही है। प्राधिकरण में अब तक 668 औद्योगिक इकाइयों ने काम शुरू करने के लिए आवेदन किया है। प्राधिकरण ने 195 कंपनियों को चलाने की अनुमति दे दी है। शेष आवेदनों को निरस्त कर दिया गया है। निर्माण शुरू करने के लिए 55 बिल्डर्स ने आवेदन किया है। इसमें से अब तक 51 बिल्डर्स को साइट पर निर्माण कार्य आरम्भ करने की शासन ने अनुमति दी है। प्राधिकरण के अफसरों ने बताया कि शासन की गाइड लाइन के तहत काम करना होगा।

यमुना प्राधिकरण क्षेत्र में शुरू होंगे काम, 2 हजार मजदूरों को मिलेगा रोजगार
यमुना एक्सप्रेस वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने अपने सेक्टरों में विकास कार्य कराने के लिए 12 ठेकेदारों को अनुमति दी है। इन प्रोजेक्ट में 717 मजदूर काम करेंगे। इसके अलावा पांच बिल्डर परियोजनाओं पर काम करने की अनुमति दी गई है। इसमें सुपरटेक, गौर संस, अजनारा भी शामिल हैं। इसमें 1049 मजदूर काम करेंगे। जबकि, एक औद्योगिक इकाई में भी काम हो सकेगा। यहां भी निर्माण कार्य होना है। वीवो कंपनी में 312 मजदूर काम करेंगे। प्राधिकरण के ओएसडी शैलेंद्र भाटिया ने बताया कि यमुना प्राधिकरण क्षेत्र में काम शुरू होने से 2078 मजदूरों को रोजगार मिल सकेगा।

उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य के सभी 10 औद्योगिक विकास प्राधिकरण को आदेश दिया है कि वह अपने क्षेत्र में विकास कार्यों को शुरू करें। जिससे अधिक से अधिक लोगों को रोजगार मिल सकें। नोएडा विकास प्राधिकरण ने बुधवार को 10 बड़े प्रोजेक्ट पर काम शुरू कर दिया था। ग्रेटर नोएडा विकास प्राधिकरण भी पुरानी योजनाओं पर काम शुरू करने के लिए तेजी से काम कर रहा है। गुरुवार को विकास प्राधिकरण ने 22 नई विकास योजनाएं घोषित की हैं। जिनके लिए टेंडर भी निकाल दिए गए हैं। यह 195 करोड रुपए की योजनाएं हैं। 

यमुना एक्सप्रेस वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ अरुणवीर सिंह ने भी 3 दिन पहले बयान जारी किया था कि यमुना प्राधिकरण क्षेत्र में सड़कों का निर्माण तेजी से किया जाएगा। जिससे वहां ज्यादा रोजगार के अवसर मुहैया करवाए जा सकें। जिले के शेल्टर होम्स में रह रहे प्रवासी मजदूरों को इन विकास योजनाओं में काम दिया जाएगा।

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