Tricity Today | प्रतीकात्मक फोटो
नोएडा से एक प्राइवेट अस्पताल की बड़ी लापरवाही का मामला सामने आया है। मामला संज्ञान में आने के बाद डीसीपी ने अस्पताल प्रबंधन के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने का आदेश दिया है। अस्पताल प्रबंधन पर मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। नोएडा के सेक्टर-33 में स्थित एक निजी अस्पताल के प्रबंधकों के खिलाफ लापरवाही से मौत का मामला दर्ज किया गया है। गौतमबुद्ध नगर के जिलाधिकारी ने इस मामले की जांच के लिए एक उच्च स्तरीय कमेटी बनाई है।
पुलिस उपायुक्त (जोन प्रथम) संकल्प शर्मा ने बताया कि थाना सेक्टर-24 क्षेत्र के सेक्टर-33 के एक अस्पताल में सोमवार की शाम एक व्यक्ति इलाज कराने गया था। वह सिक्योरिटी गार्ड की वर्दी में था। उन्होंने बताया कि अस्पताल में इलाज के दौरान उस व्यक्ति की मौत हो गई। अस्पताल प्रबंधकों ने मानवता को शर्मसार करते हुए शव को अस्पताल के गेट के बाहर रख दिया।
उन्होंने बताया कि जब इसकी सूचना गौतमबुद्ध नगर के जिलाधिकारी सुहास एलवाई को मिली तो उन्होंने गौतमबुद्ध नगर के मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ दीपक ओहरी को मामले की जांच के लिए भेजा। उन्होंने बताया कि सीएमओ और बिसरख स्थित सीएचसी के प्रभारी डॉ. सचेंद्र मिश्र ने मौके पर पहुंचकर घटना की जांच की।
डीसीपी ने बताया कि डॉ. मिश्र ने थाना सेक्टर-24 में अस्पताल के प्रबंधकों और डॉक्टरों के खिलाफ लापरवाही से मौत का मामला दर्ज कराया है। उन्होंने बताया कि रिपोर्ट दर्ज कर पुलिस मामले की जांच कर रही है। शव का पोस्टमार्टम कराया जा रहा है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही इस बात का पता चलेगा कि व्यक्ति की मौत कैसे हुई? उसका कोविड-19 का टेस्ट भी कराया जा रहा है।
गौतमबुद्ध नगर के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. दीपक ओहरी ने बताया कि मामले को गंभीरता से लेते हुए इसकी जांच के लिए एक उच्च स्तरीय कमेटी बनाई गई है। जिसमें नोएडा के जिला अस्पताल की मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ. वंदना शर्मा, अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी वीबी ढाका और अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. अमित को शामिल किया गया है।
सीएमओ ने बताया कि कमेटी से कहा गया है कि वह जल्द से जल्द अपनी रिपोर्ट दें। अगर जांच में यह बात साबित होती है कि उक्त व्यक्ति की मौत अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही से हुई है तो अस्पताल प्रबंधन के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।