पुलिस की टोपी पहनकर राहगीरों को टोपी पहनाने वाले बदमाश गिरफ्तार

पुलिस की टोपी पहनकर राहगीरों को टोपी पहनाने वाले बदमाश गिरफ्तार

पुलिस की टोपी पहनकर राहगीरों को टोपी पहनाने वाले बदमाश गिरफ्तार

Tricity Today | प्रतीकात्मक फोटो

सूरजुपर कोतवाली पुलिस ने एक ऐसे गैंग का पर्दाफाश किया है जो फर्जी पुलिस की टोपी लगाकर लूटपाट की वारदात करते थे। यह गैंग दिल्ली-एनसीआर में लूटपाट की कई वारदात कर चुका है। 

एक महीने पहले गैंग ने पुलिस की टोपी लगाकर सूरजपुर कोतवाली क्षेत्र में कैंटर लूट की वारदात की थी। कैंटर में मोबाइल के कवर भरे हुए थे। बदमाश कैंटर को दिल्ली की तरफ लेकर भाग रहे थे। दिल्ली पुलिस ने कैंटर और एक बदमाश को गिरफ्तार कर सूरजपुर पुलिस को सौंपा था। सूरजपुर पुलिस ने अब दो फरार बदमाशों को गिरफ्तार किया है। पुलिस इनका अपराधिक इतिहास खंगाल रही है। पुलिस ने इनके पास से एक बुलेरो गाड़ी और पुलिस की टोपी बरामद की है।
 
डीसीपी जोन-दो हरीश चन्दर ने बताया कि, पकड़े गए दो बदमाशों की पहचान धन सिंह निवासी शिव कॉलोनी पल्ला फरीदाबाद हरियाणा और दीपक निवासी चांदीनगर बागपत के रूप में हुई है। पुलिस ने पूर्व में इनके एक साथी मोनू को गिरफ्तार किया था। जिससे सूरजपुर से लूटा गया कैंटर बरामद किया था। जिसमें एक नामी कंपनी के मोबाइल कवर भरे हुए थे। 

डीसीपी ने बताया कि घटना में शामिल एक बदमाश अभी फरार है। दरसल, इस गैंग ने 13 दिसंबर 2019 को सूरजपुर स्थित क्राउन प्लाजा होटल के समीप से चालक को बंधक बनाकर कैंटर लूट की वारदात की थी। घटना के समय एक बदमाश पुलिस की टोपी और जैकेट पहने हुआ था। जिसके बाद बदमाशों ने खुद को पुलिस बताकर चैकिंग के नाम पर कैंटर को रोका था। 

वहीं चालक को अपनी गाड़ी में बंधक बनाकर डाल लिया था। लेकिन पुलिस की तत्परता के चलते दिल्ली पुलिस के सहयोग से कैंटर को बरामद कर लिया गया था। पुलिस ने इनके पास घटना में प्रयुक्त बुलेरो गाड़ी और टोपी बरामद की है। पुलिस इनके फरार साथी की तलाश में जुटी है। 

कैसे करते थे लूटपाट
डीसीपी हरीश चन्दर ने बताया कि यह बदमाश पुलिस की गाड़ी से मिलती जुलती बुलेरो गाड़ी और टोपी का इस्तेमाल करते थे। यह बदमाश बुलेरो गाड़ी में टोपी का आगे रखते थे। जिसके बाद जिस गाड़ी को लूटना होता था उसे ओवर टेक करके रोकते थे। जिसके बाद इनमें एक बदमाश पुलिस की जैकेट पहने हुए होता था। वह गाड़ी से नीचे उतरते ही पुलिस की टोपी लगा लेता था। उसके बाद चालक से गाड़ी के कागज दिखाने के लिए कहता था। जबकि दूसरा बदमाश धमकी देते हुए उसे गाड़ी में बैठाने और पुलिस लाइन लेकर चलने के बात कहकर अपनी गाड़ी में डाल लेते थे। जबकि इनका एक साथी पीड़ित की गाड़ी लेकर फरार हो जाता है। दिल्ली-एनसीआर में इस गैंग ने इस तरह से कई वारदात को अंजाम दिया था। पुलिस इनका अपराधिक इतिहास खंगाल रही है। जिससे इनके पूर्व की घटनाओं के बारे में पता लगाया जा सकें। 

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