विकास दुबे इन तीन मोस्ट वांटेड क्रिमिनल को पछाड़कर बना नंबर वन, तीनों पर 2-2 लाख का इनाम है

विकास दुबे इन तीन मोस्ट वांटेड क्रिमिनल को पछाड़कर बना नंबर वन, तीनों पर 2-2 लाख का इनाम है

विकास दुबे इन तीन मोस्ट वांटेड क्रिमिनल को पछाड़कर बना नंबर वन, तीनों पर 2-2 लाख का इनाम है

Google Image | विकास दुबे इन तीन मोस्ट वांटेड क्रिमिनल को पछाड़कर बना नंबर वन

वीएचपी नेता और विधायक की हत्या करने वाले करीब 15 वर्षों से नहीं पकड़े गएgangaयूपी पुलिस और सीबीआई ने ऐसे दो अपराधियों पर दो-दो लाख का इनाम घोषित किया है gangaमुजफ्फरनगर के भोरा खुर्द गांव का रहने वाला हरीश भी दो लाख रुपये का इनामी है gangaउत्तर प्रदेश पुलिस करीब दो साल से हरीश की जोर-शोर से तलाश कर रही हैgangaउस पर लूट और डकैती के अलावा पुलिसकर्मी की हत्या का आरोप हैgangaअब इन तीनों को पीछे छोड़ कर यूपी का नंबर वन मोस्ट वांटेड बन गया है विकास दुबे

उत्तर प्रदेश पुलिस की मोस्ट वांटेड लिस्ट में तीन नाम ऐसे हैं, जिन्हें कानपुर कांड के मुख्य आरोपी विकास दुबे ने पछाड़ दिया है। इन तीनों खूंखार अपराधियों पर 2-2 लाख रुपये के इनाम घोषित हैं। सोमवार को विकास दुबे के खिलाफ उत्तर प्रदेश पुलिस ने ढाई लाख रुपए का इनाम घोषित किया है। जिसके बाद यह तीनों खूंखार अपराधी विकास दुबे से पीछे छूट गए हैं और अब विकास दुबे यूपी की मोस्ट वांटेड लिस्ट में सबसे ऊपर है।

उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में विश्व हिंदू परिषद के राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष नंद किशोर रूंगटा का अपहरण और हत्या में गैंगस्टर मुख्तार अंसारी के साथ गाजीपुर के महरूपुर के निवासी अताउर्रहमान उर्फ सिकन्दर उर्फ बाबू और शहाबुद्दीन के खिलाफ भी भेलूपुर थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था। अताउर्रहमान का विधायक कृष्णानंद राय की हत्या के मामले में भी नाम आया था। उस हत्याकांड के लिए सीबीआई को भी उसकी तलाश है। सीबीआई और उत्तर प्रदेश पुलिस ने अताउर्रहमान और शहाबुद्दीन पर दो-दो लाख रुपये का इनाम घोषित किया था। हालांकि, करीब 15 वर्षों से उत्तर प्रदेश पुलिस और सीबीआई इन दोनों को ख्यात अपराधियों की तलाश कर रही हैं। अभी तक कामयाबी नहीं मिली है।

अताउर्रहमान और शहाबुद्दीन के साथ मुजफ्फरनगर का हरीश अभी तक संयुक्त रूप से यूपी का नंबर वन मोस्ट वांटेड था। हरीश कुमार पुत्र ब्रह्मपाल भौरा कला थाना क्षेत्र के गांव भोरा खुर्द का निवासी है। हरीश और उसका भाई आदेश, दोनों जुर्म कि दुनिया में एक साथ आए थे। दोनों भाइयों ने मिलकर बागपत, मुजफ्फरनगर और शामली में ताबड़तोड़ लूट डकैती, अपहरण, फिरौती, लूट, रंगदारी और पुलिसकर्मियों की हत्या की वारदातों को अंजाम दिया था। पिछले साल 26 जून 2019 को मुजफ्फरनगर में पुलिस के साथ हुई मुठभेड़ में आदेश मारा गया था। अभी तक हरीश फरार चल रहा है। पुलिस ने उस पर दो लाख रुपये का इनाम घोषित कर रखा है। हालांकि, पिछले करीब 1 साल से उसकी गतिविधियां नजर नहीं आई हैं।

अब कानपुर कांड के बाद अताउर्रहमान, शहाबुद्दीन और हरीश को पीछे छोड़कर विकास दुबे उत्तर प्रदेश पुलिस की मोस्ट वांटेड लिस्ट में पहले पायदान पर पहुंच गया है। उत्तर प्रदेश पुलिस और स्पेशल टास्क फोर्स विकास दुबे को किस कदर तलाश कर रहे हैं, इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि महज 3 दिन में विकास दुबे के सिर पर इनाम की राशि 50 हजार से बढ़कर ढाई लाख रुपये कर दी गई है। कानपुर जोन के 50 से ज्यादा थानों की पुलिस दिन-रात विकास दुबे को तलाश कर रही है। हालांकि, पिछले 4 दिनों में पुलिस को उसका अभी तक कोई सुराग हाथ नहीं लगा है।

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