इंडियन मेडिकल एसोसिएशन नोएडा (Indian Medical Association-IMA Noida) ने उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव राजेंद्र कुमार तिवारी को एक महत्वपूर्ण पत्र लिखा है। इसमें संस्था ने वैक्सीन को लेकर हो रही अनियमितताओं की तरफ उनका ध्यान आकर्षित कराया है। कहा गया है कि राज्य सरकार कोरोना वायरस की वैक्सीन खुद अस्पतालों को वितरित करने का सिस्टम जारी रखे। ताकि सभी नागरिकों को समय रहते टीके की खुराक दी जा सके। उन्हें कोविड से बचाया जा सके। IMA गौतम बुध नगर के जनरल सेक्रेटरी डॉक्टर मोहित शर्मा ने मुख्य सचिव को लिखे अपने खत में कुछ महत्वपूर्ण मांग की है।
संस्था ने पत्र में लिखा है, “भारत सरकार के वैक्सीनेशन प्रोग्राम के तहत प्राइवेट अस्पतालों को वैक्सीन निर्माताओं से सीधे टीका खरीदने की छूट मिली है। ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों को इसकी खुराक दी जा सके। लेकिन छोटे अस्पताल इसका लाभ नहीं उठा पा रहे हैं। ये निर्माताओं से सीधे सौदा नहीं कर पा रहे। क्योंकि ज्यादातर वैक्सीन निर्माता कंपनियां बड़े कॉरपोरेट्स अस्पतालों से बातचीत कर रही हैं। इसके तहत बड़े कॉरपोरेट अस्पताल बड़ी मात्रा में वायल बनाने का ऑर्डर दे रहे हैं। जबकि छोटे हॉस्पिटल के लिए यह बेहद मुश्किल है। इस वजह से वैक्सीन की सारी सप्लाई बड़े अस्पतालों को पहुंचाई जा रही है। इससे वैक्सीन के वितरण में अनियमितता आ रही है।”
आगे कहा गया है, “यह बड़े कॉरपोरेट हॉस्पिटल के पास पहुंच रही है। सिर्फ अमीर लोग सिर्फ इसका लाभ उठा पा रहे हैं। जबकि छोटे कस्बों, देहातों में लोग कम आय वाले हैं। उनके पास वैक्सीन की खुराक नहीं पहुंच पा रही है। वह इन अस्पतालों में महंगे दामों में अपना टीकाकरण नहीं करा सकते। जबकि कोरोना को हराने के लिए ज्यादा से ज्यादा अस्पतालों में टीकाकरण अभियान चलाया जाना बेहद जरूरी है। ताकि कम वक्त में ज्यादा लोगों को टीके की खुराक मिल सके। इसलिए आईएमए यह मांग करती है कि वैक्सीन वितरण के पुरानी सिस्टम को ही जारी रखा जाए। राज्य सरकार खुद अस्पतालों को इसका डिस्ट्रीब्यूशन करे। इससे हर अस्पताल को वैक्सीन मिलेगी। टीकाकरण अभियान को बल मिलेगा और हम कोरोना के वायरस को हराने में कामयाब होंगे।”