बिल्डर-प्राधिकरण का जॉइंट बैंक अकाउंट खुला, प्रोजेक्ट को मिलेगी रफ्तार

नोएडा के लाखों लोगों के लिए अच्छी खबर : बिल्डर-प्राधिकरण का जॉइंट बैंक अकाउंट खुला, प्रोजेक्ट को मिलेगी रफ्तार

बिल्डर-प्राधिकरण का जॉइंट बैंक अकाउंट खुला, प्रोजेक्ट को मिलेगी रफ्तार

Tricity Today | NOIDA

Noida News : नोएडा प्राधिकरण ने बिल्डरों पर शिकंजा कसने के लिए 3 परियोजनाओं के जॉइंट बैंक एकाउंट खुलवा दिए हैं। अगले 30 दिनों में करीब 24 से भी ज्यादा परियोजनाओं को रफ्तार देने के लिए जॉइंट बैंक अकाउंट खोले जाएंगे। इससे बिल्डर पैसों की हेराफेरी नहीं कर सकेंगे और समय पर परियोजनाएं पूरी होने के साथ प्राधिकरण का बकाया मिलने से रजिस्ट्री में भी रुकावट नहीं होगी।

अभी ये 3 बैंक अकाउंट खुले
नोएडा प्राधिकरण के अफसरों ने बताया कि सेक्टर-76 स्थित जेएम हाउसिंग प्राइवेट लिमिटेड की परियोजना का बैंक अकाउंट प्राधिकरण के साथ खोला गया। इस पर 16 करोड़ 62 लाख रुपए बकाया है। इसके अलावा सेक्टर-75 में जेएम इंफ्राटेक लिमिटेड कंपनी की परियोजना है। इस पर 40 करोड़ 34 लाख रुपए बकाया है। तीसरी परियोजना सेक्टर-78 स्थित आईटीटीएल निमबस परियोजना है, इस पर 14 करोड़ 32 लाख रुपए बकाया है।

आने वाले दिनों में होगी बड़े स्तर पर बुकिंग
नोएडा प्राधिकरण के अधिकारियों कहना है कि इसके लिए एक एजेंसी का चयन किया गया है। ग्रुप हाउसिंग से जुड़ी अधिकांश परियोजनाओं में काम पूरा हो चुका है। अभी सिर्फ यूनिटेक, आम्रपाली और सुपरटेक बिल्डर की परियोजनाएं चल रही हैं। इनके मामले अलग-अलग कोर्ट में विचाराधीन हैं, लेकिन स्पोर्ट्स सिटी के तहत परियोजनाएं विकसित होने में अभी समय लगेगा। आने वाले दिनों में इन परियोजनाओं में बड़े स्तर पर बुकिंग होगी।

खरीदारों को जल्द फ्लैट पर कब्जा मिल सकेंगे
नोएडा प्राधिकरण के अधिकारियों ने बताया कि बिल्डर और प्राधिकरण का जॉइंट बैंक अकाउंट खोला गया है। जल्द ही यह बैंक अकाउंट एक्टिव हो जाएंगे। ग्रुप हाउसिंग और स्पोर्ट्स सिटी के तहत बिल्डर परियोजनाओं के अकाउंट खोले जाने हैं। एस्क्रो एकाउंट खुलने से बिल्डर पैसों की हेराफेरी नहीं कर सकेंगे, जिससे समय पर परियोजनाएं पूरी हो सकेंगी और प्राधिकरण का बकाया मिलने से रजिस्ट्री में भी रूकावट नहीं होगी। खरीदारों को जल्द फ्लैट पर कब्जा मिल सकेंगे।

नोएडा में हाउसिंग से जुड़ी करीब 115 परियोजनाएं
आपको बता दें कि ग्रुप हाउसिंग, स्पोर्ट्स सिटी और व्यावासायिक संपत्ति से जुड़े बिल्डरों पर प्राधिकरण के करीब 35 हजार करोड़ रुपए बकाया हैं। जिनमें सबसे ज्यादा ग्रुप हाउसिंग से जुड़े बिल्डरों पर 20 हजार करोड़ रुपए बकाया हैं। नोएडा में बिल्डरों की ग्रुप हाउसिंग से जुड़ी करीब 115 परियोजनाएं हैं। इनके अलावा करीब 79 स्पोर्ट्स सिटी की परियोजनाएं हैं। खास बात यह है कि बिल्डर खरीदारों से पैसा ले रहे हैं, लेकिन प्राधिकरण का बकाया नहीं दे रहे हैं। फ्लैट बुकिंग नहीं होने का रोना रोकर बिल्डर पैसा देने से पीछे हट रहे हैं। प्राधिकरण ने हर निर्माणाधीन बिल्डर परियोजना का एस्क्रो एकाउंट खुलवाने का निर्णय मई महीने में लिया था।

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