यमुना नदी के खादर में 50 फार्म हाउस तोड़े गए, सात महीने बाद फिर हुई कार्रवाई

नोएडा अथॉरिटी का बड़ा एक्शन : यमुना नदी के खादर में 50 फार्म हाउस तोड़े गए, सात महीने बाद फिर हुई कार्रवाई

यमुना नदी के खादर में 50 फार्म हाउस तोड़े गए, सात महीने बाद फिर हुई कार्रवाई

Tricity Today | फ़ार्म हाउसों पर बुलडोजर से कार्रवाई।

Noida News : नोएडा अथॉरिटी ने एक बार फिर यमुना नदी के खादर इलाक़े में अवैध फ़ार्म हाउसों पर बुलडोजर चलाया है। मंगलवार की दोपहर प्राधिकरण का अमला फ़ोर्स लेकर यमुना खादर क्षेत्र पहुंचा। प्राधिकरण से मिली जानकारी के मुताबिक़ फ़ार्म हाउस ध्वस्त किए गए हैं। क़रीब सात महीने बाद प्राधिकरण ने इन अवैध फ़ार्म हाउसों पर दोबारा कार्रवाई की है। आपको बता दें कि इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश पर तत्कालीन मुख्य कार्यपालक अधिकारी रितु महेश्वरी ने फ़ार्म हाउस मालिकों की आपत्तियों पर सुनवाई की थी। सारी आपत्तियां ख़ारिज कर दी गई थीं। क़रीब सात महीने पहले प्राधिकरण ने 200 से ज़्यादा फ़ार्म हाउस ध्वस्त किए थे। इसके बाद फ़ार्म हाउस मालिकों का एक समूह याचिका लेकर नए सिरे से हाईकोर्ट गया था। हाईकोर्ट ने याचिका पर सुनवाई पूरी होने तक कार्रवाई स्थगित कर दी थी। क्या है पूरा मामला
नोएडा अथॉरिटी के दायरे वाले गांवों नगला, नगली, नंगली साकपुर, याकूतपुर, मंगरौली और छपरौली में बिल्डरों, भूमाफियाओं व कॉलोनाइजरों ने बड़े पैमाने पर फार्म हाउस बनाए हैं। यह फ़ार्म हाउस सरकारी और ग़ैर सरकारी ज़मीनों पर क़ब्ज़ा करके बनाए गए हैं। नोएडा बैराज से लेकर मंगरौली गांव तक हज़ारों की संख्या में फ़ार्म हाउस बन चुके हैं। यह फ़ार्म हाउस पूरी तरह अवैध हैं। उत्तर प्रदेश औद्योगिक विकास अधिनियम, केंद्रीय पर्यावरण संरक्षण अधिनियम और डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट का उल्लंघन करके निर्माण किया गया है। इन फ़ार्म हाउसों को नोएडा प्राधिकरण ने अवैध घोषित कर दिया। जिला प्रशासन ने भी फ़ार्म हाउसों को अवैध घोषित कर रखा है। इन फ़ार्म हाउसों की वजह से यमुना नदी का इकोसिस्टम ख़राब हो रहा है। नदी के प्रवाह में भी पारा उत्पन्न हो रही है।

यमुना बाढ़ आई तो परेशानी बन गए यह फार्म हाउस
इस साल जुलाई और अगस्त महीने के दौरान यमुना नदी में बाढ़ आयी थी। बाढ़ का पानी इन हज़ारो फ़ार्म हाउसों में घुस गया। फ़ार्म हाउस मालिकों ने यहां बड़ी संख्या में गाय, घोड़े और दूसरे पशु पाल रखे थे। हज़ारों की संख्या में नौकर काम कर रहे थे। बाढ़ आने पर फ़ार्म हाउसों के मालिक पशुओं और नौकरों को छोड़कर फ़रार हो गए। जिला प्रशासन, पुलिस और प्राधिकरण को बचाव व राहत कार्यों के लिए मैदान में उतरना पड़ा था। गौतमबुद्ध नगर ज़िले का पूरा अमला इन अवैध फ़ार्म हाउसों में रहने वाले लोगों और पशुओं को बचाने में जुटा रहा। तब नोएडा प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी और गौतमबुद्ध नगर के जिलाधिकारी ने इन अवैध फ़ार्म हाउसों पर कड़ी कार्रवाई करने का संकेत दिया था। हालांकि, फ़ार्म हाउस मालिकों का समूह इलाहाबाद हाईकोर्ट में अपना पक्ष लेकर गया। हाईकोर्ट ने सुनवाई पूरी होने तक कार्रवाई पर रोक लगा रखी थी। जिसके चलते पिछले 7 महीने से फ़ार्म हाउसों पर एक्शन नहीं हो पा रहा था।

मंगलवार को तोड़े गए 50 फार्म हाउस
अब मंगलवार की दोपहर नोएडा अथॉरिटी के सौ से ज़्यादा कर्मचारी चार जेसीबी मशीनें लेकर यमुना नदी के खादर इलाक़े में पहुंचे। क़रीब पांच घंटे तक अवैध फ़ार्म हाउसों के ख़िलाफ़ कार्रवाई की गई है। अफ़सरों ने बताया कि 50 फ़ार्म हाउस ध्वस्त किए गए हैं। यह कार्रवाई अगले दिनों में भी जारी रहेगी। प्राधिकरण अफ़सरों का कहना है कि यमुना नदी के खादर इलाक़े में सारे अवैध फ़ार्म हाउस तोड़े जाएंगे। सभी फ़ार्म हाउस मालिकों को विधिवत रूप से नोटिस और चेतावनी जारी कर दी गई है। इन लोगों को अवैध निर्माण ख़ुद ही ध्वस्त करने का आदेश दिया गया है। अगर यह लोग ख़ुद अवैध निर्माण नहीं तोड़ेंगे तो प्राधिकरण कार्रवाई करेगा। इस कार्रवाई में आने वाला ख़र्च भी फ़ार्म हाउस मालिकों से वसूल किया जाएगा।

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