सेक्टर-18 मार्केट एसोसिएशन ने पंकज सिंह को लिखा पत्र, उठाई पार्किंग से ज्यूडी समस्याएं और दिया यह सुझाव

Noida : सेक्टर-18 मार्केट एसोसिएशन ने पंकज सिंह को लिखा पत्र, उठाई पार्किंग से ज्यूडी समस्याएं और दिया यह सुझाव

सेक्टर-18 मार्केट एसोसिएशन ने पंकज सिंह को लिखा पत्र, उठाई पार्किंग से ज्यूडी समस्याएं और दिया यह सुझाव

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Noida News : नोएडा के सेक्टर-18 मार्केट एसोसिएशन ने सोमवार को विधायक पंकज सिंह को पार्किंग की दरों को काम करने के लिया पत्र लिखा। मार्केट एसोसिएशन के अध्यक्ष सुशील कुमार जैन ने कहा कि सेक्टर 18 में लगातार मंहगी पार्किंग से संबंधित समस्याएं सुलझने का नाम नहीं ले रही है। उन्होंने कहा कि हमने पिछली बार इस संबंध में पार्किंग की दरो को कम करने हेतु पत्र लिखा था। तब आपके ही प्रयासों से बहुत राहत जरूर मिली, किन्तु जनता अभी भी उक्त पार्किंग दरों को महंगी मानती है। सबसे बड़ा आतंक क्रेन के द्वारा गाड़ी उठाने के नाम पर 1000 रुपए लेने का है। साथ ही इसी के साथ जुडी अन्य कुछ समस्याएं भी हैं। उन्होंने विधायक पंकज सिंह से इन समस्याओं को उत्तर प्रदेश विधानसभा में उठाने की मांग की।

फिलहाल सेक्टर-18 में पार्किंग की दरे
1. पहले आधा घंटा की दर 20 ₹ 
2. पहले 4 घंटे की दर 50 ₹ 
3. 4 घंटे के बाद की दर 50 ₹ प्रति घंटा है 
दो पहियाँ वाहन हेतु यह दरे आधी है। 

"4 पहिया वाहन को क्रेन से उठाने से हो रही लोगों को परेशानी"
सुशील कुमार जैन ने कहा कि यह दरें पहले 50 रुपय प्रति घंटा ही हुआ करती थी और काफी संघर्ष करने के बाद उपरोक्त दरें कम कर दी गई है। किंतु यह दरें भी जनता को अभी भी ज्यादा लगती है। इसके अलावा सबसे ज्यादा जो जनता को परेशानी होती है वह 4 पहिया वाहन को क्रेन द्वारा उठाने पर एक हजार रुपय ले लिया जाता है, जो कि बहुत ज्यादा है। ऐसा लगता है कि पार्किंग की बजाय सिर्फ क्रेन द्वारा गाड़ी उठाना और गाड़ी को लॉक करके एक हजार रुपय वसूला ही मकसद रह गया है। यही हाल दोपहिया वाहन के साथ भी है। ज्यादातर भ्रष्टाचार इसको लेकर ही है। साथ ही लोगों को यह भी नहीं पता है कि यह दरे किस नियम से ली जा रही है। ऐसा क्या कारण है कि सेक्टर-18 मे ही इतना जयादा दरे है।

व्यापारियों के पार्किंग पास भी नहीं बनता आराम से 
उन्होंने बताया कि व्यापारियों के लिए बहुमंजिली पार्किंग में 600 रुपय प्रति महीना की पार्किंग का एक पास दिया जाता है, जो कि आराम से नहीं दिया जाता है। उन्होंने बताया कि एक बिल्डिंग में कम से कम 20 से 50 लोग काम करते हैं, लेकिन एक ही गाड़ी का पास मिलता है। उसके लिए भी मारामारी रहती है। साथ ही मल्टीलेवल पार्किंग बहूत ही दूर बनायी गई है। जिसे लेकर व्यापारियों में असमंजस की स्थिति बनी रहती है, क्योंकि ज़्यादातर स्टाफ को बार-बार अपने वाहन को लेकर कहीं न कहीं जाना होता है। उसको अपने आस-पास ही पार्किंग की सुविधा चाहिए होती है। जिससे की आराम से आया-जाया जा सके, जो सुविधा हमें नहीं मिल पाती है। 

"बहुमंजिला पार्किंग की दरें भी बोहोत ज्यादा"
बहुमंजिला पार्किंग की दरें भी बोहोत ज्यादा रखी गई हैं। एक उत्तम स्थिति में पार्किंग की दरों को घंटों के साथ नहीं रखना चाहिए। पूरे दिन की पार्किंग एक ही दरों में होगी तो लोगों को उतनी असुविधा नहीं होगी। पार्किंग का नियम यह होना चाहिए कि जब सेक्टर-18 के अंदर की पार्किंग भर जाए तो लोगों को बहुमंजिला पार्किंग में भेजा जाना चाहिए। सर्फेस पार्किंग में व्यापारियों को आरक्षित पार्किंग मिलनी चाहिए। व्यापारियों के लिए यह बहूत ही कष्टदायक स्थिति हो जाती है कि उनकी गाड़ी मार्केट से दूर खडी होने के कारण सेक्टर-18 में व्यापारी कैश और बहुमूल्य सामान अपने साथ लाने और में दिकत होती है। साथ ही व्यापार की स्थिति को देखते हुए कैश या बहुमूल्य समान लाने और ले जाने मे जान माल का खतरा बना रहता है। 

पार्किंग के लिए दिया यह सुझाव
उन्होंने बताया कि बाजार में पार्किंग के स्थलो का बढ़ाना भी बहुत ज़रूरी हो गया है। इसका एक उत्तम सुझाव यह है कि आने वाले ग्राहकों को देखते हुए सड़क की एक और दोपहिया वाहन व दूसरी ओर चार पहिया वाहनों की पार्किंग करवानी चाहिए। क्योंकि त्यौहारों का सीजन आ रहा है। जिस वजह से ग्राहक ज्यादा आते हैं। जितनी ज्यादा पार्किंग की सुविधा दी जाएगी उतना ही ज्यादा बाजार को फायदा होगा। साथ ही सरकार को ज्यादा राजस्व मिलेगा।

पार्किंग को बनाया जा रहा व्यापार 
बहुमंजिली पार्किंग को ज़्यादा से ज्यादा 20 रुपया प्रति चार पहिया वाहन प्रतिदिन के हिसाब से करना चाहिए। पार्किंग को व्यापार बनाने की बजाए ग्राहकों की सुविधा बनाने और सुरक्षा हेतु सुनिश्चित करना चाहिए। पार्किंग दरों को सिर्फ पार्किंग के लिए हो रहे खर्चों से ही संबंधित करते हुए लेना चाहिए। क्योंकि मल्टीलेवल पार्किंग बनाने हेतु किए गए खर्चे पहले से ही नोएडा प्राधिकरण द्वारा बेचे गए एफएआर और लीज रेंट से मिल जाते हैं। 

ऐसा देखा गया है कि बहुमंजिलीय पार्किंग से सैक्ट-18 तक आने जाने हेतु चलायी जा रही ई रिक्शा ज़्यादातर नो पार्किंग जोन वाहनो पर लांक लगाने और चालान करने के लिए इस्तेमाल की जा रही है। साथ ही इस व्यवस्था को उचित बनाते हुए बहुमंज़िला पार्किंग से सेक्टर-18 आने जाने हेतु एक उपरगामी वाकवे सेक्टर-18 मेट्रो स्टेशन तक बाजार को जोड़ने हेतु बनाना आवश्यक है।

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