Noida News : सेक्टर 51-52 मेट्रो स्टेशन को जोड़ने के लिए लोगों का लंबे समय से चल रहा इंतजार अब खत्म होने वाला है। मिली जानकारी के मुताबिक इसी सप्ताह में दोनों स्टेशन को जोड़ने के लिए स्काईवॉक बनाने का काम शुरू हो जाएगा। यह स्काईवॉक करीब 9 महीने में बनकर तैयार हो जाएगा। इसके लिए निर्माण कंपनी का चयन कर लिया गया है। एयरपोर्ट की तर्ज पर यहां ट्रेवलेटर बनाए जाएंगे। स्काईवॉक के बन जाने पर दोनों स्टेशन के बीच आने-जाने के लिए लोगों को बार-बार नहीं चढ़ना उतरना पड़ेगा। इससे समय की बचत भी होगी।
हजारों मेट्रो यात्रियों को मिलेगा फायदा
नोएडा से ग्रेटर नोएडा के बीच चलने वाली एक्वा लाइन का सेक्टर-51 स्टेशन है जबकि नोएडा से द्वारका के बीच चलने वाली ब्लू लाइन का सेक्टर-52 मेट्रो स्टेशन है। दोनों के बीच आने-जाने के लिए लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इसके लिए यहां पर एफओबी या स्काईवॉक बनाने की योजना तैयार की गई थी जिस पर लंबे समय बाद अब काम शुरू होने जा रहा है।
430 मीटर लंबा और 6 मीटर चौड़ा होगा
नोएडा प्राधिकरण के वरिष्ठ प्रबंधक एके जैन ने बताया कि स्काईवॉक बनाने के लिए सिविल का काम करने को इकबाल कंस्ट्रक्शन कंपनी का चयन कर लिया गया है। यह स्काईवॉक 430 मीटर लंबा और 6 मीटर चौड़ा होगा। उन्होंने बताया कि यहां दिल्ली एयरपोर्ट की तर्ज पर ट्रेवलेटर लगाए जाएंगे। इसको बनाने में सिविल के काम की लागत करीब 9 करोड़ रुपये है। जिस जगह पॉथ वे बना हुआ है और ई-रिक्शे चल रहे हैं, उसी रूट पर यह स्काईवॉक बनाया जाएगा। वरिष्ठ प्रबंधक ने बताया कि स्काईवॉक का स्ट्रक्चर डिजाइन मंजूरी के लिए आईआईटी दिल्ली के पास गया है। वहां से मंजूरी मिलते ही जल्द काम शुरू करा दिया जाएगा। हालांकि स्काईवॉक के लिए मार्किंग का काम शनिवार से शुरू हो जाएगा। वैसे तो काम पूरा करने की डेडलाइन 9 महीने है लेकिन प्रयास है कि 6-7 महीने में ही पूरा कर लिया जाए।
बिजली में खर्च होंगे करीब 15 करोड़ 73 लाख रुपए
स्काईवॉक के लिए सिविल के अलावा बिजली का काम भी होना है। बिजली के काम पर करीब 15 करोड़ 73 लाख रुपये का खर्चा आएगा। इस काम के लिए अभी कंपनी का चयन नहीं हो सका है। अधिकारियों का कहना है कि शुरुआत में अभी सिविल का ही काम किया जाएगा। जब बिजली से जुड़े ट्रेवलेटर सहित अन्य काम की बारी आएगी तब तक कंपनी का चयन कर लिया जाएगा
अभी तक 52,696 अधिकतम राइडरशिप रही
नोएडा से ग्रेटर नोएडा के बीच 25 जनवरी 2019 से मेट्रो चल रही है। नोएडा के सेंटर से सेक्टर-63 इलेक्ट्रॉनिक सिटी के बीच मार्च 2019 से मेट्रो चलनी शुरू हुई थी। सिटी सेंटर और इलेक्ट्रॉनिक सिटी के पास सेक्टर-52 मेट्रो स्टेशन आता है। अब दोनों स्टेशन के बीच स्काईवॉक बन जाने से ग्रेनो मेट्रो की राइडरशिप में बढ़ोत्तरी होगी। अभी तक 52,696 अधिकतम राइडरशिप रही है।