पैसा सहारा में फंसा है तो खुश हो जाइये, ऐसे मिलेगा रिफंड

राहत भरी खबर : पैसा सहारा में फंसा है तो खुश हो जाइये, ऐसे मिलेगा रिफंड

पैसा सहारा में फंसा है तो खुश हो जाइये, ऐसे मिलेगा रिफंड

Tricity Today | सुब्रत रॉय

  • केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने किया 'सहारा रिफंड पोर्टल' लांच
  • सुप्रीम कोर्ट ने 29 मार्च 2023 को दिया था रिफंड का आदेश
  • केंद्रीय रजिस्ट्रार (CRCS) को हस्तांतरित करने का था आदेश
  • बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश के लोग सबसे ज्यादा
     
Noida : नोएडा समेत देश के उन सभी लोगों के लिए आज एक बड़ी खुशखबरी आई है, जिनका धन वर्षों से सहारा में फंसा है। उन्हें अब हताश होने की जरूरत नहीं है। सरकार ने ऐसा उपाय कर दिया है, जिससे आपका पैसा आपके खाते में आ जाएगा। इस बाबत केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को 'सहारा रिफंड पोर्टल' लांच किया है। इसके माध्यम से निवेशक अपने पैसे ले सकेंगे।

5000 करोड़ रुपये ट्रांसफर करने का कोर्ट आदेश
उल्लेखनीय है कि सहारा समूह की सहकारी समितियों के जमाकर्ताओं की वैध जमा धनराशि के भुगतान संबंधी शिकायतों के समाधान के लिए सहकारिता मंत्रालय ने सुप्रीम कोर्ट में आवेदन किया था। उसके बाद कोर्ट ने 29 मार्च 2023 को एक आदेश दिया था। इसके तहत सर्वोच्च न्यायालय ने सहारा समूह की सहकारी समितियों के वास्तविक जमाकर्ताओं के वैध देयों के भुगतान के लिए 'सहारा-सेबी रिफंड खाते' से 5000 करोड़ रुपये सहकारी समितियों के केंद्रीय रजिस्ट्रार (CRCS) को हस्तांतरित करने का आदेश दिया था। 

इन निवेशकों को मिलेगा फायदा
कोर्ट के आदेश पर सहारा क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड, सहारायन यूनिवर्सल मल्टीपर्पज सोसाइटी लिमिटेड, हमारा इंडिया क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड और स्टार्स मल्टीपर्पज कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड के प्रमाणिक जमाकर्ताओं द्वारा दावे प्रस्तुत करने के लिए एक 'ऑनलाइन पोर्टल' विकसित किया गया है। पोर्टल पर सहारा इंडिया के इन्वेस्टर्स की डिटेल्स होंगी। यह जानकारी भी होगी कि सहारा में निवेश किए गए पैसों को कैसे वापस पाया जा सकता है।

10 करोड़ निवेशकों को मिलेगा लाभ
देश की सबसे बड़ी चिट फंड कंपनी पर यकीन करने वाले बीते एक दशक से अपने धन की वापसी के लिए मारे—मारे फिर रहे हैं। लेकिन, अब उन्हें उम्मीद की रोशनी दिखाई पड़ने लगी है। एक अनुमान के मुताबिक सहारा इंडिया की को-ऑपरेटिव सोसाइटीज के 10 करोड़ निवेशकों के पैसे फंसे हुए हैं। इसमें बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश जैसे राज्यों के लोगों की संख्या सबसे ज्यादा है। पैसे वापस नहीं मिलने पर निवेशकों ने इस मामले में सरकार से हस्तक्षेप करने की अपील की थी। 

निवेशक ऐसे करें आवेदन
सबसे पहले https://cooperation.gov.in पोर्टल पर जाएं।
पोर्टल के होमपेज पर जमाकर्ता पंजीकरण पर क्लिक करें।
आधार नंबर और इससे जुड़ा मोबाइल नंबर डालना होगा।
सेंड OTP पर क्लिक करें और OTP आने पर दर्ज करें।
रजिस्ट्रेशन पूरा होने पर जमाकर्ता लॉगिन पर क्लिक करें।
दोबारा आधार और मोबाइल नंबर डालकर OTP दर्ज करें।
नियम और शर्तों को पढ़कर 'मैं सहमत हूं' पर क्लिक करें।
आपकी पूरी डिटेल्स जैसे बैंक का नाम, जन्मतिथि आ जाएगी।
जमा प्रमाण पत्र की प्रति के साथ दावा अनुरोध फॉर्म भरें।
सोसाइटी का नाम, सदस्यता नंबर, जमा राशि भरनी होगी।
कोई लोन लिया है या पार्शियल पेमेंट मिला है तो ये बताना होगा।
दावा राशि 50 हजार से ज्यादा है तो पैन कार्ड की डिटेल्स दें।
एक ही बार दावा किया जा सकता है इसलिए एक बार में ही सभी डिपॉजिट डिटेल्स भरें। वैरिफिकेशन के बाद दावा प्रपत्र डाउनलोड करना होगा। इस पर अपनी नई फोटो चिपकाएं और साइन करें। अब इस दावा प्रपत्र को अपलोड कर जमा करना होगा। दावा सफलतापूर्वक प्रस्तुत करने पर रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर मैसेज भेजा जाएगा।

30 दिनों में वेरीफिकेशन, 45 दिनों में धनवापसी
अब इस दावे को सहारा सोसाइटी 30 दिन के अंदर वैरिफाई करेगी। फिर सरकारी अधिकारी अगले 15 दिन में इस पर कार्रवाई करेंगे। अनुमोदन होने पर राशि सीधे आपके आधार से जुड़े अकाउंट में जमा की जाएगी। निवेशकों के रिफंड के पूरे प्रोसेस की निगरानी सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज आर सुभाष रेड्डी करेंगे। जबकि​ एडवोकेट गौरव अग्रवाल जस्टिस रेड्डी का सहयोग करेंगे। 

कभी बुलंदियों पर थी सहारा
सहारा देश की बड़ी प्राइवेट कंपनियों में से एक हुआ करती थी। उसके 11 लाख से ज्यादा कर्मचारी थे। रियल एस्टेट, फाइनेंस, इंफ्रास्ट्रक्चर, मीडिया एंड एंटरटेनमेंट, हेल्थ केयर, हॉस्पिटैलिटी, रीटेल, इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी से लेकर स्पोर्ट्स तक सहारा इंडिया का बिजनेस फैला था। 11 सालों तक यह ग्रुप टीम इंडिया का स्पॉन्सर रहा। IPL में पुणे वॉरियर्स टीम के मालिक भी सुब्रत रॉय सहारा थे। 

कोर्ट ने सुब्रत से कहा था जमा करो 24,400 करोड़ रुपये
सुब्रत रॉय सहारा पर अपनी दो कंपनियों सहारा इंडिया रियल एस्टेट कॉर्पोरेशन (SIRECL) और सहारा हाउसिंग इंडिया कॉर्पोरेशन लिमिटेड (SHICL) में नियमों के खिलाफ लोगों से पैसे निवेश करवाने का आरोप लगा था। इस मामले को लेकर उन्हें जेल भी जाना पड़ा था। सुप्रीम कोर्ट ने सुब्रत रॉय को 24,400 करोड़ रुपये निवेशकों को लौटाने को कहा था। तब से लेकर आज तक ये केस चल रहा है।

Copyright © 2023 - 2024 Tricity. All Rights Reserved.