दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण की मार : 500 से अधिक निर्माण स्थलों पर कार्रवाई, नियंत्रण के लिए 600 वाटर स्प्रिंकलर और एंटी-स्मॉग गन तैनात

Google Image | प्रतीकात्मक फोटो



Delhi News : दिल्ली और एनसीआर क्षेत्र में बढ़ते प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए ग्रैप (ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान) के पहले और दूसरे चरण की पाबंदियां लागू हैं। ऐसे में केंद्रीय वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने बीती 15 से 31 अक्टूबर के बीच ग्रैप के नियमों का उल्लंघन करने वाले 500 से अधिक निर्माण स्थलों पर जुर्माना लगाया है। इसके साथ ही 54,000 वाहनों का चालान भी किया गया है। आयोग ने सभी संबंधित संस्थाओं को इन नियमों के उल्लंघन के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं और इस प्रक्रिया की निगरानी के लिए एक नियंत्रण कक्ष स्थापित किया गया है।

6500 से अधिक निर्माण स्थलों का निरीक्षण
आयोग द्वारा चलाए गए अभियान के तहत 15 से 31 अक्टूबर के बीच विभिन्न टीमों ने लगभग 6500 से अधिक निर्माण स्थलों का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान 597 निर्माण स्थलों पर जुर्माना लगाया गया और नियमों का गंभीर उल्लंघन करने वाले 56 स्थलों पर काम रोक दिया गया। इसके अलावा वाहनों से होने वाले प्रदूषण को रोकने के लिए भी सख्त कार्रवाई की गई है। समुचित पीयूसी सर्टिफिकेट न होने पर 54000 वाहनों का चालान किया गया, जबकि समयावधि समाप्त हो चुके 3900 वाहनों पर भी कार्रवाई की गई है।

दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में 600 वाटर स्प्रिंकलर और एंटी-स्मॉग गन
प्रदूषण नियंत्रण के लिए आयोग ने कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। दिल्ली में 81 मैकेनिकल स्वीपिंग मशीनों की तैनाती की गई है, जबकि हरियाणा और उत्तर प्रदेश के एनसीआर जिलों में 36 ऐसे वाहनों की तैनाती की गई है। इसके अलावा पूरे दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में 600 वाटर स्प्रिंकलर और एंटी-स्मॉग गन भी लगाए गए हैं। ये सभी उपाय प्रदूषण के स्तर को कम करने और वायु गुणवत्ता को सुधारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। जिससे नागरिकों के स्वास्थ्य को सुरक्षित रखने की कोशिश की जा रही है।

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