आज की सबसे बड़ी खबर : गाजियाबाद की अदालत ने वलीउल्लाह को सुनाई फांसी की सजा, वाराणसी में 16 साल पहले 16 लोग मारे थे

Google Image | आरोपी वलीउल्लाह



Ghaziabad News : वाराणसी बम धमाके में 16 साल बाद फैसला आया है। सोमवार को गाजियाबाद की विशेष अदालत ने 16 लोगों की हत्या के आरोपी को दोषी करार देते हुए फांसी की सजा सुनाई है। वाराणसी में 16 लोगों की मृत्यु का कारण बनने वाले धमाके में अदालत ने 16 साल बाद फैसला दिया है। कोर्ट ने दोषी वालीउल्लाह को फांसी की सजा सुनाई है। डासना जेल में 16 साल से बंद आतंकी वालीउल्लाह ने बुजुर्ग मां और परिवार की हालत खराब होने की बात कहकर रहम की गुहार लगाई थी। जिसे अदालत ने इंकार कर दिया।

एक मामले में फांसी पर दूसरे में आजीवन कारावास की सजा
वाराणसी में 16 साल पहले हुए सीरियल ब्लास्ट केस के दो मामलों में गाजियाबाद की जिला एवं सत्र अदालत ने शनिवार 4 जून को आतंकी वलीउल्लाह को दोषी ठहराया था। सिलसिलेवार हुए इन बम धमाकों में 16 लोगों की मौत हुई थी। आतंकी वलीउल्लाह को सोमवार को गाजियाबाद कोर्ट ने एक मामले में फांसी और दूसरे में आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। जबकि एक अन्य मामले में उसे बरी कर दिया गया है।

संकट मोचन मंदिर बम धमाके में हुई फांसी
आतंकी वलीउल्लाह को संकट मोचन मंदिर परिसर में हुए बम धमाके और हत्या के मामले में फांसी की सजा सुनाई गई है। इस बम धमाके में 26 लोग घायल हुए थे, जबकि 7 लोगों की मौत हो गई थी। वलीउल्लाह को दशाश्वमेध घाट पर कुकर बम से बम कांड की साजिश रचने के मामले में आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है।

दोषी पर लगा लाखों रुपये का जुर्माना
गाजियाबाद के जिला एवं सत्र न्यायाधीश जितेंद्र कुमार सिन्हा ने संकट मोचन मंदिर केस में दोषी पर 2 लाख 65 हजार रुपये और दशाश्वमेध घाट मामले में 1 लाख 40 हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। न्यायाधीश ने हत्या, आतंक फैलाने, विस्फोटक सामग्री का इस्तेमाल करने और हत्या के प्रयास के मामले में वाराणसी बम कांड में दोषी वलीउल्लाह को फांसी की सजा सुनाई है।

बुजुर्ग मां और बीमार परिवार का हवाला देकर लगाई रहम की गुहार
16 साल से जेल में बंद आतंकी वालीउल्लाह ने सजा सुनाए जाने के बाद बुजुर्ग मां और परिवार की हालत खराब होने का हवाला दिया। उसने अदालत से रहम की गुहार लगाई। जिसे जज साहब ने नकार दिया। मिली जानकारी के मुताबिक वालीउल्लाह को जल्दी ही आगरा सेंट्रल जेल भेजा जाएगा। दूसरी ओर जिला एवं सत्र न्यायालय की सजा पर इलाहाबाद हाईकोर्ट में रिव्यु होगा। अगर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने फांसी की सजा को जायज करार दिया तो वलीउल्लाह को फांसी देने की प्रक्रिया आगे बढ़ाई जाएगी। हालांकि, दूसरी ओर वलीउल्लाह के पास सजा के खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट और उससे आगे सुप्रीम कोर्ट में अपील दायर करने का अधिकार सुरक्षित है।

- वाराणसी के संकट मोचन मंदिर और दशाश्वमेध घाट बम धमाकों में दोषी पाया गया वलीउल्लाह

- पिछले 16 वर्षों से वलीउल्लाह गाजियाबाद की डासना जेल में बंद था, उस पर मुकदमा चलाया जा रहा था

- वलीउल्लाह को 2 मुकदमों में 4 जून को दोषी ठहराया गया था, एक मुकदमे में उसे बरी कर दिया गया है

- फांसी की सजा सुनने के बाद आतंकी ने घर की खराब दशा और बूढ़े मां-बाप के नाम पर रहम की गुजारिश की

- अदालत ने वलीउल्लाह की सारी दलीलों को खारिज कर दिया, उसके कृत्य को विरलतम करार दिया

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