गाजियाबाद-दिल्ली बॉर्डर पर नहीं होगी अरविंद केजरीवाल की नीति लागू, दोनों राज्यों के अफसरों ने लिया बड़ा फैसला

बड़ी खबर : गाजियाबाद-दिल्ली बॉर्डर पर नहीं होगी अरविंद केजरीवाल की नीति लागू, दोनों राज्यों के अफसरों ने लिया बड़ा फैसला

गाजियाबाद-दिल्ली बॉर्डर पर नहीं होगी अरविंद केजरीवाल की नीति लागू, दोनों राज्यों के अफसरों ने लिया बड़ा फैसला

Google Image | प्रतीकात्मक फोटो

Ghaziabad News : दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने नई आबकारी नीति लागू की है। उसके तहत दिल्ली में काफी शराब की दुकानों पर एक बोतल के साथ दूसरी बोतल मुफ्त में मिलती है। इसको लेकर उत्तर प्रदेश राजस्व विभाग का दावा है कि अरविंद केजरीवाल की नई नीति उत्तर प्रदेश के खजाने को नुकसान पहुंचा रही है। अब गाजियाबाद के आबकारी अधिकारी ने बड़ा फैसला लिया है। गाजियाबाद के आबकारी अधिकारी ने फैसला लेते हुए कहा कि गाजियाबाद और दिल्ली के बॉर्डर इलाकों में मौजूद शराब की दुकानों पर शराब की खरीद पर कोई छूट नहीं दी जाएगी। 

गाजियाबाद, नोएडा और दिल्ली के अफसरों में हुई बैठक
इस मामले को लेकर गाजियाबाद और नोएडा के अलावा दिल्ली के आबकारी अधिकारियों के बीच समीक्षा बैठक हुई। इस बैठक में यह फैसला लिया गया है। दिल्ली के आबकारी आयुक्त ने बताया कि बहुत ही जल्द दिल्ली और गाजियाबाद के बॉर्डर इलाकों में स्थित शराब की दुकानों पर छूट देना बंद कर दिया जाएगा। उसको लेकर दुकानदारों को निर्देश दे दिए गए हैं। उसके बावजूद भी अगर कोई भी शराब दुकानदार ऐसा करता हुए पाया गया तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

एक भी बोतल लाए तो पड़ेगा महंगा
दिल्ली सरकार की नई आबकारी पॉलिसी के तहत काफी शराब की दुकानों पर एक बोतल के साथ दूसरी बोतल मुफ्त में मिलती है। वहीं, कुछ जगह पर एक पेटी के साथ दूसरी पेटी फ्री में मिल जाती है। जिसकी वजह से नोएडा, ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद में रहने वाले काफी लोग दिल्ली से शराब खरीद कर लाते हैं और यहां पर बेचते हैं। इसकी वजह से उत्तर प्रदेश राजस्व को काफी नुकसान झेलना पड़ रहा है। साथ ही शराब तस्करी की घटनाएं भी बढ़ रही है।

बॉर्डर पर सख्त हुई पुलिस की निगाहें
इनकी रोकथाम के लिए पुलिस और आबकारी विभाग सख्त हो गया है। नोएडा-दिल्ली-गाजियाबाद के सभी बॉर्डर पर चेकिंग सख्त कर दी है और पुलिस को भी निर्देश दिए गए हैं कि दिल्ली से आने वाले वाहनों में एक भी बोतल शराब की सील बंद नहीं होनी चाहिए। अगर ऐसा हुआ तो वहां चाले के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। प्राइवेट गाड़ियों के अलावा कैब पर भी नजर रखी जा रही है।

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