योगी सरकार ने ग्रेटर नोएडा वेस्ट वासियों को दी मायूसी, मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए नहीं दिया एक भी पैसा

बजट 2022-23 : योगी सरकार ने ग्रेटर नोएडा वेस्ट वासियों को दी मायूसी, मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए नहीं दिया एक भी पैसा

योगी सरकार ने ग्रेटर नोएडा वेस्ट वासियों को दी मायूसी, मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए नहीं दिया एक भी पैसा

Tricity Today | Greater Noida West Metro Project

Greater Noida West : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वित्तीय वर्ष 2022-23 का बजट पेश किया है। अबकी बार अब तक का सबसे बड़ा बजट पेश किया गया है, लेकिन इस बजट से ग्रेटर नोएडा वेस्ट वासियों के चेहरे पर मायूसी आई है। क्योंकि नोएडा-ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए कोई भी बजट की घोषणा नहीं की गई है। जबकि वाराणसी-गोरखपुर मेट्रो के लिए बजट में प्रावधान रखा गया है। ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो पर करीब 1500 करोड़ रुपए से भी अधिक का खर्च होना है, जिसमें से उत्तर प्रदेश सरकार को 327 करोड़ रुपए देने है, लेकिन इस बजट में ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए कोई भी प्रावधान नहीं रखा गया। जिसकी वजह से लोगों के चेहरे पर मायूसी आई है।

"बजट में ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो का कोई प्रावधान नहीं"
समाज सेविका रश्मि पांडे ने बताया कि जब इलेक्शन का समय आता है तो सरकार बड़े-बड़े वादे करती है, लेकिन इलेक्शन के बाद सरकार मुंह मोड़ लेती है। ग्रेटर नोएडा वेस्ट में सबसे ज्यादा कनेक्टिविटी की समस्या है। यहां पर ना तो बसों की कोई सुविधा है और ना ही अन्य किसी माध्यम की, ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो एकमात्र कनेक्टिविटी का अच्छा सहारा दिखाई दे रहा था, लेकिन उसमें भी काफी देरी दिखाई दे रही है। उत्तर प्रदेश सरकार के बजट 2022-23 में ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो का कोई प्रावधान नहीं रखा गया है। यह बहुत ही दुख की बात है। इस बारे में सरकार को सोचना चाहिए कि ग्रेटर नोएडा वेस्ट में सबसे ज्यादा आबादी है और सबसे अधिक भारतीय जनता पार्टी के ही वोटर है। उसके बावजूद भी यहां के लोगों को निराशा दिखाई देती है।

सरकार का ग्रेटर नोएडा वेस्ट पर ही ध्यान नहीं
मनीष कुमार ने बताया, "उत्तर प्रदेश सरकार का मेट्रो ही नहीं बल्कि पूरे ग्रेटर नोएडा वेस्ट पर ही ध्यान नहीं है। वैसे तो उत्तर प्रदेश सरकार, गौतमबुद्ध नगर को शो विंडो कहती है, लेकिन ऊंची-ऊंची इमारतों से शो विंडो नहीं बनती है। इसके लिए जमीनी स्तर पर भी कार्य करना चाहिए। ग्रेटर नोएडा वेस्ट में ऊंची-ऊंची ईमारत हैं, लेकिन यहां पर रहने वाले लोग काफी समय से विभिन्न परेशानियों को झेल रहे हैं। शहर में सबसे बड़ी दिक्कत कनेक्टिविटी की है।
नोएडा से ग्रेटर नोएडा वेस्ट और ग्रेटर नोएडा वेस्ट से नोएडा तक जाने के लिए लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। मेट्रो रूट इतना बुरा बनाया गया है कि लोग मेट्रो से अच्छा बस और अन्य वाहनों से सफर करना बेहतर महसूस करते हैं। नोएडा मेट्रो रेल कॉरपोरेशन के तत्कालीन अधिकारियों ने एक्वा लाइन को सोच समझकर नहीं बनाया है। जिसकी वजह से मेट्रो घाटे में जा रही है।"

अनीता प्रजापति ने कहा, "ग्रेटर नोएडा वेस्ट के निवासी लबे समय से मेट्रो की प्रतीक्षा कर रहे है। ये घनी आबादी वाला क्षेत्र है और यातायात की सुविधा के नाम पर बस सर्विस भी ना के बराबर है। हम लोग ऑटो और कैब के सहारे ही है। सरकार को इस तरफ भी ध्यान देते हुए जल्द ही मेट्रो के कार्य शुरू करना चाहिए।

आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश के सरकार ने गुरुवार 26 मई 2022 को विधानसभा में बजट 2022 को पेश किया है। राज्य के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने विधानसभा में कुल 6 लाख 15 हजार 518 करोड़ रुपए का बजट पेश किया। इस बजट में विभिन्न क्षेत्रों के लिए अहम घोषणाएं की गईं। वहीं, शिक्षा और रोजगार के क्षेत्र को भी कई अहम सौगातें मिली हैं।

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