Greater Noida : ग्रेटर नोएडा की बेटी बबीता नागर ने सिर्फ गौतमबुद्ध नगर ही नहीं बल्कि पूरे भारत का नाम विश्व मे रोशन किया है। बबीता नागर मूलरूप से ग्रेटर नोएडा के सादल्लापुर गांव की रहने वाली है। बुधवार को बबीता नागर का ग्रेटर नोएडा के परी चौक और गुर्जर शोध संस्था में जोरदार स्वागत हुआ है।
ग्रेटर नोएडा के इन स्थानों पर हुआ भव्य स्वागत
गुर्जर शोध संस्था में बबीता नागर का 51 हजार रुपए देकर और फूल-मालाओं से जोरदार स्वागत किया है। इस दौरान डॉक्टर यशवीर सिंह, हरीश चंद्र भाटी, रूपचंद मुनीमजी, शोभाराम भाटी, धर्मेंद्र चंदेल, डॉक्टर लाल बहार, अशोक भाटी, सुभाष नेताजी और सिंहराज समेत काफी संख्या में लोग मौजूद रहे। इसके अलावा गौर सिटी गोल चक्कर पर अमरीश भाटी प्रमुख, बबली नागर बीडीसी, दीपक नागर मिलक लच्छी, अनिल प्रधान और भुवनेश नागर ठेकेदार आदि द्वारा स्वागत किया गया। इसके अलावा ग्रेटर नोएडा के परीचौक पर भी बबीता नागर का स्वागत किया गया।
दिल्ली पुलिस में सब इंस्पेक्टर हैं बबीता नागर
ग्रेटर नोएडा की बेटी बबीता नागर ने नाम रोशन कर दिया है। नीदरलैंड के रोटरडैम शहर में आयोजित 'वर्ल्ड पुलिस एन्ड फायर गेम्स' में स्वर्ण पदक जीता है। बबीता रेसलर हैं। उन्होंने 22 जुलाई से शुरू हुए इन अंतर्राष्ट्रीय खेलों में यह बड़ी कामयाबी हासिल की है। बबीता नागर ग्रेटर नोएडा के सादुल्लापुर गांव की निवासी हैं। बबीता दिल्ली पुलिस में सब इंस्पेक्टर हैं।
लम्बे अरसे से महिलाओं के लिए कर रहीं काम
बबीता नागर ग्रेटर नोएडा में महिला पहलवानों का अखाड़ा चला रही हैं। इससे पहले भी अंर्तराष्ट्रीय स्तर पर हुनर दिखा चुकीं है। बबीता नागर अभी तक 100 से ज्यादा महिलाओं और लड़कियों को कुश्ती के गुर सिखाकर दिल्ली और यूपी पुलिस में नौकरी दिला चुकी हैं। सादुल्लापुर गांव की निवासी बबीता नागर दिल्ली पुलिस में सब इंस्पेक्टर हैं। उन्होंने 1999 में कुश्ती शुरू की और कॉमनवेल्थ चैंपियनशिप में सिल्वर मेडल हासिल किया था। स्पोटर्स कोटे से दिल्ली पुलिस में नौकरी पाई। बबीता ने अभी तक स्टेट, नेशनल और इंटरनेशनल स्तर पर 30 से ज्यादा कुश्ती के मैच खेले हैं।
सादुल्लापुर गांव में बेटी की कामयाबी पर खुशी
जब बबीता नागर ने अपने गांव में अखाड़ा शुरू किया था तो लोगों ने विरोध किया, लेकिन उनके माता-पिता ने उन्हें सपोर्ट किया। अपने मजबूत इरादों के साथ कुश्ती के अखाड़े में उतर गईं। 2001 में उन्होंने दिल्ली पुलिस ज्वाइंन करने के बाद लड़कियों को आगे बढ़ाने के लिए फ्री ट्रेनिंग देना शुरू किया। बबीता से प्रेरणा लेकर ना केवल गांव की लड़कियों बल्कि बहुओं ने भी दहलीज कूदी। सरकारी नौकरियां हासिल की हैं। पिछले कई सालों से अखाड़ा चला रही बबीता अभी तक करीब 100 से ज्यादा लड़कियों और महिलाओं को ट्रेनिंग देकर दिल्ली और यूपी पुलिस में नौकरी दिला चुकी हैं। बबीता नागर ने बताया कि उनका प्रयास आगे भी जारी रहेगा। नीदरलैंड में शनिवार को उनकी कामयाबी पर सादुल्लापुर गांव में खुशी का माहौल है।