Greater Noida : यमुना अथॉरिटी (Yamuna Authority) में तैनाती के दौरान आवासीय स्कीम को फ्लॉप करने के मामले में मैनेजर बशी खान और उसके साथी स्टाफ के खिलाफ जांच शुरू हो गई है। बशी खान से 2.57 लाख रुपये की वसूली होगी। इसका फैसला यमुना अथॉरिटी की 75वीं बोर्ड बैठक में लिया जा चुका है। बशी खान और उसके साथ स्कीम को फ्लॉप करने में किन-किन अधिकारी, मैनेजर और कर्मचारियों की भूमिका रही है, इस मामले की जांच के लिए सीईओ ने एसीईओ मोनिका रानी की अध्यक्षता में पांच सदस्यों की जांच समिति बनाई है।
एसीईओ की समिति ने मामले की जांच शुरू कर दी है। जांच समिति ने बीएचएस-2 स्कीम की फाइलों को प्रॉपटी विभाग से मांग लिया है। आपको बता दें कि वर्ष 2013 में यमुना अथॉरिटी ने बीएचएस-2 स्कीम निकाली थी। इस स्कीम में 99.86 वर्ग मीटर समेत तीन कैटेगरी के फ्लैट शामिल थे। बशी खान उस दौरान यमुना अथॉरिटी में तैनात थे और यह स्कीम देख रहे है। आवंटी संजय किशोर को अलॉट हुए 99.86 वर्ग मीटर के 2 बीएचके फ्लैट की भुगतान प्रक्रिया में अनियमितता बरती गई। बशी खान ने आवंटन पत्र के साथ पेयमेंट प्लान 99.86 वर्ग मीटर की बजाय 54.75 वर्ग मीटर वाले वन बीएचके का भेज दिया। आवंटी कम किस्तें जमा करता रहा। आवंटी को 2017 में डिफाल्टर का नोटिस जारी किया गया। इसके बाद आवंटी ने 2018 में गलत पेयमेंट प्लान के बारे में अथॉरिटी को जानकारी दी।
आवंटी पर फ्लैट की टोटल धनराशी जमा नहीं कराने पर 2,57,020 रुपये बकाया निकले गए लेकिन आवंटी ने इसे गलत बताते हुए मैनेजर बशी खान समेत अन्य स्टाफ को दोषी बताया। इस मामले को बोर्ड में रखा गया। जिसमें अथॉरिटी ने आवंटी पर बकाया यह धनराशी बशी खान से वसूलने का फैसला लिया है। वहीं, इस तरह के कितने और मामले हैं और बशी खान ने किस तरह स्कीम को फेल किया, इसकी जांच करने का आदेश दिया है। सीईओ ने एसीईओ मोनीका रानी की अध्यक्षता में पांच सदस्यों की जांच समिति बनाई है। यह समिति 15 दिनों में जांच पूरी करके सीईओ को रिपोर्ट सौंपेगी। समिति ने इस मामले में जांच शुरू कर दी है।