ये 11 विकेट गिरने पर कमजोर हुई बसपा, आकाश आनंद के लिए चुनौती

गौतमबुद्ध नगर को वापस हासिल करना चाहती हैं मायावती : ये 11 विकेट गिरने पर कमजोर हुई बसपा, आकाश आनंद के लिए चुनौती

ये 11 विकेट गिरने पर कमजोर हुई बसपा, आकाश आनंद के लिए चुनौती

Tricity Today | गौतमबुद्ध नगर को वापस हासिल करना चाहती हैं मायावती

Greater Noida News : बहुजन समाज पार्टी की सुप्रीमो मायावती ने अपने भतीजे आकाश आनंद को उत्तराधिकारी बना दिया है। बेशक आकाश आनंद युवा नेता हो, लेकिन गौतमबुद्ध नगर को वापस हासिल करना उनके लिए बड़ी चुनौती है। इसमें कोई दोराय वाली बात नहीं है कि गौतमबुद्ध नगर को अंतरराष्ट्रीय पहचान दिलाने में मायावती का विशेष योगदान रहा। गौतमबुद्ध नगर में सर्वोपरि विकास मायावती के कार्यकाल में हुआ था, लेकिन उसके बावजूद भी जिले में वापस बहुजन समाज पार्टी का वर्चस्व पैदा करना आकाश आनंद के लिए एक बड़ी चुनौती है।

कई दिग्गज नेता से छोड़ा साथ
जिले के काफी दिग्गज नेताओं ने मायावती का साथ छोड़ दिया और दूसरी पार्टी के साथ कंधे से कंधा मिलाकर आगे बढ़ गए, लेकिन मायावती अभी बहुत पीछे हैं। ऐसे में अपने जिले में ही बहुजन समाज पार्टी का दोबारा से वर्चस्व पैदा करना चुनौती से कम नहीं है। अगर असल में देखा जाए तो बहुजन समाज पार्टी जमीनी स्थल से ही ढीली पड़ी है। 

एक-एक करके सारे विकेट गिरे
वर्ष 2009 में हुए लोकसभा चुनाव में बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर सुरेंद्र सिंह नागर सांसद बने थे, लेकिन वर्ष 2014 चुनाव से पहले उन्होंने मायावती का साथ छोड़कर समाजवादी पार्टी का दामन थाम लिया था। इस तरीके से बहुजन समाज पार्टी जिले में कमजोर हो गई। इसके अलावा बहुजन समाज पार्टी से एमएलसी अनिल अवाना, पूर्व मंत्री वेदराम भाटी, जिला पंचायत अध्यक्ष जयवती नागर, गजराज नागर, पूर्व विधायक होराम सिंह, संजीव त्यागी, रामशरण नागर, बालादेवी और वीरेंद्र डाढ़ा समेत काफी लोगों ने मायावती का साथ छोड़ दिया। 

सतवीर गुर्जर को खुद निकाला
राजनीतिक विशेषज्ञों का कहना है कि बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर विधानसभा चुनाव जीतने वाले सतवीर गुर्जर को जब पार्टी ने बाहर का रास्ता दिखाया, उसके बाद बसपा और भी ज्यादा कमजोर हो गई। जिसकी वजह से बहुजन समाज पार्टी ने अपने जिले में ही वर्चस्व को दिया और इसी वर्चस्व को दोबारा हासिल करने के लिए मायावती ने अपने भतीजे आकाश आनंद को उत्तराधिकारी बनाया।

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