कोरोना वायरस के चलते शहर की सभी ओपन जिम बंद

कोरोना वायरस के चलते शहर की सभी ओपन जिम बंद

कोरोना वायरस के चलते शहर की सभी ओपन जिम बंद

Tricity Today | कोरोना वायरस के चलते शहर की सभी ओपन जिम बंद

कोरोना वायरस के खौफ को देखते हुए जहां पुलिस प्रशासन ने नोएडा में धारा-144 लागू कर दी है। वहीं नोएडा प्राधिकरण ने भी कार्यालय आम लोगों के प्रवेश पर सख्ती बरतनी शुरू कर दी है। इसके साथ ही शहर के सभी ओपन जिम को बंद कर दिया गया है। वहां नोटिस चस्पा कर दिए गए है। साथ ही लोगों से घर पर रहने की अपील की जा रही है।

प्राधिकरण की मानें तो अब जरुरी कार्य से आने वाले लोग ही एसीईओ या ओएसडी की अनुमति के बाद प्रवेश कर सकेंगे। वहीं, पीएफ ऑफि स में भीड़ के आने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है, यहां सिर्फ  15 लोगों को ही प्रवेश दिया जा रहा है। बता दें कि नोएडा प्राधिकरण कार्यालय प्रतिदिन डेढ़ हजार के करीब लोगों के साथ अधिकारी.कर्मचारी पहुंचते हैं। इनमें से केवल बीस से 30% लोग ही जरुरी काम से पहुंचते हैं, बाकी अन्य नेतागिरी करने या दलाल की भूमिका में आते हैं। यही वजह है कि कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए प्राधिकरण ने केवल जरूरी कार्य के लिए आने वाले लोगों के ही पास बनाए जा रहे हैं। इस संबंध बताया गया कि अब जरूरत वाले लोगों को ही प्रवेश दिया जा रहा है। एसीईओ या ओएसडी की अनुमति के बगैर अन्य लोगों के प्रवेश पर रोक लगा दी गई है।

कोरोना वायरस को देखते हुए शहर में सभी ओपन जिम को भी बंद करा दिया गया है। शहर में अभी 53 सेक्टर व 7 गांव में ओपन जिम लग चुके हैं। नोएडा प्राधिकरण के महाप्रबंधक राजीव त्यागी ने बताया कि ओपन जिम के जरिए कोरोना फैलने का खतरा ज्यादा है। इसको देखते हुए इनको बंद रखने का निर्णय लिया गया है। ओपन जिम वाले स्थानों पर अगली व्यवस्था तक इनका प्रयोग नहीं करने का नोटिस चस्पा कर दिया गया है। उन्होंने सेक्टर व गांव के लोगों से भी अपील की है कि अगर कोई जानबूझकर ओपन जिम का प्रयोग करना चाहे तो उसे रोकें। गौरतलब है कि ओपन जिम में 17 प्रकार के उपकरण लगाए गए हैं।

कोरोना वायरस के खौफ के चलते आगामी 5 अप्रैल तक शहर में सभी सामाजिक, राजनितिक, सांस्कृतिक, धार्मिक, खेल संबंधित, व्यापारिक प्रदर्शनी, रैलिया, जुलूस जैसे इन सभी कार्यक्रमों पर रोक लगा दी गई है। इसके साथ ही कोरोना वायरस से संक्रमित किसी भी व्यक्ति की जानकारी होने पर तत्काल उसकी सूचना चिकित्सक विभाग अस्पताल को दी जाए साथ ही किसी भी प्रकार के तथ्यों को छुपाया न जाए। इसका उल्लघंन करने पर धारा.188,269 व 270 के अंतर्गत नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी।

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