Special News: ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो का निर्माण शुरू होने की तारीख करीब, रितु महेश्वरी ने कई खास जानकारी दीं

Special News: ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो का निर्माण शुरू होने की तारीख करीब, रितु महेश्वरी ने कई खास जानकारी दीं

Special News: ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो का निर्माण शुरू होने की तारीख करीब, रितु महेश्वरी ने कई खास जानकारी दीं

Tricity Today | Greater Noida West & Ritu Maheshwari

पहले फेज में पांच मेट्रो स्टेशन बनाए जाएंगे। जिनमें नोएडा के सेक्टर-122, सेक्टर-123, ग्रेटर नोएडा में सेक्टर-4 और सेक्टर-2 के स्टेशन शामिल हैं।gangaएनएमआरसी की प्रबंध निदेशक रितु माहेश्वरी ने कहा कि नोएडा और ग्रेटर नोएडा वेस्ट के बीच नई मेट्रो वहां के लाखों निवासियों को बड़ा लाभ देगी।gangaसरकार की कैबिनेट ने 3 दिसंबर 2019 को सेक्टर-51 से ग्रेटर नोएडा नॉलेज पार्क-5 तक मेट्रो ले जाने की मेट्रो रेल परियोजना को मंजूरी दी थी।gangaकरीब 2,602 करोड़ रुपये खर्च में से 253 करोड़ ग्रेटर नोएडा, 126 करोड़ नोएडा को देने हैं। 327 करोड़ यूपी और 327 करोड़ रुपये केंद्र को देने हैं।

ग्रेटर नोएडा वेस्ट मेट्रो के निर्माण शुरू होने की तारीख और करीब आ गई है। इस प्रोजेक्ट का काम एक महीने में शुरू हो जाएगा। पहले फेज में पांच मेट्रो स्टेशन बनाए जाएंगे। जिनमें नोएडा के सेक्टर-122, सेक्टर-123, ग्रेटर नोएडा में सेक्टर-4 और सेक्टर-2 के स्टेशन शामिल हैं। इसके अलावा नोएडा-ग्रेटर नोएडा के बीच मौजूदा एक्वा लाइन मेट्रो के सेक्टर-142 मेट्रो स्टेशन को बॉटनिकल गार्डन मेट्रो स्टेशन से जोड़ने के लिए अलग लाइन की योजना पर भी काम तेजी से चल रहा है। यह जानकारी नोएडा मेट्रो रेल कॉरपोरेशन (Noida Metro Rail Corporation, NMRC) की प्रबंध निदेशक (MD) रितु माहेश्वरी ने दी हैं।

अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर बीते रविवार को सेक्टर-76 और परी चौक मेट्रो स्टेशनों को पिंक मेट्रो स्टेशन बनाया गया है। इस मौके पर रितु महेश्वरी ने पत्रकारों से बातचीत की थी। एनएमआरसी की प्रबंध निदेशक और नोएडा प्राधिकरण की मुख्य कार्यपालक अधिकारी रितु माहेश्वरी ने कहा कि नोएडा और ग्रेटर नोएडा वेस्ट के बीच नई मेट्रो वहां के लाखों निवासियों को बड़ा लाभ देगी। ग्रेटर नोएडा वेस्ट के निवासियों को सर्वश्रेष्ठ पब्लिक ट्रांसपोर्ट मिलेगा।

हम आपको बता दें कि एनएमआरसी ने सॉइल टेस्टिंग (मिट्टी की जांच) का काम करीब एक महीने पहले शुरू किया था। जिसकी रिपोर्ट आने वाली हैं। अब प्रोजेक्ट के लिए टेंडर प्रक्रिया पर काम चल रहा है। दरअसल, सॉइल टेस्टिंग की रिपोर्ट टेंडर के लिए जरूरी होती है। इसी रिपोर्ट आधार पर जमीन के नीचे मेट्रो लाइन के पिलर्स की गहराई, मैटीरियल और कंस्ट्रक्शन डिजाइन का निर्धारण किया गया है। अधिकारियों के अनुसार अगले 20-22 दिन के अंदर टेंडर से जुड़ी प्रक्रिया पूरी हो जाएगी।

मेट्रो लाइन जिस रूट में बिछेगी और मेट्रो स्टेशन बनेंगे, उसके लिए कितने पेड़ काटने या हटाने पड़ेंगे, इसका सर्वे भी कर लिया गया है। फुटपाथ, सीवर लाइन, अंडरग्राउंड केबल आदि को कैसे शिफ्ट किया जाएगा, इसकी भी रिपोर्ट तैयार कर ली गई है। मेट्रो रूट के डिजाइन और आर्किटेक्ट को सरकार ने मंजूरी दे दी है। एनएमआरसी की टीम इस तरह के अलाइनमेंट सर्वे के लिए कई जगह बोर्ड लगाकर काम पूरे कर चुकी है।

3 दिसम्बर को यूपी कैबिनेट की मिली थी मंजूरी
इस प्रोजेक्ट पर कितनी तेजी से काम चल रहा है, इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि उत्तर प्रदेश सरकार की कैबिनेट ने 3 दिसंबर 2019 को सेक्टर-51 से ग्रेटर नोएडा नॉलेज पार्क-5 तक मेट्रो ले जाने की मेट्रो रेल परियोजना को मंजूरी दी थी। करीब एक साल पहले इसकी डीपीआर शासन को भेजी गई थी, जो शासन में विचाराधीन थी। कैबिनेट मीटिंग में ही 151 करोड़ रुपये के बजट को मंजूरी दी गई थी। ग्रेटर नोएडा विकास प्राधिकरण ने यह रकम एनएमआरसी को दे दी है।

इस प्रोजेक्ट पर 2,602 करोड़ रुपये होंगे खर्च
सेक्टर 51 से नॉलेज पार्क-5 तक 9 स्टेशन बनाए जाएंगे। इस पर करीब 2,602 करोड़ रुपये खर्च होंगे। इसमें 253 करोड़ रुपये ग्रेटर नोएडा विकास प्राधिकरण देगा। 126 करोड़ रुपये नोएडा अथॉरिटी को देने हैं। 327 करोड़ रुपये उत्तर प्रदेश सरकार देगी। 327 करोड़ रुपये ही केंद्र सरकार को देने हैं। इस प्रोजेक्ट के 1,134 करोड़ रुपये का एनसीआर प्लानिंग बोर्ड से लोन लिया जाएगा। बाकी फंड की व्यवस्था विकास प्राधिकरण और सरकार को करनी है।

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