ग्रेटर नोएडा फेडरेशन ने प्राधिकरण के सामने रखीं 10 मांग, मानी गईं तो शहर की तमाम बड़ी दिक्क्तें दूर हो जाएंगी

ग्रेटर नोएडा फेडरेशन ने प्राधिकरण के सामने रखीं 10 मांग, मानी गईं तो शहर की तमाम बड़ी दिक्क्तें दूर हो जाएंगी

ग्रेटर नोएडा फेडरेशन ने प्राधिकरण के सामने रखीं 10 मांग, मानी गईं तो शहर की तमाम बड़ी दिक्क्तें दूर हो जाएंगी

Tricity Today | ग्रेटर नोएडा फेडरेशन ने प्राधिकरण के सामने रखीं 10 मांग

फेडरेशन ऑफ आरडब्ल्यूएज ग्रेटर नोएडा ने मंगलवार को शहर की 30 आरडब्ल्यूए के साथ प्राधिकरण के विशेष कार्याधिकारी श्रीप्रकाश से मुलाकात की। इन लोगों ने ओएसडी को 10 सूत्रीय मांगों को लेकर एक ज्ञापन सौंपा है। जिसमें प्रमुख रूप से 10 समस्याओं के समाधान करने की मांग की है। फेडरेशन के पदाधिकारियों ने अध्यक्ष देवेंद्र टाइगर और महासचिव दीपक भाटी के नेतृत्व में प्राधिकरण के ओएसडी से मुलाकात की है।

फेडरेशन ऑफ आरडब्ल्यूएज ग्रेटर नोएडा ने ये 10 मांग रखी हैं

  1. ग्रेटर नोएडा के जिन सेक्टरों की आरडब्ल्यूए ने प्राधिकरण को भ्रमित करके मान्यता दी है, उसे वापस लिया जाए। सहमति के आधार पर नियमों के तहत मान्यता प्रदान की जाए। 
  2. शहर के सेक्टर 36, 37, ओमिक्रोन-1 ए, ओमिक्रोन 2, ओमिक्रोन 3, सिग्मा 1, 2, 3, सेक्टर 2 सेक्टर 3, डेल्टा 3, म्यु 1, 2 ज्यू 1, 2, 3, ईटा आदि में कम्युनिटी सेंटर (बारात घर) और मार्किट का निर्माण नहीं हुआ है। जिससे सेक्टर वासियों को सामाजिक कार्यक्रम विवाह आदि करने में दिक्कत आ रही है। जल्द इनका निर्माण कराया जाए। 
  3. दीपावली का पर्व निकट है, जिसे रोशनी का पर्व कहा जाता है। लेकिन अधिकांश लाइट पेड़ों की टहनियों में छिपी हुई हैं। इसके चलते गलियों में रोशनी नहीं दिखती है। एक अभियान चलाकर पेड़ों की छटाई कराई जाए। 
  4. शहर के सेक्टर 2 व सेक्टर 3 में एक दशक से ज्यादा समय बीत जाने के बाद भी पार्कों और ग्रीन बेल्ट का विकास नहीं हुआ है। ग्रीन बेल्ट का विकास किया जाए।
  5. सेक्टर ओमिक्रोन 2 के ए ब्लॉक में आज तक पार्क की बाउंड्रीवाल पूर्ण नहीं हुई है। बाउंड्रीवाल का निर्माण किया जाए। सेक्टर अल्फा 1, डेल्टा 1, 2, 3, सेक्टर 36, 37, बीटा 1, गामा 1, 2 आदि में ग्रीन बेल्ट और पार्कों की सफाई कराई जाए।
  6. शहरवासियों को गंगाजल पानी की सप्लाई पर पिछले लंबे समय से कार्य चल रहा है। लेकिन आज तक शहर को गंगाजल नहीं मिल पाया है। क्योंकि भूमिगत जल के प्रयोग से निरन्तर वाटर लेवल कम हो रहा है। इस परियोजना पर तेजी से कार्य हो और निर्माण संबंधित एजेंसी को एक डेडलाइन दी जाए ताकि शहरवासियों को गंगाजल मिल सके।
  7. सेक्टर डेल्टा 1 के गेट नंबर-4 के पास कावेरी बिल्डर ने गलत ढंग से काम किया है। आरडब्ल्यूए के सिक्योरिटी गार्ड रूम, लाइटों, कैमरे व प्राधिकरण की दीवार को गिरा दिया था। जिसका निर्माण कावेरी बिल्डर व प्राधिकरण ने आज तक नहीं कराया है।
  8. फेडरेशन निरंतर ग्रेटर नोएडा वेस्ट तक मेट्रो चलाने की मांग रही है। जिससे ग्रेटर नोएडा की 130 मीटर रोड का एरिया मुख्यधारा से जुड़ सके। जल्द से जल्द इसका निर्माण कराया जाए। 
  9. सेक्टर पी-3 की भूमि का अधिग्रहण वर्ष 2000 से पूर्व में हुआ था। जिस पर प्राधिकरण ने अतिरिक्त 64.7%प्रतिकर नहीं दिया है, लेकिन आवंटियों को गलत रूप से नोटिस भेज दिए गए थे। उन गलत नोटिसों को सेक्टर 36 की तरह वापस कराया जाए। 
  10. ग्रेटर शहर में ज्यादा कंस्ट्रक्शन के चलते प्रदूषण का स्तर काफी खराब रहता है। इसलिए सड़कों पर पानी का छिड़काव और प्रदूषण की रोकथाम के लिए शहर में स्मॉग टावर लगवाए जाएं। 

जिन सोसायटी में एओए व आरडब्ल्यूए का गठन हो चुका है, वहां पर भी फ्लैट के ट्रांसफर के वक्त ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण आवंटी से बिल्डर की एनओसी मांगते हैं। जब समस्त कार्यभार और जिम्मेदारी एसोसिएशन पर चली गयी है तो बिल्डर का अनापत्ति प्रमाण पत्र मांगना बिल्कुल गलत है। इसको बन्द कराया जाए। ओएसडी ने जल्द समस्याओं के निराकरण का आश्वासन दिया है।

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