Tricity Today | IPS Vaibhav Krishna
Lucknow: गौतमबुद्ध नगर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक वैभव कृष्ण को उत्तर प्रदेश सरकार ने निलंबित कर दिया है। वहीं, दूसरी ओर वैभव कृष्ण ने जिन 5 आईपीएस अफसरों पर भ्रष्टाचार के आरोप में रिपोर्ट शासन की भेजी थी, उन सभी को सरकार ने महत्वपूर्ण पदों से हटा कर शंटिंग में डाल दिया है। इसके अलावा इस पूरे प्रकरण की जांच करने के लिए एक एसआईटी का गठन किया है। जिसमें तीन बड़े अधिकारी शामिल हैं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गौतमबुद्ध नगर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक वैभव कृष्ण को निलंबित कर दिया है। वैभव कृष्ण के खिलाफ शासन को भेजी गई गोपनीय रिपोर्ट सार्वजनिक करने का आरोप है। इसके अलावा वैभव कृष्ण ने उत्तर प्रदेश कैडर के जिन 5 आईपीएस अधिकारियों को भ्रष्टाचार में संलिप्त बताते हुए शासन को रिपोर्ट भेजी थी, उन सबको पदों से हटा दिया गया है। इनमें रामपुर के पुलिस अधीक्षक अजय पाल शर्मा, गाजियाबाद के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक सुधीर सिंह, सुल्तानपुर के पुलिस अधीक्षक हिमांशु कुमार, स्पेशल टास्क फोर्स के पुलिस अधीक्षक राजीव नारायण मिश्रा और आईपीएस गणेश साहा शामिल हैं। इन पांच अधिकारियों को हटाकर पीएसी और अन्य विभागों में भेज दिया गया है।
उत्तर प्रदेश सरकार ने वैभव कृष्ण की रिपोर्ट पर जांच करने के लिए एक उच्चस्तरीय स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम का गठन किया है। इस एसआईटी का अध्यक्ष सतर्कता निदेशालय के अध्यक्ष एचसी अवस्थी को बनाया गया है। जबकि, उत्तर प्रदेश स्पेशल टास्क फोर्स के आईजी अमिताभ यश और उत्तर प्रदेश जल निगम के प्रबंध निदेशक विकास गोठलवाल को सदस्य नियुक्त किया गया है। यह एसआईटी पूरे प्रकरण की 15 दिनों में जांच करके अपनी रिपोर्ट मुख्यमंत्री को देगी। इस जांच के दायरे में यह सभी आईपीएस अफसर और सूचना विभाग के तीन अधिकारी भी शामिल हैं इनमें दिवाकर खरे, गुलशन कुमार और रजनीश के खिलाफ जांच होगी। यह सभी उत्तर प्रदेश सरकार के सूचना विभाग के अफसर हैं।