जेवर सीट को लावारिस छोड़कर बैठा है भाजपा संगठन, धीरेन्द्र सिंह के खिलाफ चला जा रहा ब्राह्मण बनाम ठाकुर कार्ड

सियासत : जेवर सीट को लावारिस छोड़कर बैठा है भाजपा संगठन, धीरेन्द्र सिंह के खिलाफ चला जा रहा ब्राह्मण बनाम ठाकुर कार्ड

जेवर सीट को लावारिस छोड़कर बैठा है भाजपा संगठन, धीरेन्द्र सिंह के खिलाफ चला जा रहा ब्राह्मण बनाम ठाकुर कार्ड

Tricity Today | धीरेंद्र सिंह

UP Vidhansabha Chunav 2022 : इस बार भारतीय जनता पार्टी के लिए उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव करो या मरो की स्थिति में है। अगर भाजपा सत्ता में वापसी नहीं कर पाती या बहुमत के आसपास ही वापसी करती है तो कई बड़े नुकसान उठाने पड़ेंगे। मसलन, राष्ट्रपति चुनाव पर असर पड़ेगा और 2024 में लोकसभा चुनाव चुनौती बन जाएगा। यही वजह है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर रक्षामंत्री राजनाथ सिंह, पार्टी के अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और तमाम बड़े-बड़े नेता प्रचार में जान झोंक रहे हैं। दूसरी तरफ गौतमबुद्ध नगर में भारतीय जनता पार्टी के संगठन की अंदरूनी तकरार खत्म होने का नाम नहीं ले रही है। अंदाजा इस बात से लगा सकते हैं कि भाजपा संगठन ने जेवर विधानसभा सीट को पूरी तरह लावारिस छोड़ दिया है। इतना ही नहीं जानकारी यहां तक मिल रही है कि भाजपा के बड़े ब्राह्मण नेता जेवर से मौजूदा विधायक और उम्मीदवार ठाकुर धीरेंद्र सिंह के खिलाफ 'ब्राह्मण बनाम राजपूत' कार्ड खेल रहे हैं।

कहां हैं डॉ.महेश शर्मा और श्रीचंद शर्मा
गौतमबुद्ध नगर के बड़े ब्राह्मण नेताओं में सांसद डॉ.महेश शर्मा और शिक्षक एमएलसी श्रीचंद शर्मा शामिल हैं। दोनों विधानसभा चुनाव से पूरी तरह गायब हैं। भाजपा के सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक दोनों नेता जेवर में पार्टी उम्मीदवार के लिए प्रचार करने से बच रहे हैं। जबकि जिला पंचायत चुनाव के दौरान भाजपा समर्थित उम्मीदवार को जिताने के लिए महेश शर्मा और श्रीचंद शर्मा गांव-गांव घूम रहे थे। इससे जेवर क्षेत्र में भारतीय जनता पार्टी के मतदाता असमंजस में पड़े हुए हैं। खासतौर से ब्राह्मण वोटर ज्यादा परेशान हैं। पूरे इलाके में चर्चा है कि सांसद और एमएलसी भाजपा उम्मीदवार ठाकुर धीरेंद्र सिंह के लिए काम करना नहीं चाहते हैं। अब तो लोग खुलकर कह रहे हैं कि पहले धीरेंद्र सिंह का टिकट कटवाने की कोशिश की गई। जब टिकट नहीं कटा तो उन्हें चुनाव करवाने की कोशिश की जा रही हैं।

विपक्ष उठा रहा है भाजपा की फूट का फायदा
दूसरी तरफ विपक्षी पार्टियों के उम्मीदवार भाजपा नेताओं की इस फूट का भरपूर फायदा उठा रहे हैं। जोर-शोर से प्रचार किया जा रहा है कि ब्राह्मण इस बार ठाकुर धीरेंद्र सिंह को वोट नहीं देंगे। भाजपा के नेता तो अपने उम्मीदवार के खिलाफ ही प्रचार कर रहे हैं। आपको बता दें कि पिछले दिनों डॉ.महेश शर्मा और समाजवादी पार्टी-रालोद गठबंधन के उम्मीदवार अवतार सिंह भड़ाना का एक पुराना फोटो सोशल मीडिया पर वायरल किया गया था। भाजपा नेताओं के आंतरिक गतिरोध का फायदा उठाने के लिए ही यह फोटो सोशल मीडिया पर पोस्ट किया गया। जब सांसद डॉ.महेश शर्मा को अपनी छवि खराब होती नजर आई तो उन्होंने खुद फेसबुक पर पोस्ट की। उन्होंने बताया कि यह फोटो 4 साल पुराना है। उस वक्त अवतार सिंह भड़ाना भारतीय जनता पार्टी के विधायक थे। तभी की मुलाकात के फोटो को गलत ढंग से प्रचारित किया जा रहा है।

भाजपा की जिला कार्यकारिणी दबाव में है
गौतमबुद्ध नगर भारतीय जनता पार्टी की जिला कार्यकारिणी में सेवानन्द शर्मा और राहुल पण्डित उपाध्यक्ष हैं। दीपक भारद्वाज महामंत्री हैं। इनके अलावा कई और ब्राह्मण चेहरे हैं। सारे लोग जेवर जाने से डर रहे हैं। दरअसल, खुलेआम कहा जा रहा है कि जिला कार्यकारिणी का जो भी नेता जेवर सीट के उम्मीदवार की मदद करने जाएगा, उससे सांसद डॉ.महेश शर्मा और एमएलसी श्रीचंद शर्मा नाराज हो जाएंगे। लिहाजा, पूरी जिला कार्यकारिणी जेवर की तरफ पैर करके भी नहीं सो रही है। जिला भाजपा के एक बड़े नेता ने नाम नहीं छापने की शर्त पर कहा, "सारे लोग जेवर जाकर काम करना चाहते हैं, लेकिन दबाव में हैं। कुछ इक्का-दुक्का ब्राह्मण नेता जेवर गए हैं तो उन्हें फोन करके घर बैठने की हिदायत दी गई हैं। अब चुनाव अंतिम चरण में पहुंच चुका है। भाजपा के जिला अध्यक्ष विजय भाटी मौन साधकर बैठे हुए हैं। वह खुद भी पार्टी पदाधिकारियों को प्रचार में जाने के लिए नहीं बोल रहे हैं। जिले के हालात की जानकारी क्षेत्रीय कार्यालय और प्रदेश कार्यालय को भी नहीं दे रहे हैं।"

कहां हैं जिला पंचायत के अध्यक्ष अमित चौधरी
गौतमबुद्ध नगर की तीनों विधानसभा सीटों पर सबसे ज्यादा जाट मतदाताओं की संख्या जेवर क्षेत्र में है। इसी बात को ध्यान में रखते हुए राष्ट्रीय लोकदल ने अवतार सिंह भड़ाना को यहां से मैदान में उतारा है। दूसरी तरफ गौतमबुद्ध नगर जिला पंचायत के अध्यक्ष अमित चौधरी जाट बिरादरी से हैं। सही मायने में वह गौतमबुद्ध नगर में सबसे बड़े पद पर आसीन हैं। अमित चौधरी भी जेवर सीट से दूरी बनाए हुए हैं। वह अभी तक जाट बाहुल्य गांवों में भाजपा उम्मीदवार के लिए प्रचार करने नहीं पहुंचे हैं। लोगों में चर्चा है कि अमित चौधरी भी सांसद डॉ.महेश शर्मा और एमएलसी श्रीचंद शर्मा की राह पर चल रहे हैं। जिसका सीधा फायदा सपा-रालोद गठबंधन के उम्मीदवार को मिल रहा है। कुल मिलाकर भारतीय जनता पार्टी के नेताओं का यह आंतरिक प्रतिरोध पार्टी के लिए बड़ी परेशानी बन सकता है।

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