उत्तर प्रदेश सरकार के फैसले को प्रियंका गांधी की चुनौती, बोलीं- सड़क से संसद तक लड़ेंगी

Google Image | Priyanka Gandhi



कांग्रेस महासचिव Priyanka Gandhi Vadra ने रोजगार के मुद्दे पर बृहस्पतिवार को Uttar Pradesh के कई युवाओं के साथ डिजिटल संवाद किया और कहा कि उनके लिए रोजगार राजनीति का नहीं, बल्कि मानवीय संवेदना का विषय है। युवाओं के लिए आवाज उठाने में वह कोई कसर नहीं छोड़ेंगी।

उन्होंने यह भी कहा कि उत्तर प्रदेश में संविदा नीति के खिलाफ सड़क पर उतरकर आवाज उठाई जाएगी। पार्टी की ओर से जारी बयान के मुताबिक, प्रियंका ने उत्तर प्रदेश में शिक्षक भर्ती परीक्षा में उत्तीर्ण होने के बाद भी नियुक्ति का इंतजार कर रहे करीब 50 युवाओं के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए बातचीत की। यह बातचीत प्रियंका गांधी द्वारा हाल ही में शुरू किए गए युवाओं के साथ रोजगार पर संवाद का हिस्सा है। 

इस संवाद के दौरान प्रियंका ने कहा, ''मेरा मानना है कि युवाओं की बात सुननी पड़ेगी और उनके मुद्दों के लिए हमें सड़क से लेकर सदन तक इन मुद्दों पर लड़ना होगा। कांग्रेस पार्टी इसमें पीछे नहीं हटने वाली। कांग्रेस का दावा है कि 2016 की शिक्षक भर्ती विज्ञापन में 51 जिलों में पद थे और अब तक नियुक्ति न होने के कारण अभ्यर्थी कोर्ट- कचहरी के चक्कर काट रहे हैं।

पार्टी के अनुसार, अभ्यर्थियों ने प्रियंका गांधी को अपनी पीड़ा से अवगत कराया। प्रियंका ने वादा किया कि वह हरसंभव मदद करेंगी। उन्होंने यह भी कहा, ''यह हमारे लिए राजनीतिक मुद्दा नहीं बल्कि मानवीय संवेदनाओं का मसला है। यह न्याय का सवाल है।

प्रियंका ने उत्तर प्रदेश में समूह ख और ग की नौकरियों को पांच साल की संविदा के प्रावधान संबंधी प्रस्ताव को लेकर उत्तर प्रदेश सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, ''यह काला कानून है। इस के खिलाफ सड़क पर उतरा जाएगा। हम ऐसी नीति लाएंगे जिसमें युवाओं का अपमान करने वाला संविदा कानून नहीं बल्कि सम्मान के कानून हों।

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