Tricity Today | Yogi Adityanath
उत्तर प्रदेश सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। कोरोनावायरस की रोकथाम में जुटे कर्मचारी और अधिकारी को अगर कुछ होता है। तो उसके परिवार को 50 लाख की आर्थिक सहायता दी जाएगी।
शनिवार को उत्तर प्रदेश सरकार की अपर मुख्य सचिव रेणुका कुमार ने यह शासनादेश सभी जिला अधिकारियों को भेजा है। शासनादेश में अपर मुख्य सचिव रेणुका कुमार ने बताया है कि, इस वक्त पूरी दुनिया कोरोनावायरस से फैल रही महामारी की चपेट में है। जिसकी रोकथाम और बचाव के लिए पूरा सरकारी अमला काम कर रहा है। यह बेहद संक्रामक बीमारी है। इससे बीमार व्यक्ति के संपर्क में आने से दूसरे लोग भी पीड़ित हो जाते हैं।
महामारी को रोकने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार के तमाम विभागों के कर्मचारी और अधिकारी काम कर रहे हैं। अगर दुर्भाग्यवश किसी कर्मचारी अथवा अधिकारी के साथ कोरोनावायरस के कारण मृत्यु जैसी घटना होती है। तो ऐसे लोगों के परिजनों को सामाजिक सुरक्षा देने का उत्तरदायित्व उत्तर प्रदेश सरकार निभाएगी। इन आश्रित परिवारों को सरकार की ओर से 50 लाख की आर्थिक मदद दी जाएगी कर्मचारी अथवा अधिकारी जिस विभाग में कार्यरत होगा। उसका मुखिया प्रमाण पत्र जारी करेगा। वह बताएगा कि कर्मचारी को कोरोनावायरस की रोकथाम के लिए ड्यूटी पर लगाया गया था। सहायता राशि देने का अधिकार सभी जिलाधिकारियों को दे दिया गया है।
आपको बता दें कि पिछले 3 दिनों से उत्तर प्रदेश समेत पूरे भारत में कोरोनावायरस बहुत तेजी से फैला है। पीड़ित होने वालों के साथ साथ मरने वालों की संख्या भी बढ़ रही है। उपचार में जुटे डॉक्टर कोरोनावायरस की चपेट में आ रहे हैं। शनिवार को गाजियाबाद में एक ऐसा मामला आया है। जिसमें डासना सीएचसी के प्रभारी चिकित्सक को कोरोनावायरस से संक्रमित पाया गया है। आने वाले दिनों में यह समस्या आ सकती है। इसे ध्यान में रखकर सरकार ने यह फैसला लिया है।
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