ग्रेटर नोएडा में राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट और एमजीएम अस्पताल खोलने की तैयारी, प्राधिकरण से मांगी जमीन

बड़ी खबर : ग्रेटर नोएडा में राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट और एमजीएम अस्पताल खोलने की तैयारी, प्राधिकरण से मांगी जमीन

ग्रेटर नोएडा में राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट और एमजीएम अस्पताल खोलने की तैयारी, प्राधिकरण से मांगी जमीन

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Greater Noida News : स्वास्थ्य सेवाओं के क्षेत्र में एक बड़ी पहल की दिशा में दिल्ली स्थित राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट एंड रिसर्च सेंटर और चेन्नई के एमजीएम मल्टी सुपरस्पेशलिटी हॉस्पिटल ने ग्रेटर नोएडा में अस्पताल खोलने की इच्छा जताई है। इसके लिए दोनों संस्थानों ने ग्रेटर नोएडा विकास प्राधिकरण से जमीन की मांग की है। यह पहल नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट के निर्माण के बाद क्षेत्र में निवेश की बढ़ती रुचि का हिस्सा है।

अस्पताल प्रबंधन का साइट निरीक्षण जल्द
प्राधिकरण के अनुसार दोनों संस्थानों के प्रबंधन अगले कुछ दिनों में संभावित स्थल का निरीक्षण करेंगे। निरीक्षण के बाद आगे की प्रक्रिया शुरू होगी। जिसमें जमीन आवंटन और अन्य जरूरी औपचारिकताएं शामिल होंगी। ग्रेटर नोएडा में स्वास्थ्य सेवाओं में निवेश करने वाले यह संस्थान अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस सुपर मल्टीस्पेशलिटी अस्पताल खोलने का इरादा रखते हैं। 

एलजी गोलचक्कर और शारदा गोलचक्कर के बीच मिलेगी जमीन
प्राधिकरण ने बताया कि अस्पतालों के लिए एलजी गोलचक्कर और शारदा गोलचक्कर के बीच स्थित 60 एकड़ जमीन में से आवश्यकता अनुसार हिस्सा आवंटित किया जा सकता है। यह जमीन संस्थागत श्रेणी के लिए आरक्षित है। जैसे ही यहां लंबित सड़क निर्माण कार्य पूरा होगा, जमीन आवंटन प्रक्रिया तेज कर दी जाएगी। एलजी गोलचक्कर से नोएडा सेक्टर-145 को जोड़ने वाली सड़क का काम चल रहा है। जो इस क्षेत्र की कनेक्टिविटी में सुधार करेगा और इसे निवेशकों के लिए और आकर्षक बनाएगा।

अत्याधुनिक स्वास्थ्य सुविधाओं से होगा फायदा
दोनों अस्पतालों के प्रबंधन ने अत्याधुनिक चिकित्सा सुविधाएं प्रदान करने का आश्वासन दिया है, जिससे इस क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवाओं का स्तर और ऊंचा होगा। राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट के खुलने से कैंसर के मरीजों को इलाज के लिए अन्य शहरों में नहीं जाना पड़ेगा। 

लोगों की मिलेगा अच्छा इलाज
ग्रेटर नोएडा में पहले से मौजूद राजकीय आयुर्विज्ञान संस्थान (जिम्स), फोर्टिस, शारदा, कैलाश और यथार्थ जैसे बड़े अस्पतालों के बाद अब राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट के साथ एमजीएम हॉस्पिटल के आने से गंभीर बीमारियों के इलाज के लिए यह क्षेत्र अधिक सशक्त हो जाएगा। खासकर कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों के इलाज के लिए लोगों को अब महानगरों का रुख नहीं करना पड़ेगा, जिससे उन्हें आर्थिक और मानसिक राहत मिलेगी।

नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट से बढ़ी निवेशकों की रुचि
नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट का निर्माण शुरू होने के बाद से ही ग्रेटर नोएडा में निवेशकों की रुचि लगातार बढ़ रही है। औद्योगिक निवेश के साथ-साथ अब स्वास्थ्य सेवाओं में भी बड़े संस्थान इस क्षेत्र में निवेश करने को उत्सुक हैं। राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट और एमजीएम हॉस्पिटल की यह योजना ग्रेटर नोएडा को एक प्रमुख स्वास्थ्य सेवा केंद्र के रूप में उभरने में मदद करेगी।

स्वास्थ्य क्षेत्र में मील का पत्थर
यह कदम स्वास्थ्य सेवाओं में ग्रेटर नोएडा के लिए मील का पत्थर साबित हो सकता है, क्योंकि इससे न केवल स्थानीय लोगों को बेहतरीन चिकित्सा सुविधाएं मिलेंगी। बल्कि यह शहर को चिकित्सा पर्यटन के रूप में भी उभार सकता है। दोनों अस्पतालों के आ जाने से इस क्षेत्र में न केवल स्वास्थ्य सेवाएं सशक्त होंगी, बल्कि रोजगार के नए अवसर भी सृजित होंगे।

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