Noida News : जेवर के विधायक ठाकुर धीरेंद्र सिंह (Dhirendra Singh MLA) ने गौतमबुद्ध नगर के तीनों विकास प्राधिकरण से बड़ी जानकारी मांगी है। विधायक ने तीनों प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी को एक खत लिखा है। पूछा है कि प्राधिकरण ने स्थानीय लोगों को रोजगार दिलाने के लिए क्या इंतजाम किए हैं? तीनों प्राधिकरण क्षेत्रों में लग चुकी और भविष्य में लगने वाली औद्योगिक इकाइयों को जमीन आवंटित करने से पहले क्या क्या शर्ते निर्धारित की जाती हैं? विधायक ने यह सूचना अधिकतम 8 दिनों में मांगी है।
सरकार के खिलाफ प्रश्न खड़ा करते हैं किसान
धीरेंद्र सिंह ने नोएडा की मुख्य कार्यपालक अधिकारी ऋतु महेश्वरी, ग्रेटर नोएडा के मुख्य कार्यपालक अधिकारी सुरेंद्र सिंह और यमुना एक्सप्रेसवे इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट अथॉरिटी के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ.अरुणवीर सिंह को एक पत्र भेजा है। धीरेंद्र सिंह ने कहा, "जिन किसानों की जमीन पर तीनों प्राधिकरण स्थापित हुए हैं, उनके बच्चों को रोजगार की व्यवस्था नहीं हो तो सरकार के खिलाफ प्रश्न खड़ा होता है। हम सरकार के नुमाइंदे हैं। जिस भावना से जनता ने हमें अपना जनप्रतिनिधि चुना है, उसी भावना के अनुरूप ग्राम भ्रमण के समय लोग हमसे सवाल पूछते हैं। जिले में आम आदमी का सवाल है, हम जनपद के स्थानीय लोगों को कब उनकी जमीनों पर स्थापित हो चुकी इंडस्ट्री में रोजगार दे पाएंगे?"
'आम आदमी के सवालों का जवाब देना हमारा फर्ज'
विधायक ने कहा, "आम मतदाता ने अपने हितों की सुरक्षा के लिए हमें प्रतिनिधि चुना है। उन्होंने वोट देकर हमें विधानसभा में भेजा है। उन्हें सवाल करने का पूरा हक है। उनके सवालों का जवाब देना हमारा फर्ज है। मैं जब जिले के किसी गांव में जाता हूं तो स्थानीय निवासी एक ही सवाल पूछते हैं। हमारे आस-पास लग रही बड़ी-बड़ी कंपनियों में हमारे बच्चों को नौकरियां क्यों नहीं दी जा रही हैं? मैंने कई बार यह सवाल प्राधिकरण अधिकारियों से पूछा है. मैं जानता हूं कि तत्काल कोई जवाब नहीं मिल सकता है। मैंने इसी वजह से तीनों अथॉरिटी के सीईओ को पत्र लिखकर जानकारी मांगी है। मैं जानना चाहता हूं कि कंपनियों को भूमि आवंटन किन शर्तों के तहत किया गया है। स्थानीय युवकों को रोजगार देने की शर्तें क्या हैं। फिर आगे उसी के मुताबिक समाधान तलाश करूंगा।"
'कंपनियों से इस मुद्दे पर बातचीत की जाएगी'
धीरेंद्र सिंह ने आगे कहा, "मैंने 8 दिनों में तीनों अथॉरिटी से सूचनाएं मांगी हैं। प्राधिकरण से सूचनाएं मिलने के बाद कंपनियों से बातचीत करूंगा। उनसे उनकी अपेक्षाएं जानूंगा। जो हमारे युवा उनके मानकों पर खरे उतर रहे हैं, उन्हें काम देने को कहा जाएगा। जो युवक कंपनियों के काबिल नहीं हैं, उन्हें काबिल बनाने की योजना बनाई जाएगी। स्थानीय युवकों में सॉफ्ट स्किल और कौशल विकास के लिए एक वृहद कार्यक्रम शुरू करवाया जाएगा। इसमें तीनों प्राधिकरण, जिला प्रशासन, राज्य सरकार, केंद्र सरकार और कई बड़े गैर सरकारी संगठन सहयोग देंगे।'