Noida News : नोएडा के सेक्टर-27 स्थित कैम्ब्रिज स्कूल में डिजिटल रेप मामले में जिला प्रशासन पिछले करीब 10 दिन से कुंभकरण की नींद सोया हुआ था। जबकि इस मामले को 14 अक्तूबर को ट्राईसिटी टुडे ने सबसे पहले प्रकाशित किया और लगातार खबरों के माध्यम से पुलिस और प्रशासन को कार्रवाई करने के लिए चेताते रहे। लेकिन जिला प्रशासन चुप्पी साधे रहा। जब शनिवार को सैकड़ों अभिभावक स्कूल के खिलाफ सड़क पर उतरे तो जिला प्रशासन की नींद टूटी। इसके बाद डीएम मनीष कुमार वर्मा ने टीम गठित की और जांच शुरू कर दी। इतना ही नहीं अभिभावकों के गुस्से को शांत करने के लिए स्कूल की प्रिंसिपल और हेड मिनिस्ट्रेटस को भी हटा दिया गया।
पुलिस और प्रशासन ने मामले को दबाया
यह पूरी घटना 9 अक्तूबर की है। बच्ची के पिता जब उसे डॉक्टर के पास ले गए तो यह पूरा मामला खुला। बच्ची ने अपनी मां को पूरी घटना के बारे में विस्तार से बताया। साथ ही बताया कि स्कूल की क्लास टीचर ने मम्मी और पापा से इस बारे में बताने से मना किया था। अपनी बच्ची के साथ हुई घटना को सुनकर उनके होश उड़ गए। पिता का आरोप है कि इस घटना को लेकर स्कूल मैनेजमेंट ने उनकी एक न सुनी। पुलिस से शिकायत करने पर आरोपी हाउसकीपिंग स्टॉफ नित्यानंद को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया और इस मामले को दबा दिया गया। बताया जाता है कि इस मामले को पुलिस और प्रशासन पांच दिन तक दबाए रखा।
ट्राईसिटी टुडे के खुलासे के बाद मचा हड़कंप
इस पूरे मामला का 14 अक्तूबर को सबसे पहले ट्राईसिटी टुडे ने खुलासा किया था। जिसके बाद पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया। पुलिस की तरफ से रिप्लाई आया कि घटना पांच दिन पहले की है। इस मामले में बच्ची के साथ गलत हरकत करने वाले स्कूल कर्मचारी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है। इसके बाद ट्राईसिटी टुडे इस मामले में स्कूल मैनेजमेंट और इस घटना के जिम्मेदार लोगों पर कार्रवाई करने को लेकर पुलिस और प्रशासन को चेताता रहा। लेकिन जिला प्रशासन कुंभकरण की नींद में सोया रहा। जबकि मामला ज्यादा हाईलाइट होने पर पुलिस ने क्लास टीचर और स्कूल एडमिनिस्ट्रेटर को गिरफ्तार कर लिया। लेकिन उन्हें भी सबूतों के अभाव के चलते जमानत मिल गई।
सड़कों पर उतरे अभिभावक तो हुआ एक्शन
शनिवार को इस मामले को लेकर सैकड़ों अभिभावकों ने स्कूल के गेट पर धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया। सूचना पर एडीसीपी मनीष कुमार मिश्रा भारी पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंच गए। अभिभावकों ने प्रिंसिपल से मिलने की बात कही। लेकिन प्रिंसिपल ने मिलने से इनकार कर दिया। इसके बाद अभिभावक और भड़क गए। जिसके बाद पुलिस अधिकारी अभिभावकों को लेकर डीएम के पास पहुंचे। 10 दिन से बेखबर डीएम ने इस मामले को लेकर जांच कमेटी गठित कर दी। कुछ ही देर बाद स्कूल की प्रिंसिपल प्रिति सिरोही और हेड मिनिस्ट्रेटस रिचा को भी हटवा दिया गया। जिसके बाद अभिभावकों का गुस्सा शांत हुआ।