Greater Noida News : ग्रेटर नोएडा के जेवर में निर्माणाधीन नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट के पहले चरण का संचालन शुरू होने की तैयारी अंतिम चरण की तरफ बढ़ रही हैं। वहीं तीसरे और चौथे चरण के विकास के लिए और जमीन अधिग्रहण के लिए कराए गए एसआईए (सोशल इंपेक्ट असेसमेंट) को शासन ने मंजूर दे दी है। अब इन दोनों चरण में होने वाले विकास कार्य के लिए प्रयोग की जाने वाली 2084 हेक्टेयर जमीन के लिए अधिग्रहण की प्रक्रिया आगे बढ़ेगी।
जूमीन अधिग्रहण के लिए पहला कदम है एसआईए
एसआईए को मंजूरी मिलने के बाद अब शासन से इसका नोटिफिकेशन जारी किए जाने की तैयारी की जा रही है। इसके बाद जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया को आगे बढ़ाने के लिए धारा-11 के तहत के कार्य किया जाएगा। किसी भी प्रोजेक्ट के लिए जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया को आगे बढ़ाने के लिए यह सबसे पहला कदम एसआईए के लिए शासन से मंजूरी मिलने के बाद नोटिफिकेशन जारी किया जना होता है। इसके तहत होने वाले सर्वे में यह रिपोर्ट तैयार की जाती है कि कम से कम विस्थापन के आधार पर जमीन का अधिग्रहण किया जा सके।
जल्द जारी होगा नोटिफिकेशन
यमुना प्राधिकरण के सीईओ डॉ अरुणवीर सिंह ने बताया कि करीब 6-7 महीने से एसआईए की रिपोर्ट तैयार की जा रही थी। इसे करीब दो माह पहले शासन को भेजा गया था। तीसरे व चौथे चरण के विकास कार्यों के लिए जमीन अधिग्रहण को लेकर किया गया एसआईए शासन में मंजूर हो गया है। जल्द ही इसका नोटिफिकेशन जारी होने की संभावना है। तीसरे और चौथे चरण में 2084 हेक्टेयर जमीन ली जाएगी।
8 हजार परिवार होंगे विस्थापित
2084 हेक्टेयर में से 1888 हेक्टेयर जमीन किसानों की होगी और बाकी सरकारी होगी। इस चरण की जमीन अधिग्रहण से करीब 12 हजार परिवार प्रभावित होंगे। इनमें से 8 हजार से ज्यादा परिवारों को विस्थापित किया जाएगा। जिन 14 गांवों की जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा, इसमें कुछ जमीन ऐसी भी होगी, जो पहले से ही सरकारी है। इन दोनों चरण में टर्मिनल बिल्डिंग-3 का निर्माण किया जाएगा। साथ ही और रनवे बनाए जाएंगे।
दूसरे चरण के लिए जमीन अधिग्रहण अतिम चरण में
एयरपोर्ट के पहले चरण का संचालन 17 अप्रैल 2025 से शुरू किए जाने की तैयारी की जा रही है। फ्लाइट संचालन के लिए 30 नवंबर से एयरपोर्ट का फुल मोड में ट्रायल शुरू होने जा रहा है। दूसरे चरण के जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया अंतिम चरण में है। इसमें 1365 हेक्टेयर जमीन अधिग्रहित की जा रही है। इसमें 4 हजार करोड़ का मुआवजा किसानों को दिया जाना है। इसमें से 93 प्रतिशत मुआवजा किसानों को दिया जा चुका है।