Tricity Today | विदेशी पक्षी मां गंगा के आंचल में लगा रहे डूबकी
Hapur News : हापुड़ में तीर्थनगरी गढ़मुक्तेश्वर के गंगा तट पर आस्था की बयार बह रही है, वहीं दूसरी तरफ हजारों विदेशी पक्षी मां गंगा के आंचल में डूबकी लगा रहे हैं। इससे तीर्थनगरी की सुंदरता में चार चांद लग गए हैं। पक्षियों की अठखेलियों से माहौल आलौकिक लग रहा है। जिससे श्रद्धालुओं और पर्यटकों में उत्साह भर रहा है। गंगा किनारे स्नान करने आने वाले श्रद्धालुओं के लिए विदेशी पक्षियों का कलरव और अठखेलियाँ आकर्षण का केंद्र बन गए हैं।
साइबेरिया से पहुंची हजारों डक, कलाबाजी कर लोगों की लुभाती हैं
तीर्थनगरी में बढ़ती सर्दी के कारण गंगा का खादर और ब्रजघाट क्षेत्र विदेशी पक्षियों का बसेरा बन गए हैं। साइबेरिया की अति ठंडी जलवायु से बचने के लिए वहां के शरद ऋतु में पक्षी यहां के घाटों पर दिखाई देने लगते हैं। हजारों की संख्या में साइबेरियाई डक गंगा में विचरण कर रही हैं। इनकी खास बात यह है कि लोगों से डरती नहीं हैं। नौका विहार करते हुए लोग इन्हें खाने के लिए नमकीन, मुरमुरे और चने देते हैं। ये गंगाजल पर खाने का सामना गिरने से पहले ही हवा में कलाबाजी करके चोंच में पकड़ लेती हैं।
पक्षियों को देखने के लिए उमड़ती है भीड़
इन पक्षियों को मैदानी भाग की जलवायु काफी पसंद है। यही कारण है कि यह कई किलोमीटर तक गंगा के किनारे अपना बसेरा बनाए हुए हैं। दूर देश से आए इन मेहमान पक्षियों की खातिरदारी में यहां के नागरिक कोई कसर नहीं छोड़ते। सुबह सूर्य की पहली किरण के साथ पेड़-पौधों के झुरमुटों से निकल कर आए पक्षी घाटों पर अठखेलियां करने लगते हैं, जो काफी आकर्षण का केंद्र बनी हुई हैं। इन साइबेरियन डक को गंगा में इस वक्त भरपूर मछलियां मिल रहे हैं। करीब 15 फरवरी तक यह हजारों पक्षी या इसी तरह विचरण करते नजर आएंगे।
आने वाले श्रद्धालु पक्षियों को खिलाते हैं खाना
गंगा की लहरों पर विचरण करते पक्षी दर्शकों को खूब लुभाते हैं। गंगा घाट पर नियमित स्नान करने वाले लोग अपने घर या दुकान से लाकर नमकीन, सेब, कचरी और अन्य खाद्य सामग्री आवाज देकर गंगा की लहरों में जब डालते हैं तो मेहमान पक्षियों का झुंड इन्हें चुगता है। इस दृश्य को कैमरे में कैद करने वाले लोग भी इन पक्षियों को दाना डालते रहते हैं।
गंगा किनारे पर्यटकों की लगी भीड़
खास बात है कि फिलहाल बृजघाट में गंगा किनारे मेला लगा हुआ है। हर ओर आस्था बह रही है। ऐसे माहौल में इन विदेशी परिंदों की दस्तक ने नजारा और भी खूबसूरत बना दिया है। मकर सक्रांति के 2 दिनों में लाखों श्रद्धालुओं ने ब्रजघाट पर गंगा स्नान किया है।