कौन हैं नोएडा के IAS नवीन तंवर : गाजियाबाद में दूसरे की जगह एग्जाम देते CBI ने पकड़ा, अब...

नोएडा | 1 महीना पहले | Jyoti Karki

Tricity Today | IAS Naveen Tanwar



Noida News : हिमाचल प्रदेश कैडर के IAS नवीन तंवर (IAS Naveen Tanwar) आजकल सुर्खियों में बने हुए हैं। यह सुर्खियां उनके अच्छे काम को लेकर नहीं बल्कि IAS बनने से पहले किये कारनामें की वजह से चल रही है। नवीन तंवर को भारत का सबसे टफ एग्जाम कहे जाने वाले यूपीएससी (UPSC) को क्रैक करने के बाद अब तीन साल की जेल और 50 हजार के जुर्माने की सजा सुनाई गयी है। वह साल 2014 में IBPS Exam में एक सॉल्वर बने थें। इस मामले की CBI जांच में नवीन तंवर के खिलाफ आरोप सही साबित हुए थे, जिनके आधार पर उन्हें सजा सुनाई गई थी। फिलहाल वे इस मामले में जमानत पर चल रहे हैं। 

2019 बैच के IAS अफसर नवीन तंवर की कहानी 
नवीन तंवर उत्तर प्रदेश के नोएडा के रहने वाले हैं। तंवर हिमाचल कैडर के 2019 बैच के IAS अफसर हैं। इस समय वह हिमाचल प्रदेश में अपर जिलाधिकारी (ADM) के पद पर तैनात थे। उन्हें करीब 10 महीने पहले चंबा जिले में जिला ग्रामीण विकास एजेंसी (DRDA) में एडिशनल डिप्टी कमिश्नर के साथ प्रोजेक्ट डायरेक्टर पद की जिम्मेदारी मिली थी। इससे पहले वे कांगड़ा और चंबा में SDM भी रह चुके हैं। फिलहाल उन्हें सस्पेंड कर दिया गया है। 

यह है पूरा मामला 
पेपर धोखाधड़ी का यह मामला 2014 इंस्टीट्यूट ऑफ बैंकिंग पर्सनल सेलेक्शन (IBPS) भर्ती परीक्षा से जुड़ा है। गाजियाबाद में आइडियल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी ने 13 नवंबर 2014 को परीक्षा केंद्र के रूप में कार्य किया। इस स्थान पर, सीबीआई ने दो फर्जी उम्मीदवारों में से सावन कुमार और नोएडा निवासी नवीन तंवर को हिरासत में लिया था। जब तंवर ने सिंह के स्थान पर और कुमार ने अजय पाल सिंह के स्थान पर परीक्षा दी, तो उन दोनों को जेल में डाल दिया गया। इस मामले में मध्यस्थ की भूमिका निभा रहे सुग्रीव गुर्जर और हनुमत गुर्जर को भी हिरासत में ले लिया गया, जिन्होंने तंवर और कुमार को अमित और अजय पाल की जगह बैठाने के लिए तैयार किया था। हालांकि, बाद में उन सभी को जमानत पर रिहा कर दिया गया।

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