गाजियाबाद की बच्ची ने दिल्ली के अस्पताल में दम तोड़ा, डिप्थीरिया से पीड़ित थी आसना, स्वास्थ्य विभाग बेखबर

दर्दनाक : गाजियाबाद की बच्ची ने दिल्ली के अस्पताल में दम तोड़ा, डिप्थीरिया से पीड़ित थी आसना, स्वास्थ्य विभाग बेखबर

गाजियाबाद की बच्ची ने दिल्ली के अस्पताल में दम तोड़ा, डिप्थीरिया से पीड़ित थी आसना, स्वास्थ्य विभाग बेखबर

Tricity Today | LNJP Hospital New Delhi


Ghaziabad News : जनपद में डिप्थीरिया जानलेवा हो चला है। गाजियाबाद की एक सात साल की बच्ची आसना की दिल्ली के लोकनायक जय प्रकाश नारायण (एलएनजेपी) अस्पताल में दुखद मौत हो गई है। आसना को डिप्थीरिया से पीड़ित होने के बाद गंभीर हालत में भर्ती कराया गया था। बुधवार सुबह आसना ने अस्पताल में अंतिम सांस ली। परिजनों ने अस्पताल पर बच्ची के इलाज में लापरवाही बरतने का आरोप लगाया है। हालांकि जिले का स्वास्थ्य विभाग बच्ची की मौत से बेखबर है। स्वास्थ्य विभाग ने अब तक जिले में 11 मरीजों की पुष्टि की है।

डासना गेट की रहने वाली थी आसना
गाजियाबाद के डासना गेट पक्की सराय इलाके निवासी शमशाद की सबसे बड़ी बेटी सात वर्षीय आसना क्षेत्र के एक सरकारी स्कूल में तीसरी कक्षा में पढ़ती थी। उसकी दो छोटी बहने हैं। शमशाद ने बताया कि आसना को सोमवार को बुखार होने के साथ ही गले में तकलीफ होने पर ‌प्राईवेट डॉक्टर को दिखाया गया था, जिसके बाद भी आराम न लगने पर डॉक्टर ने बच्ची की हालत को देखते हुए संजयनगर स्थित संयुक्त जिला अस्पताल के लिए भेज दिया। मंगलवार सुबह बच्ची को अस्पताल की इमरजेंसी में लेकर पहुंचे थे, यहां बच्ची की हालत को देखते हुए प्राथमिक उपचार के बाद दिल्ली लोकनायक अस्पताल के लिए रेफर कर दिया गया। एंबुलेंस से परिजन बच्ची को दिल्ली के एलएलजेपी अस्पताल लेकर पहुंचे।

अस्पताल पर लापरवाही का आरोप लगाया
शमशाद का आरोप है कि लोकनायक जयप्रकाश नारायण अस्पताल की इमरजेंसी में पहुंचने के बाद बच्ची को डॉक्टर द्वारा नहीं देखा गया, परिजनों को एक वार्ड से दूसरे वार्ड में भेजते रहे। कोई उपचार न मिलने पर दोबारा पिता बच्ची को लेकर इमरजेंसी में पहुंचे। बच्ची को सांस लेने में अधिक परेशानी होने पर डॉक्टर को दिखाने की मांग करते रहे। डॉक्टर ने बताया कि बच्ची के गले में नली डाली जाएगी। जिसके बाद बच्ची को उपचार के लिए ओटी में लेकर गए। यहां करीब एक घंटे बाद बच्ची को बाहर निकाल कर बच्चा वार्ड में भर्ती किया गया।

सांस में परेशानी होने पर भी डॉक्टर ने देर से देखा
बच्ची के मुंह में नली लगी हुई थी। आरोप है कि मंगलवार रात को भी बच्ची को सांस लेने में बहुत परेशानी होने पर भी डॉक्टर काफी देर से देखने पहुंचते थे। अगले दिन बुधवार सुबह बच्ची के काफी देर तक कोई हरकत नहीं करने पर डॉक्टर को बताया गया। लेकिन, इस पर भी कोई ध्यान नहीं दिया गया। बुधवार सुबह करीब 7 बजे स्टाफ ने उपचार के दौरान बच्ची की मौत होने की जानकारी दी।

डिप्थीरिया और मल्टीऑर्गन फेलियर बताया कारण
अस्पताल की ओर से डिप्थीरिया के साथ मल्टी ऑर्गन फेलियर को बच्ची की मौत का कारण बताया गया है। जिसके बाद जरूरी कागजी कार्रवाई कर वे प्राइवेट एंबुलेंस से बच्ची का शव लेकर गाजियाबाद पहुंचे। बच्ची को डिप्थीरिया का टीका लगवाया गया था, या नहीं इस बात की कोई स्पष्ट जानकारी नहीं मिल पाई है। शमशाद को कहना है कि आसना को सभी टीके लगवाए गए थे जबकि स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि बच्ची को डिप्थीरिया के सभी टीके नहीं लगे थे।

शुक्रवार से सर्वे कराएगा स्वास्थ्य विभाग
जिला प्रतिरक्षण अधिकारी (डीआईओ) डॉ. नीरज अग्रवाल का कहना है कि डासना गेट निवासी सात साल की बच्ची को डिप्थीरिया होने की जानकारी मिली थी। लेकिन, लोनी में डिप्थीरिया टीकाकरण अभियान शुरू करने के चलते बच्ची को लेकर कोई जानकारी नहीं जुटा सके। शुक्रवार से बच्ची के घर व आसपास सर्वे किया जाएगा। जो भी बच्चा टीकाकरण से छूटा मिलेगा उसका टीका लगाया जाएगा।

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