बड़ी खबर : भाजपा एमएलसी श्रीचंद शर्मा के गांव में बड़ा खेला, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के अफसर सवालों में घिरे

Tricity Today | Greater Noida Authority



Greater Noida News : ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी में फर्जी एक्सपीरियंस का लेटर लगाकर बड़े-बड़े टेंडर लेने का ठेकेदार खेला खेल रहा है। हाल ही में बड़ा खेला भाजपा एमएलसी श्रीचंद शर्मा के गांव धूम मानिकपुर में हुआ है। एमएलसी के कहने पर ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी को धूममानिकपुर गांव को स्मार्ट विलेज बनाना है। स्मार्ट विलेज बनाने के लिए ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी ने सवा 7 करोड़ रुपए का टेंडर निकाला था। अथॉरिटी के प्राॅजेक्ट विभाग के अधिकारियों के अनुसार इस टेंडर को प्राप्त करने के लिए तीन फर्मों ने टेंडर डाले। अथॉरिटी अधिकारियों के अनुसार इन तीन फर्मों में से एक फर्म मनोज कंस्ट्रक्शन की तरफ से सवा 18 प्रतिशत बोली लगाकर टेंडर प्राप्त किया गया। 

क्या है पूरा मामला
जानकारी के मुताबिक इस फर्म ने जो अपना अनुभव प्रमाण पत्र लगाया, वह नोएडा अथॉरिटी के वर्क सर्किल-5 की तरफ से जारी हुआ। इस फर्म के अनुभव की जानकारी लेने के लिए धूममानिकपुर के ग्रामीणों की ओर से ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी में आरटीआई लगाई गई। ग्रामीणों का कहना है कि दो बार आरटीआई लगाने के बावजूद भी अथॉरिटी के वर्क सर्किल-5 की ओर से कोई जवाब नहीं दिया गया। 

फर्जी अनुभव प्रमाण-पत्र लगाने का आरोप
ग्रामीणों ने बताया कि एमएलसी श्रीचंद शर्मा से गांव में विकास कार्य कराने की मांग की थी। जिस पर एमएलसी ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी के सीईओ से मिले और गांव में विकास कार्य कराने की मांग की थी। एसएलसी के आवेदन पर सीईओ ने प्राॅजेक्ट विभाग को गांव को स्मार्ट विलेज बनाने के लिए टेंडर जारी करने के निर्देश दिए। ग्रामीणों ने फर्जी अनुभव प्रमाण-पत्र लगाने और आरटीआई का जवाब नहीं देने वाले अफसरों के खिलाफ कार्रवाई की मांग सीएम योगी आदित्यनाथ से की है। 

ग्रामीणों ने योगी आदित्यनाथ को भेजा पत्र
वहीं, फर्जी अनुभव प्रमाण-पत्र लगाने के पोल खुलते ही अथॉरिटी के प्राॅजेक्ट विभाग की तरफ से टेंडर को निरस्त कर देने की कार्रवाई की जा रही है। धूममानिकपुर के ग्रामीणों की तरफ से सीएम योगी आदित्यनाथ को भेजे पत्र में मांग की गई है कि फर्जी टेंडर लेने वाली फर्म को ब्लैक लिस्ट की जाए। टेंडर के खेल में शामिल ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी के प्रोजेक्ट विभाग के अफसर और आरटीआई का जवाब नहीं देने वाले अथॉरिटी के अफसरों के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो।

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