गौतमबुद्ध नगर के किसानों के लिए बड़ी खबर, तीनों प्राधिकरणों में लंबित समस्याओं का समाधान होगा, धीरेंद्र सिंह सीएम से मिले, आदेश जारी

Tricity Today | धीरेंद्र सिंह सीएम से मिले



गौतमबुद्ध नगर में तीनों विकास प्राधिकरण (नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेस वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण) से प्रभावित हजारों किसानों के लिए बड़ी खबर है। जेवर से भारतीय जनता पार्टी के विधायक ठाकुर धीरेंद्र सिंह के नाम पर मुख्यमंत्री ने तीनों विकास प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी और उत्तर प्रदेश के औद्योगिक विकास आयुक्त से जवाब तलब किया है। साथ ही किसानों के लंबित मामलों पर रिपोर्ट मांग ली है। इतना ही नहीं मुख्यमंत्री ने जिम्मेदार अधिकारियों को किसानों की तमाम समस्याओं का तत्काल निस्तारण करने का आदेश भी दिया है। दरअसल, जिले में आंदोलनरत किसानों की समस्याओं को लेकर दो दिन पहले ठाकुर धीरेंद्र सिंह ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की थी। उन्हें बताया था कि जिले में किसान दशकों से प्राधिकरण के चक्कर काट रहे हैं। लेकिन उनकी समस्याओं का समाधान नहीं हो पा रहा है।

गौतमबुद्ध नगर में नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेस वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने किसानों से भूमि अधिग्रहण किया है। जिस पर तीनों विकास प्राधिकरणों की तमाम विकास योजनाएं चल रही हैं। भूमि अधिग्रहण की एवज में किसानों को मुआवजा और कई तरह की दूसरी सुविधाएं दी जाती हैं, लेकिन जिले में ऐसे हजारों किसान हैं, जिन्हें भूमि अधिग्रहण के बाद दशकों से उनको मिलने वाली सुविधाएं नहीं दी गई हैं। मसलन इलाहाबाद हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर किसानों को 64.7% अतिरिक्त मुआवजा देने का वायदा पिछली सरकारों ने किया था। तीनों विकास प्राधिकरण ने भी किसानों की यह मांग मान ली थी।

अब यह अतिरिक्त मुआवजा किसानों को नहीं दिया जा रहा है। जिन किसानों की जमीन का अधिग्रहण किया जाता है, उन्हें नोएडा में 5% आबादी भूखंड देने का प्रावधान है। ग्रेटर नोएडा और यमुना प्राधिकरण में 6% विकसित भूखंड देने का प्रावधान है। विकसित आबादी का भूखंड 10% करने का आदेश भी अदालत ने सुनाया था। जिले में हजारों की संख्या में ऐसे किसान हैं, जिन्हें आज तक 5 और 6% आबादी के भूखंड नहीं मिले हैं। दूसरी ओर हाईकोर्ट के आदेश पर 10% आबादी भूखंड की मांग भी हजारों किसान कर रहे हैं। इसके अलावा बैकलीज से जुड़े हजारों मामले तीनों विकास प्राधिकरण में लंबित पड़े हुए हैं। यह ऐसे मामले हैं जिनमें विकास प्राधिकरण ने किसानों की आबादी का अधिग्रहण कर लिया है। किसानों की ओर से अपील करने पर उन्हें अधिग्रहण मुक्त करते हुए वापस किसानों को दिया जाना है।

इन सारे मुद्दों को लेकर जिले के किसान लगातार धरना, प्रदर्शन और आंदोलन कर रहे हैं। पिछले दिनों यमुना किसान आंदोलन, किसान संघर्ष समिति, भारतीय किसान यूनियन और कई दूसरे किसान संगठनों ने जेवर विधायक ठाकुर धीरेंद्र सिंह से मुलाकात की थी। विधायक को अपने प्रत्यावेदन सौंपे थे। अब दो दिन पहले धीरेंद्र सिंह ने इन प्रत्यावेदनों के साथ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की। विधायक ने मुख्यमंत्री को बताया कि पिछली सरकारों के कार्यकाल में भी अफसरशाही के चलते किसानों की समस्याओं का समाधान नहीं किया गया था। हम लोगों ने किसानों की लंबित समस्याओं का निराकरण करने का आश्वासन दिया था। किंतु पिछले 3 वर्षों के दौरान इस दिशा में नहीं कि बराबर काम हुआ है। जिसकी वजह से किसानों में रोष व्याप्त है। किसानों की समस्याओं का समाधान नहीं होने के कारण आंदोलन की राह पकड़ रहे हैं।

धीरेंद्र सिंह से मुलाकात के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के प्रमुख सचिव संजय प्रसाद की ओर से उत्तर प्रदेश के औद्योगिक विकास आयुक्त आलोक टंडन, नोएडा की मुख्य कार्यपालक अधिकारी ऋतु महेश्वरी, ग्रेटर नोएडा के मुख्य कार्यपालक अधिकारी नरेंद्र भूषण और यमुना प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ अरुण वीर सिंह को आदेश भेजा है। जिसमें कहा गया है कि किसानों की तमाम लंबित समस्याओं और प्रकरणों का शीघ्र समाधान किया जाए। अब तक इन समस्याओं पर काम क्यों नहीं किया गया और आगे किस तरह से निपटाया जाएगा, इस पर पूरी रिपोर्ट शासन ने मांग ली है। विधायक धीरेंद्र सिंह ने कहा, "किसान उत्तर प्रदेश सरकार की प्राथमिकता में शामिल हैं। किसानों की परेशानियों का जल्दी से जल्दी समाधान किया जाएगा। गौतमबुद्ध नगर के किसानों की दिक्कतों को दूर करने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी सक्षम अधिकारियों को आदेश दे दिया है। इसमें कोई दोराय नहीं है कि किसानों की समस्याएं सुनी नहीं जाती हैं तो वह आक्रोशित होते हैं और आंदोलन की राह पकड़ते हैं। जिसकी वजह से सरकार की छवि खराब होती है।"

जिले के अफसरों की कार्यप्रणाली पर भी लंबी चर्चा

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और विधायक ठाकुर धीरेंद्र सिंह के बीच गौतमबुद्ध नगर में तीनों विकास प्राधिकरण और जिला प्रशासन में तैनात अधिकारियों की कार्यप्रणाली पर भी लंबी चर्चा हुई है। जानकारी मिली है कि विधायक ने मुख्यमंत्री को बताया है कि विकास प्राधिकरण में किस तरह किसानों की परेशानियों को दरकिनार किया जा रहा है। इस बारे में धीरेंद्र सिंह ने कहा, "मुख्यमंत्री पूरी तरह स्पष्ट हैं कि किसानों को किसी भी तरह की परेशानी नहीं होनी चाहिए। अगर कोई अधिकारी किसानों की समस्याओं पर ध्यान नहीं दे रहा है तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। मुख्यमंत्री का मानना है कि जिन किसानों की जमीन लेकर विकास योजनाएं आगे बढ़ रही हैं, उन्हें दुख नहीं पहुंचना चाहिए। विकास प्राधिकरण में काम कर रहे अधिकारी किसानों की समस्याओं को प्राथमिकता से लें। लालफीताशाही के चलते किसानों को किसी भी तरह की दिक्कत नहीं होनी चाहिए।"

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