लव जिहाद का मामला है मेरठ में मां-बेटी का कत्ल?, फेसबुक पर नाम बदलकर दोस्ती, रेप और फिर...

Google Image | लव जिहाद का मामला है मेरठ में मां-बेटी का कत्ल



मेरठ के परतापुर में हुई मां-बेटी की सनसनीखेज हत्या लव जिहाद का मामला है। यह बात मेरठ में भारतीय जनता पार्टी और हिंदू युवा वाहिनी के नेता और कार्यकर्ता सीधे तौर पर कह रहे हैं। इन लोगों का कहना है कि हत्यारोपी ने महिला और उसकी बेटी को धर्म बदलने के लिए बाध्य किया। जब वह नहीं मानी तो उन्हें मौत के घाट उतार दिया है। साथ ही हिंदूवादी संगठनों का आरोप है कि मेरठ पुलिस ने पूरे मामले में घोर लापरवाही बरती है। जिसकी वजह से महिला और उसकी 10 साल की मासूम बच्ची का कत्ल कर दिया गया है।

पूरी कहानी कुछ इस तरह है

गाजियाबाद की रहने वाली प्रिया की वर्ष 2013 में फेसबुक पर अमित गुर्जर नाम के युवक से दोस्ती हुई थी। सोशल मीडिया पर दोस्त बनने के बाद दोनों एक-दूसरे से मिले और दोनों में प्यार हो गया। अमित गुर्जर के प्रस्ताव पर प्रिया अपनी 2 साल की बेटी को लेकर मेरठ चली आई। यहां वह परतापुर में अमित गुर्जर के साथ रहने लगी। वर्ष 2018 में प्रिया को पता चला कि उसके प्रेमी का असली नाम अमित गुर्जर नहीं है। उसका नाम दिलशाद और शमशाद है। इसके बाद दोनों के बीच अलगाव हो गया।

प्रिया की पहली शादी और तलाक हो चुका है

प्रिया मूल रूप से गाजियाबाद की रहने वाली थी। करीब 12 साल पहले प्रिया की शादी मोदीनगर क्षेत्र के खंजरपुर गांव में राजीव नामक युवक से हुई थी। दोनों करीब 2 साल तक साथ रहे। उसके बाद मनमुटाव हो गया और तलाक ले लिया। इसी दौरान प्रिया ने एक बच्ची को जन्म दिया था। वर्ष 2010 में प्रिया मोदीनगर में चंचल चौधरी नाम की महिला के मकान में किराए पर रहने लगी। तब उसकी एक साल की बेटी थी। मोदीनगर में प्रिया ने ब्यूटी पार्लर खोल लिया।

इसी दौरान अमित गुर्जर से फेसबुक पर प्रिया की दोस्ती हुई

प्रिया की दोस्त चंचल ने पुलिस को बताया कि इसी दौरान फेसबुक पर उसकी दोस्ती अमित गुर्जर नाम के प्रोफाइल वाले युवक से हुई थी। दोनों में प्यार हो गया और अमित गुर्जर ने प्रिया के सामने विवाह का प्रस्ताव रखा। जिसे प्रिया ने स्वीकार कर लिया और वह अमित गुर्जर के साथ मेरठ चली गई थी। मेरठ में शुरुआती दिनों में दोनों कांशीराम आवासीय कॉलोनी में रह रहे थे। मोदीनगर से मेरठ शिफ्ट होने के बावजूद प्रिया अपनी दोस्त चंचल के संपर्क में रही और लगभग दोनों के बीच रोजाना बातचीत होती थी। यही वजह है कि चंचल को प्रिया और अमित गुर्जर के बारे में पूरी कहानी मालूम है। 

दिलशाद और शमशाद का सच सामने आया तो प्रिया ने दर्ज करवाई एफआईआर

अमित उर्फ दिलशाद उर्फ शमशाद मेरठ के पास परतापुर थानाक्षेत्र के भूड़ बराल गांव का रहने वाला है। वह प्रिया को एक बार भी अपने घर नहीं ले गया।  चंचल ने बताया कि करीब 2 साल पहले प्रिया को पता चला कि अमित गुर्जर नहीं है, वह मुस्लिम है। उसका नाम दिलशाद उर्फ शमशाद है और वह शादीशुदा भी है। इस पर दोनों में विवाद हुआ। अंततः प्रिया ने वर्ष 2018 में शमशाद उर्फ दिलशाद के खिलाफ खरखोदा थाना थाने में रेप का मुकदमा दर्ज करवाया। 

दिलशाद ने रंग बदला और प्रिया को फिर बहका लिया

दिलशाद ने फिर गिरगिट की तरह रंग बदला और उसने हाथ-पांव जोड़कर प्रिया को शादी के लिए राजी कर लिया। जिसके बाद प्रिया ने दिलशाद के पक्ष में अदालत में बयान दे दिया और दोनों के बीच समझौता हो गया। समझौता होने के बाद एक बार फिर शमशाद ने प्रिया से शादी नहीं की। इसके बाद से लगातार दोनों अलग रह रहे थे और प्रिया लगातार दिलशाद पर अपने हक के लिए दबाव बना रही थी।

28 मार्च को प्रिया अचानक गायब हो गई

प्रिया और चंचल के बीच लगातार बातचीत हो रही थी। 23 मार्च को कोरोना वायरस के कारण देशभर में लॉकडाउन लागू हुआ और 28 मार्च से प्रिया अचानक गायब हो गई। चंचल ने उससे लगातार संपर्क करने का प्रयास किया लेकिन कोई संपर्क नहीं हो पा रहा था। प्रिया का मोबाइल बंद हो चुका था। चंचल ने दिलशाद को फोन किया और प्रिया के बारे में पूछताछ की। दिलशाद ने उसे बताया कि वह कहीं चली गई है। चंचल का कहना है कि प्रिया और उसकी बेटी तभी से लापता हैं। उसे शुरू से शक था कि प्रिया और उसकी बेटी को दिलशाद ने कहीं छुपा दिया है और उनकी हत्या कर दी है।

चंचल की पुलिस ने कोई बात नहीं सुनी एसएसपी ने एफआईआर दर्ज करवाई

चंचल का कहना है कि प्रिया और उसकी बेटी के लापता होने के बाद उसने परतापुर पुलिस से कई बार शिकायत की। मामले में छानबीन करने की अर्जी दी, लेकिन पुलिस ने उसकी कोई बात नहीं सुनी। चंचल ने परतापुर थाने में 15 अप्रैल को दिलशाद के खिलाफ लिखित शिकायत दी थी। चंचल का आरोप है कि 2 जुलाई को पुलिस ने दबाव बनाकर चंचल से एक समझौतानामा लिखवा लिया। इस बीच मामले की जानकारी विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल से जुड़े मनीष लोहिया को हुई। उन्होंने पूरा मामला एसएसपी को बताया। एसएसपी के आदेश पर 14 जुलाई को दिलशाद के खिलाफ परतापुर थाने में अपहरण का मुकदमा दर्ज किया गया था।

एफआईआर तो दर्ज कर ली लेकिन पुलिस ने एक कदम नहीं उठाया

चंचल का कहना है कि मेरठ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय साहनी की दखलअंदाजी पर परतापुर थाने में दिलशाद के खिलाफ मुकदमा तो दर्ज कर लिया गया, लेकिन वहां की पुलिस ने इस पूरे मामले की छानबीन करने के लिए एक कदम तक नहीं उठाया। वह लगातार एसएचओ और कोतवाली के दूसरे पुलिस अफसरों से फोन पर बातचीत करती रही। उसे केवल झांसा दिया गया। कई बार तो पुलिस अफसरों ने चंचल को धमकाया भी और उसका फोन तक उठाना बंद कर दिया।

अंततः बुधवार को दिलशाद के घर से मिली मां बेटी के कंकाल

यह पूरा मामला मंगलवार को मीडिया में आ गया। जिसके बाद पुलिस हरकत में आई। आनन-फानन में दिलशाद के घर की तलाशी ली गई। वहां पुलिस को शक हुआ और आंगन को खोदा गया। जिसमें प्रिया और उसकी बेटी के कंकाल बरामद किए गए हैं। मेरठ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय साहनी का कहना है कि प्रिया ने दिलशाद के खिलाफ पहले भी रेप का मुकदमा दर्ज करवाया था। उस मामले में दोनों का समझौता हो गया था। दिलशाद ने बताया है कि मुकदमे के बाद से युवती उससे रुपए वसूल कर रही थी। आरोपी युवक हिरासत में है। कई संभावित स्थानों पर पुलिस टीम भेजी गई है। जल्दी ही पूरे घटनाक्रम का खुलासा कर दिया जाएगा।

गुस्से में हैं मेरठ के हिंदूवादी संगठन

दूसरी ओर मेरठ में भारतीय जनता पार्टी, हिंदू युवा वाहिनी, विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल के नेता-कार्यकर्ता पुलिस के खिलाफ गुस्से में हैं। इन सब लोगों का कहना है कि पुलिस को लगातार शिकायतें दी गईं। पहले से प्रिया और आरोपी दिलशाद के बीच मुकदमें बाजी चल रही थी। इसके बावजूद पुलिस ने बेहद लापरवाही भरा रवैया अपनाया है। जिसकी वजह से प्रिया और उसकी मासूम बेटी की जान चली गई है। यह पूरा मामला लव जिहाद का है। इस मामले में लापरवाही बरतने वाले पुलिसकर्मियों के खिलाफ भी कार्रवाई की जानी चाहिए।

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