Yamuna City News : यमुना एक्सप्रेसवे इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट अथॉरिटी ने विकास और निर्माण कार्यों का बजट 5 गुना बढ़ाया है। 31 मार्च 2022 तक यमुना प्राधिकरण अपने क्षेत्र के विकास पर 1,101 करोड़ रुपए खर्च करेगा। मंगलवार को प्राधिकरण की बोर्ड बैठक में प्रस्ताव रखा गया, जिसे मंजूरी दे दी गई है। मुख्य कार्यपालक अधिकारी डॉ.अरुणवीर सिंह ने बताया कि पिछले साल के मुकाबले चालू वित्त वर्ष के दौरान विकास कार्यों पर 5 गुना ज्यादा बजट खर्च किया जाएगा।
दूसरे चरण में 405 करोड़ रुपये देगा प्राधिकरण
बजट में विकास और निर्माण कार्यों के लिए 1,101 करोड़ रखे गए हैं। पिछली वित्तीय वर्ष में यह बजट 275 करोड़ का था। जेवर एयरपोर्ट के दूसरे चरण के लिए भी काम शुरू हो चुका है। इस परियोजना में यमुना प्राधिकरण की 12.5 प्रतिशत की हिस्सेदारी है। दूसरे चरण के लिए प्राधिकरण 405 करोड़ रुपये देगा। दिल्ली-एनसीआर को एयरपोर्ट से जोड़ने पर दिया गया है। मेट्रो, पॉडटैक्सी और एक्सप्रेसवे बनाए जा रहे हैं। इसके लिए प्राधिकरण 300 करोड़ रुपये तय किए हैं।
वित्तीय वर्ष 2022-23
मद बजट (करोड़ रुपये में)
जमीन अधिग्रहण 1535
विकास एवं निर्माण 1106
जेवर एयरपोर्ट 405
मल्टी मॉडल कनेक्टिविटी 300
ग्रामीण विकास 157
परिसंपत्तियों का रिफंड 15
ऋण एवं अग्रिम 825
वित्तीय वर्ष 2021-22
मद बजट (करोड़ रुपये में)
जमीन अधिग्रहण 583
विकास एवं निर्माण 275
जेवर एयरपोर्ट 292
मल्टी मॉडल कनेक्टिविटी -
ग्रामीण विकास 110
परिसंपत्तियों का रिफंड 53
ऋण एवं अग्रिम 853
मेट्रो और पॉडटैक्सी के लिए 300 करोड़ खर्च होंगे
मेट्रो और पॉड टैक्सी चलाने के लिए 300 करोड़ खर्च होंगे। यमुना प्राधिकरण का वित्तीय वर्ष 2022-23 का 4,528 करोड़ रुपये का बजट पास हुआ है। प्राधिकरण ने जमीन खरीद, निर्माण योजनाएं और ग्रामीण विकास पर जोर दिया है। यमुना प्राधिकरण की मंगलवार को हुई बोर्ड बैठक में 4,528 करोड़ रुपये के बजट पर मुहर लग गई। प्राधिकरण ने जमीन खरीद, निर्माण योजनाएं, ग्रामीण विकास और कनेक्टिविटी (पहुंच) पर जोर दिया है। जमीन खरीद के लिए 1535 करोड़, निर्माण योजनाओं पर 1,160 करोड़, मेट्रो व पॉड टैक्सी पर 300 करोड़ और ग्रामीण विकास पर 157 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। प्राधिकरण ने किसानों का मुआवजा 125 रुपये प्रति वर्ग मीटर बढ़ा दिया है।
मेट्रो, पॉड टैक्सी, सड़क निर्माण पर खर्च होंगे 300 करोड़ रुपए
यमुना प्राधिकरण की 73वीं बोर्ड बैठक चेयरमैन अरविंद कुमार की अध्यक्षता में हुई। बैठक में यमुना प्राधिकरण के सीईओ डॉ अरुणवीर सिंह, ग्रेनो प्राधिकरण के सीईओ नरेंद्र भूषण, एसीईओ मोनिका रानी, एसीईओ रवींद्र सिंह, ओएसडी शैलेंद्र भाटिया, एडीएम एलए बलराम सिंह, ओएसडी शैलेंद्र कुमार सिंह आदि शामिल हुए। बैठक में वित्तीय वर्ष 2022-23 का 4,528 करोड़ रुपये का बजट प्रस्तुत किया गया, जिसे बोर्ड ने पास कर दिया। इस साल निर्माण योजनाओं पर 1,160 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। प्राधिकरण ने जेवर एयरपोर्ट के दूसरे चरण के लिए 405 करोड़ का प्रावधान किया है। इसके अलावा मेट्रो, पॉड टैक्सी, सड़क निर्माण (मल्टीमॉडल कनेक्टिविटी) में 300 करोड़ रुपए खर्च होंगे। यमुना प्राधिरकण के सीईओ डॉ.अरुणवीर सिंह ने बताया कि ने बजट में भूमि अधिग्रहण को प्राथमिकता पर रखा है।
1200 एकड़ जमीन खरीदेंगे
इस साल 1,200 एकड़ जमीन खरीदने का लक्ष्य रखा गया है। इसके लिए 1,535 करोड़ तय किए गए हैं। पिछले वित्तीय वर्ष में प्राधिकरण ने 583 करोड़ रुपए जमीन खरीद में खर्च किए थे। इसके जरिए 455 एकड़ जमीन खरीदी गई थी। इस साल लॉजिस्टिक हब, मेडिकल डिवाइस पार्क और कई नई औद्योगिक योजनाएं लांच की जाएंगी। इसके लिए अधिक जमीन की आवश्यकता होगी। इसीलिए भूमि अधिग्रहण के लिए अधिक पैसा रखा गया है।
ग्रामीण विकास पर बजट बढ़ा
यमुना प्राधिकरण ने गांवों को स्मार्ट बनाने के लिए (स्मार्ट विलेज) 76.98 करोड़ रुपए आवंटित किए हैं। पिछले वित्तीय वर्ष में 10 करोड़ रुपये खर्च हुए थे। इसी तरह गांवों के विकास पर 80 करोड़ का बजट तय किया गया है। जबकि पिछले साल 20 करोड़ खर्च हुए थे। इस बार सभी गांवों के विकास पर 157 करोड रुपए खर्च किए जाएंगे। जबकि पिछले साल यह बजट 110 करोड़ का था।