BIG BREAKING : नोएडा एयरपोर्ट से जुड़े महत्वपूर्ण समझौतों पर हस्ताक्षर हुआ, मुख्यमंत्री आदित्यनाथ ने कहा- ‘सपना सच हो रहा है’

यमुना सिटी | 3 साल पहले |

Tricity Today | Yogi Adityanath



कोरोना वायरस महामारी की दूसरी लहर कम होने के बाद अब नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट (Noida International Airport) के शिलान्यास की तैयारी तेज हो गई है। आज राजधानी लखनऊ में उत्तर प्रदेश नागरिक उड्डयन विभाग और नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड (NIAL) के बीच जेवर में प्रस्तावित एयरपोर्ट के पहले चरण के लिए 1334 हेक्टेयर जमीन का लीज एग्रीमेंट संपन्न हुआ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) इस मौके पर मौजूद रहे। इस एग्रीमेंट के बाद अब जमीन आधिकारिक तौर पर नियाल के नाम हो गई। इससे पहले यह यूपी नागरिक उड्डयन विभाग के नाम दर्ज थी।

राज्य सरकार की ओर से एग्रीमेंट पर विशेष सचिव नागरिक उड्डयन बिशाक और उप सचिव सत्यप्रकाश तिवारी तथा नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड की तरफ से सीईओ डॉ अरुण वीर सिंह और नोडल ऑफ़िसर शैलेंद्र भाटिया ने हस्ताक्षर किए। जबकि नोएडा एयरपोर्ट के शेएरहोल्डर एग्रीमेंट पर YIAPL की तरफ़ से सीईओ क्रिसटोफ शेलमन और शोभित गुप्ता तथा NIAL की ओर से निदेशक नागरिक उड्डयन बिशाक और सीईओ डॉ अरुण वीर सिंह ने हस्ताक्षर किए। नोडल अधिकारी शैलेंद्र भाटिया ने शेयरहोल्डर एग्रीमेंट प्रस्तुत किया। साथ ही नोएडा इंटरनेशनल ग्रीनफ़ील्ड एयरपोर्ट, जेवर के लिए कन्सेशन एग्रीमेंट पर हस्ताक्षर किए गये। यह हस्ताक्षर उत्तर प्रदेश सरकार की कम्पनी नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड और ज़ुरिक एयरपोर्ट इंटरनेशनल एजी की एसपीवी YIAPL के बीच सम्पन्न हुआ।

यह एयरपोर्ट मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का महात्वाकांक्षी प्रोजेक्ट है। आगामी विधानसभा से चुनाव से पहले वह इसके निर्माण की प्रक्रिया शुरू कराने के लिए प्रतिबद्ध हैं। आज हुए लीज एग्रीमेंट के साथ ही नोएडा एयरपोर्ट के शिलान्यास की तैयारी तेज हो गई है। अगले महीने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसका शिलान्यास करेंगे। माना जा रहा है कि 15 अगस्त से 30 अगस्त के बीच शिलान्यास का कार्यक्रम रखा जाएगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी इस मौके पर जेवर आएंगे। एयरपोर्ट की निर्माता कंपनी ज्यूरिख इंटरनेशनल ने निर्माण कार्य जल्दी शुरू कराने की इच्छा जताई है। 

पहले चरण के निर्माण में आने वाले गांवों के किसानों को विस्थापित करने की प्रक्रिया तेजी से पूरी की जा रही है। रोही को छोड़कर अन्य सभी संबंधित गांवों के किसान जेवर बांगर में विस्थापित हो चुके हैं। जिला प्रशासन ने विस्थापन के लिए कई टीमें बनाई हैं। यमुना इंटरनेशनल एयरपोर्ट प्राइवेट लिमिटेड ज्यूरिख कंपनी की ही सब्सिडरी कंपनी है। जबकि नियाल में नोएडा, ग्रेटर नोएडा, यमुना प्राधिकरण व प्रदेश सरकार की हिस्सेदारी है। राजधानी लखनऊ में आज नियाल व यमुना इंटरनेशनल एयरपोर्ट प्राइवेट लिमिटेड के बीच शेयर होल्डिंग एग्रीमेंट पर भी हस्ताक्षर किया गया। साथ ही मुख्यमंत्री की मौजूदगी में जेवर एयरपोर्ट के लिए अधिग्रहित जमीन नियाल के नाम दर्ज हो है। इसके लिए नियाल ने 96 करोड़ की स्टॉम्प ड्यूटी अदा की।

इस मौके पर नागरिक उड्डयन मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी, वरिष्ठ अधिकारी एसपी गोयल, यमुना एक्सप्रेसवे अथॉरिटी के सीईओ अरुण वीर सिंह समेत कई अन्य उपस्थित रहे। मुख्यमंत्री ने कहा कि जेवर एयरपोर्ट, उत्तर प्रदेश के विकास में मील का पत्थर साबित होगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मंशा के अनुरुप देश के अंदर आबादी के हिसाब से सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश को नई उड़ान मिली है। साल 2017 तक उत्तर प्रदेश के अंदर मात्र चार एयरपोर्ट थे। उनमें भी ईमानदारी से दो एयरपोर्ट में ही हवाई सेवा चल पाती थी। प्रदेश की राजधानी लखनऊ और वाराणसी एयरपोर्ट पर ही रेगुलर सेवाएं चालू थीं। गोरखपुर में एक फ्लाइट कभी-कभी आती थी। यही स्थिति अन्य हवाईअड्डों की थी। 

उन्होंने बताया कि कुशीनगर में इंटरनेशनल एयरपोर्ट के रूप में हमारा कार्य लगभग पूरा हो चुका है। जल्द ही हम एयरपोर्ट से इंटरनेशनल फ्लाइट प्रारंभ कर सकते हैं। जेवर एयरपोर्ट एक सपना था। यह केवल मेरठ कमिश्नरी के नागरिकों के लिए सुविधाजनक नहीं है। इससे उस क्षेत्र के आर्थिक विकास को पंख लगेंगे। उन्होंने कहा कि कुछ लोगों ने इस इलाके के विकास कार्य को बाधित किया। लेकिन हमारी सरकार ने जिला प्रशासन के सहयोग से किसानों से सीधे बातचीत की। उन्होंने जेवर एयरपोर्ट के अंतर्गत आने वाले उन सभी गांव के किसानों का धन्यवाद दिया। साथ ही स्थानीय प्रशासन की तारीफ की। कहा कि लोकल प्रशासन ने साथ मिलकर भूमि अधिग्रहण के लिए सकारात्मक माहौल बनाने में योगदान दिया। 

ग्रामीणों ने राज्य सरकार और स्थानीय प्रशासन पर विश्वास किया। जिला प्रशासन ने इस कार्यक्रम को आगे बढ़ाने में मदद की। यमुना एक्सप्रेसवे अथॉरिटी के साथ मिलकर इस कार्यक्रम को बेहतरीन तरीके से आगे बढ़ाने का कार्य किया। सीएम ने आगे कहा, हम सब जानते हैं कि 16 महीनों से पूरा देश और दुनिया कोरोना महामारी से जूझ रही है। मगर इस दौरान भी इस महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट की प्रक्रिया जारी रही। आज लीज एग्रीमेंट और शेयर होल्डर एग्रीमेंट का कार्यक्रम संपन्न हुआ है। यह इस बात को प्रदर्शित करता है कि सारे कार्यक्रम व्यवस्थित रूप से एक अच्छे माहौल में आगे बढ़ रहे हैं। जेवर एयरपोर्ट उत्तर प्रदेश को विकास की राह पर आगे ले जाएगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के उत्तर प्रदेश को 2024 तक एक ट्रिलियन डॉलर की इकोनॉमी के सपने को पूरा करेगा।

उन्होंने आगे कहा, जेवर एयरपोर्ट प्रदेश के भविष्य की तमाम संभावनाओं को आगे बढ़ाने का एक बेहतरीन माध्यम है। मुझे पूर्ण विश्वास है कि यह एयरपोर्ट वर्ष 2024 तक उत्तर प्रदेश की 01 ट्रिलियन डॉलर की इकोनॉमी के संकल्पों को एक नई उड़ान देने का बेहतरीन डेस्टिनेशन बनेगा। कुशीनगर एयरपोर्ट का कार्य पूर्ण हो चुका है। यह एयरपोर्ट अंतररष्ट्रीय उड़ानों हेतु उपलब्ध है। विगत 4 वर्षों में नागरिक उड्डयन के क्षेत्र में काफी विकास हुआ है। 2017 तक प्रदेश के अंदर केवल 25 गंतव्यों तक सीमित वायु सेवा के साथ मात्र 4 एयरपोर्ट क्रियाशील थे। आज प्रदेश में 71 गंतव्यों तक कनेक्टिविटी के साथ 8 एयरपोर्ट क्रियाशील हैं। यहां से उड़ानें संचालित हो रही हैं। कोरोना महामारी के बावजूद जेवर एयरपोर्ट का कार्य समयबद्ध तरीके से आगे बढ़ रहा है। प्रदेश के विकास की दृष्टि से यह एयरपोर्ट न केवल प्रदेशवासियों के लिए मील का पत्थर साबित होगा, बल्कि प्रधानमंत्री की मंशा के अनुरूप एयर कनेक्टिविटी और बेहतर होगी।

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