ग्रेटर नोएडा के रन्हेरा गांव में बाढ़ : प्रशासन समस्या का समाधान करने में नाकाम, गांव छोड़ने को मजबूर ग्रामीण

Tricity Today | रन्हेरा गांव में बाढ़



Greater Noida News : ग्रेटर नोएडा के जेवर में बना रहे इंटरनेशनल एयरपोर्ट के पास स्थित रन्हेरा गांव पिछले करीब एक महीने से जलभराव की समस्या से जूझ रहा है। गांव में बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। एक महिला की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो चुकी है। बताया जाता है कि जहरीले जीव के काटने से महिला की मौत हुई है। इस सबके बावजूद प्रशासन जलभराव की समस्या का समाधान करने में अब तक नाकाम रहा है। प्रशासन की इसी नाकामी के चलते ग्रामीण अब गांव छोड़ने को मजबूर हैं। गांव के कई घरों में ताले लटक गए हैं। लोग अपनी रिश्तेदारियों में या अन्य कोई जगह जाकर रह रहे हैं। 


गांव का 80% हिस्सा पानी में डूबा
गांव के किसान बृजपाल का कहना है कि गांव के हालात पिछले 1 महीने से खराब हैं हमारी कोई सुनवाई नहीं हो रही है। मीडिया में खबर चलने के बाद एडीएम और एसडीएम गांव के बाहरी तरफ ऊंचाई पर कैंप लगाया है और पंप के द्वारा पानी का निकाला जा रहा है लेकिन यह नाकाफी है। बुधवार को सुबह से हो रही बारिश के चलते जलभराव और बढ़ गया है जिसके चलते ग्रामीण काफी परेशान हैं। उन्होंने बताया कि गांव के 80% हिस्से में पानी पहुंच चुका है और लोग यहां से पलायन करने को मजबूर हैं। सैकड़ों घरों में ताले लगे हुए हैं, न तो बच्चे स्कूल जा पा रहे हैं और न ही लोग काम पर निकल पा रहे हैं। गांव की हालत बद से बदतर हो गई है।

गांव के लोग पलायन को मजबूर 
जेवर का रन्हेरा गांव नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट के फेज टू में आता है, जहां गांव का अधिग्रहण होना है लेकिन उससे पहले ही गांव की हालत खराब हो गई है, पहले बारिश और फिर नालों और नहरों का पानी गांव के अंदर पहुंच गया है, जिससे पूरा गांव प्रभावित है। गांव की हालत ऐसी है कि लोग अपने घरों में कैद होने को मजबूर हो गए हैं और कई लोग गांव से अपने रिश्तेदारों या दूसरे गांवों में पलायन कर गए हैं। नालों और बारिश का पानी घरों के अंदर घुस गया है, जिससे ग्रामीणों का अनाज और दूसरा सामान भी खराब हो गया है।

जिम्मेदारों की लापरवाही से आई आफत
ग्रामीणों का आरोप है कि न तो प्रशासनिक अधिकारी गांव की सुध ले रहे हैं और न ही जनप्रतिनिधि इस ओर ध्यान दे रहे हैं। ग्रामीणों ने इस स्थिति के लिए प्रशासनिक अधिकारियों, यमुना प्राधिकरण और जनप्रतिनिधियों को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने कहा कि गांव की ओर कोई ध्यान नहीं दे रहा है। इन सब की लापरवाही के चलते ही उन लोगों पर आफत आई है।

बीमारियां फैलने का खतरा, हेल्थ कैंप लगा
गांव में जलभराव के कारण लोग पलायन करने को मजबूर हैं, जबकि पिछले 15 दिनों से पानी भरा हुआ है, जिससे बीमारियां फैल रही हैं। हालांकि स्वास्थ्य विभाग की ओर से यहां स्वास्थ्य शिविर लगाया गया है, लेकिन ग्रामीणों का कहना है कि जो भी प्रशासनिक अधिकारी आते हैं, वे गांव में घूमकर चले जाते हैं। पानी निकासी के लिए आज तक कोई व्यवस्था नहीं की गई है।

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