Noida News : इन दिनों यूपी 16 ईके सीरीज के वीआईपी नंबरों की बोली लग रही है। इन नंबरों को लेकर फर्जी बोलीदाताओं ने सेंधमारी शुरू कर दी है। 10 वाहन स्वामियों ने इस सीरीज के नंबर 0001 पर दावा करते हुए 11 लाख रुपये की बोली लगाई है, लेकिन अभी तक यह नंबर किसी को आवंटित नहीं हो सका है। बताया जा रहा है कि फर्जी लगाने वालों की वजह असली बोलीदाता इससे अधिक बोली लगाने से कतरा रहे हैं।
प्रत्येक नंबर पर 3 लोगों का पंजीकरण
यूपी 16 ईके सीरीज के 0003, 0004 नंबरों के लिए 10-10 वाहन स्वामियों ने छह से सात लाख रुपये की बोली लगाई है। परिवहन विभाग हर माह 348 नंबरों को वीआईपी श्रेणी में रखकर बोली प्रक्रिया कराता है। नियमानुसार नीलामी के लिए प्रत्येक नंबर के लिए कम से कम तीन लोगों का पंजीकरण अनिवार्य है। अगर किसी नंबर के लिए तीन से कम बोलीदाता होंगे तो उस नंबर की नीलामी नहीं हो सकेगी। इस बार 25 नंबरों की नीलामी में लोगों ने हिस्सा लिया है।
ऐसे चलता है फर्जी बोली का खेल
जानकारी के मुताबिक एक ही ग्रुप, परिवार या कंपनी के कई लोग एक ही नंबर के लिए बोली लगाते हैं। इनमें किसी की बोली ज्यादा होती है तो किसी की उससे काफी कम। अगर सबसे ज्यादा बोली लगाने वाला अंतिम समय में रकम जमा नहीं करता है तो दूसरे स्थान वाले को मौका दिया जाता है। अगर वह भी तय समय में रकम जमा नहीं करता है तो तीसरे स्थान वाले को नंबर आवंटित कर दिया जाता है।
नीलामी प्रक्रिया पर रखी जा रही नजर
एआरटीओ प्रशासन डॉ. सियाराम वर्मा ने बताया कि कुछ लचीले नियमों का लोग फायदा उठा रहे हैं। इस संबंध में शासन से बात कर सख्ती सुनिश्चित कराई जाएगी। नीलामी प्रक्रिया पर नजर रखी जा रही है। किसी भी तरह की अनियमितता करने वालों को चिह्नित कर कार्रवाई की जाएगी।